सिवनी : मध्य प्रदेश को टाइगर स्टेट का तमगा दिलाने में अहम योगदान देने वाला पेंच टाइगर रिजर्व में एक बार फिर दो शावकों को देखा गया है. ये मध्यप्रदेश के लिए अच्छी खबर है, क्योंकि एक तरफ एमपी टाइगर स्टेट है तो दूसरी ओर लगातार बाघों की मौत भी हो रही हैं. लेकिन ये दिल को सुकून देने वाली खबर है. पेंच टाइगर रिजर्व के कोर एरिया में वन विभाग ने दो शावकों को देखा है.
निगरानी में दोनों शावक
पार्क प्रबंधन ने दोनों शावकों की निगरानी शुरु कर दी है. दरअसल पेंच टाइगर रिजर्व के पाटदेव क्षेत्र में एक बाघिन ने दो शावकों को को जन्म दिया है. वन विभाग की माने तो उन्हें गश्त के दौरान ये दो शावक नजर आए, दोनों शावकों की उम्र डेढ़ से दो महीने के बीच बताई जा रही है.
पेंच टाइगर में अभी कितने बाघ
पेंच टाइगर रिजर्व में अभी फिलहाल 61 बाघ हैं. एक आंकड़े की माने तो रिजर्व में अब 22 के लगभग शावक हो चुके हैं.
टाइगर रिजर्व की कालरवाली को भूले तो नहीं
इन दो शावकों के मिलने के बाद अगर आप बाघिन कालरवाली भूल गए हैं तो हम याद दिला देते हैं.क्योंकि मध्यप्रदेश अगर टाइगर स्टेट है तो पेंच टाइगर रिजर्व की कालरवाली बाघिन को इसमें सबसे बड़ा योगदान है. पेंच टाइगर रिजर्व की बाघिन 'कालरवाली' के नाम विश्व में सर्वाधिक संख्या में प्रसव और शावकों के जन्म का कीर्तिमान है. सितम्बर 2005 में जन्मी कालरवाली अब तक 8 बार में 29 शावकों को जन्म दे चुकी है, जो एक अनूठा विश्व रिकॉर्ड है. हालांकि जो दो नए शावक दिखाई दिए हैं वो दूसरी बाघिन ने दिए हैं.