सीहोर। बीजेपी नेता शिवराज सिंह चौहान ने जिले की तहसील नासरुल्लागंज में जनता की अदालत लगाई. इस दौरान उन्होंने किसानों की समस्याएं सुनी. पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने कहा कि 'जनता की अदालत लगाकर हंगामा खड़ा करना मेरा मकसद नहीं है'. उन्होंने कहा कि वो चाहते तो मंच से भाषण देकर जा सकते थे, लेकिन जनता की आवाज सुनना एक तपस्या है एक साधना है.
शिवराज सिंह ने कमलनाथ सरकार पर भी जमकर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि किसानों की सोयाबीन और मक्का की फसल पूरी तरह बर्बाद हो गई है और सरकार फार्म भरवाने की बात कह रही है. जबकि सरकार को बाढ़ का आंकलन पर किसान के खाते में पैसे डालने चाहिए, लेकिन सरकार फार्म भरवाने का नाटक चला रही है.
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि बाढ़ पीड़ितों के दर्द इतने है, कि कई बहनों की आंखों से आंसू छलक आए. उन्होंने कहा कि किसानों का कर्ज माफ नहीं हुआ है. 'जिनके 200 रुपये का बिल आते था, उनके अब हजारों रुपये के बिल आ रहे हैं. बिजली बिल जमा नहीं हो तो चल- अचल संपत्ति कुर्क हो जाएगी. कुछ तो शर्म करो कमलनाथ'.
शिवराज सिंह चौहान बड़ी संख्या में किसानों और कार्यकर्ताओं के साथ रैली निकालकर तहसील कार्यालय पहुंचे, जहां उन्होंने जनता की अदालत लगाई.