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10 साल में तैयार 'भ्रष्टाचार' का बालिका छात्रावास! - girls hostel is not ready in Sagargirls hostel is not ready

सागर जिले के देवरी शासकीय नेहरू कॉलेज का बालिका छात्रावास 10 साल बीत जाने के बाद भी बनकर तैयार नहीं हुआ है.

Girls Hostel V / s Corruption Hostel
बालिका छात्रावास V/s भ्रष्टाचार छात्रावास
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Published : Feb 15, 2021, 4:32 PM IST

Updated : Feb 15, 2021, 5:30 PM IST

सागर। लोक निर्माण विभाग के निर्माण कार्यों में अधिकारियों- ठेकेदारों की मिलीभगत के किस्से तो आपने ने सुने ही होंगे. इस बार भ्रष्टाचार एवं अनियमितताओं का निशाना देवरी शासकीय नेहरू कॉलेज बना है. 2011 में स्वीकृत बालिका छात्रावास में भी ठीक तरह से बनकर तैयार नहीं हुआ है. लगभग 40 लाख की लागत से बनाई गई छात्रावास की बिल्डिंग, दस साल बीत जाने के बाद बनकर तैयार नहीं हुई है.

Government Nehru College Deori
छत में दरार

छात्रावास निर्माण पर सवालिया निशान

छात्रावास निर्माण में घटिया काम के चलते छात्रावास तैयार नही हुआ है. दूर से देखने में यह छात्रावास खंडहर जैसा दिखाई देता है. छात्रावास के अंदर कमरों की टाइल्स अभी से उखड़ना शुरु हो गई है. नेहरू पीजी कॉलेज 10 साल पहले 28 मई 2011 को स्वीकृत हुआ बालिका हॉस्टल घटिया निर्माण कार्य और लापरवाही के कारण इस महिला हॉस्टल की दीवारें जर्जर हो गई है. खिड़कियां बनने के बाद टूट चुकी है, फर्श जगह-जगह उखड़ चुका है. भवन की छत जगह जगह से बारिश के पानी के रिसाव से खराब हो गई है.

Government Nehru College Deori
शासकीय नेहरू कॉलेज देवरी

पूर्व मंत्री हर्ष यादव ने किया था लोकार्पण

इस हॉस्टल के लिए यूजीसी से 79 लाख रुपए की राशि पीडब्ल्यूडी के लिए जारी की गई थी. जिसमें 40 लाख की राशि फर्स्ट फ्लोर के लिए लोक निर्माण विभाग के लिए जारी की गई थी. लोक निर्माण विभाग ने सागर की मनाली कंट्रक्शन कंपनी को ठेका दिया लेकिन ठेकेदार द्वारा उक्त भवन निर्माण कार्य पिछले वर्षों में भी पूरा नहीं किया गया, जबकि अनुबंध में मनाली कंस्ट्रक्शन द्वारा 10 माह में भवन पूर्ण करने के लिए कहा गया था. करीब डेढ़ वर्ष पूर्व तत्कालीन कांग्रेस सरकार के कैबिनेट मंत्री हर्ष यादव ने बालिका छात्रावास का लोकार्पण किया था. लोग इस दौरान उन्होंने जब निरीक्षण किया तो छात्रावास में बहुत अनियमितताएं देखने को मिली है. उस समय खिड़कियों के कांच टूटे थे और शौचालय की सीटें टूटी मिली और बिजली के बोर्ड टूटे थे. दीवारों पर दरारें भ्रष्टाचार की कहानी कह रही है.

साल के बाद भी नहीं बना बालिका छात्रावास

उद्घाटन के डेढ़ साल बाद भी शुरू नहीं हो सका व्यवसाय कॉम्प्लेक्स

इस दौरान उच्च शिक्षा मंत्री मोहन यादव ने छात्रावास के निर्माण में गुणवत्ता के अभाव को लेकर नाराजगी जाहिर की थी और लोक निर्माण विभाग के उपयंत्री को सुधार के निर्देश दिए थे. लेकिन लोक निर्माण विभाग और ठेकेदार की मिलीभगत से आनन-फानन में राजनीतिक दबाव बनाकर तत्कालीन प्राचार्य डॉक्टर एनएस राजपूत को यह भवन हैंड ओवर कर दिया था. 48 बालिकाओं के लिए स्वीकृत हुए इस छात्रावास भवन में पानी तक की सुविधा नहीं है. भवन के आसपास पानी का स्रोत भी नहीं है. भवन के ऊपर रखी पानी की टंकियां नल फिटिंग पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो चुकी है. घटिया निर्माण के कारण भवन की छत पर दरारें दिखाई देने लगी हैं, जो बारिश में रिसाव बनाती हैं. तत्कालीन प्राचार्य डॉक्टर एनएस राजपूत ने कहा था कि बिल्डिंग का काम अधूरा है और पानी के लिये भी कोई व्यवस्था नहीं की गई है. जब बिल्डिंग का पूरा काम हो जायेगा तो बिल्डिंग का विधिवत उद्धघाटन कर बिल्डिंग हैंडओवर की जायेगी. तत्कालीन कलेक्टर आलोक शुक्ला के दबाव में जर्जर भवन को महाविद्यालय हैंड ओवर कर लिया है.

सागर। लोक निर्माण विभाग के निर्माण कार्यों में अधिकारियों- ठेकेदारों की मिलीभगत के किस्से तो आपने ने सुने ही होंगे. इस बार भ्रष्टाचार एवं अनियमितताओं का निशाना देवरी शासकीय नेहरू कॉलेज बना है. 2011 में स्वीकृत बालिका छात्रावास में भी ठीक तरह से बनकर तैयार नहीं हुआ है. लगभग 40 लाख की लागत से बनाई गई छात्रावास की बिल्डिंग, दस साल बीत जाने के बाद बनकर तैयार नहीं हुई है.

Government Nehru College Deori
छत में दरार

छात्रावास निर्माण पर सवालिया निशान

छात्रावास निर्माण में घटिया काम के चलते छात्रावास तैयार नही हुआ है. दूर से देखने में यह छात्रावास खंडहर जैसा दिखाई देता है. छात्रावास के अंदर कमरों की टाइल्स अभी से उखड़ना शुरु हो गई है. नेहरू पीजी कॉलेज 10 साल पहले 28 मई 2011 को स्वीकृत हुआ बालिका हॉस्टल घटिया निर्माण कार्य और लापरवाही के कारण इस महिला हॉस्टल की दीवारें जर्जर हो गई है. खिड़कियां बनने के बाद टूट चुकी है, फर्श जगह-जगह उखड़ चुका है. भवन की छत जगह जगह से बारिश के पानी के रिसाव से खराब हो गई है.

Government Nehru College Deori
शासकीय नेहरू कॉलेज देवरी

पूर्व मंत्री हर्ष यादव ने किया था लोकार्पण

इस हॉस्टल के लिए यूजीसी से 79 लाख रुपए की राशि पीडब्ल्यूडी के लिए जारी की गई थी. जिसमें 40 लाख की राशि फर्स्ट फ्लोर के लिए लोक निर्माण विभाग के लिए जारी की गई थी. लोक निर्माण विभाग ने सागर की मनाली कंट्रक्शन कंपनी को ठेका दिया लेकिन ठेकेदार द्वारा उक्त भवन निर्माण कार्य पिछले वर्षों में भी पूरा नहीं किया गया, जबकि अनुबंध में मनाली कंस्ट्रक्शन द्वारा 10 माह में भवन पूर्ण करने के लिए कहा गया था. करीब डेढ़ वर्ष पूर्व तत्कालीन कांग्रेस सरकार के कैबिनेट मंत्री हर्ष यादव ने बालिका छात्रावास का लोकार्पण किया था. लोग इस दौरान उन्होंने जब निरीक्षण किया तो छात्रावास में बहुत अनियमितताएं देखने को मिली है. उस समय खिड़कियों के कांच टूटे थे और शौचालय की सीटें टूटी मिली और बिजली के बोर्ड टूटे थे. दीवारों पर दरारें भ्रष्टाचार की कहानी कह रही है.

साल के बाद भी नहीं बना बालिका छात्रावास

उद्घाटन के डेढ़ साल बाद भी शुरू नहीं हो सका व्यवसाय कॉम्प्लेक्स

इस दौरान उच्च शिक्षा मंत्री मोहन यादव ने छात्रावास के निर्माण में गुणवत्ता के अभाव को लेकर नाराजगी जाहिर की थी और लोक निर्माण विभाग के उपयंत्री को सुधार के निर्देश दिए थे. लेकिन लोक निर्माण विभाग और ठेकेदार की मिलीभगत से आनन-फानन में राजनीतिक दबाव बनाकर तत्कालीन प्राचार्य डॉक्टर एनएस राजपूत को यह भवन हैंड ओवर कर दिया था. 48 बालिकाओं के लिए स्वीकृत हुए इस छात्रावास भवन में पानी तक की सुविधा नहीं है. भवन के आसपास पानी का स्रोत भी नहीं है. भवन के ऊपर रखी पानी की टंकियां नल फिटिंग पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो चुकी है. घटिया निर्माण के कारण भवन की छत पर दरारें दिखाई देने लगी हैं, जो बारिश में रिसाव बनाती हैं. तत्कालीन प्राचार्य डॉक्टर एनएस राजपूत ने कहा था कि बिल्डिंग का काम अधूरा है और पानी के लिये भी कोई व्यवस्था नहीं की गई है. जब बिल्डिंग का पूरा काम हो जायेगा तो बिल्डिंग का विधिवत उद्धघाटन कर बिल्डिंग हैंडओवर की जायेगी. तत्कालीन कलेक्टर आलोक शुक्ला के दबाव में जर्जर भवन को महाविद्यालय हैंड ओवर कर लिया है.

Last Updated : Feb 15, 2021, 5:30 PM IST
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