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कॉटन की फैक्ट्री में बनाया जा रहा था पेन किलर, सील की गई फैक्ट्री

मुरैना के बानमोर औद्योगिक क्षेत्र में कॉटन बनाने वाली एक फैक्ट्री में अवैध रुप से पेन किलर बनाए जा रहे थे, जिस पर औषधि प्रशासन की टीम ने छापामार कार्रवाई की.

illegal factory
फैक्ट्री कॉटन की बनाया जा रहा था पेन किलर
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Published : Jan 25, 2020, 10:28 AM IST

Updated : Jan 25, 2020, 10:59 AM IST

मुरैना। बानमोर औद्योगिक क्षेत्र स्थित श्रीविनायक सरजीप्लास प्राइवेट लिमिटेड फैक्ट्री में औषधि प्रशासन भोपाल की टीम ने छापामार कार्रवाई की. फैक्ट्री में बिना लाइसेंस के पेन किलर्स बनाए जा रहे थे.

दरअसल श्रीविनायक फैक्ट्री के पास कॉटन बनाने का लाइसेंस है लेकिन कार्रवाई के दौरान यहां कॉटन बनाने की कोई सामग्री नहीं मिली. फैक्ट्री में पेन किलर्स बनाने के केमिकल और बाकी रॉ-मटेरियल पाए गए. ओषधि सुरक्षा विभाग ने फिलहाल श्रीविनायक सर्जिप्लेस्टो फैक्टरी को सील कर दिया है.

फैक्ट्री कॉटन की बनाया जा रहा था पेन किलर

जांच दल को फैक्ट्री संचालक ने बताया कि इंडो लाइन पाउडर बनाया जा रहा है लेकिन जब फैक्ट्री के रॉ-मेटेरियल के बिल चेक किए गए और लेबोरेट्री के सेम्पल की जांच की गई तो पता चला कि फैक्ट्री में डायक्लोफेन पाउडर बनाया जा रहा है जो प्रतिबंधित दर्द निवारक दवाओं में उपयोग होता है. औषधि प्रशासन की टीम ने एपीआई फिनिस पाउडर की 26 बोरियों भी जब्त की हैं जिसकी कीमत करीब 4 लाख रुपए बताई जारी है.

मुरैना। बानमोर औद्योगिक क्षेत्र स्थित श्रीविनायक सरजीप्लास प्राइवेट लिमिटेड फैक्ट्री में औषधि प्रशासन भोपाल की टीम ने छापामार कार्रवाई की. फैक्ट्री में बिना लाइसेंस के पेन किलर्स बनाए जा रहे थे.

दरअसल श्रीविनायक फैक्ट्री के पास कॉटन बनाने का लाइसेंस है लेकिन कार्रवाई के दौरान यहां कॉटन बनाने की कोई सामग्री नहीं मिली. फैक्ट्री में पेन किलर्स बनाने के केमिकल और बाकी रॉ-मटेरियल पाए गए. ओषधि सुरक्षा विभाग ने फिलहाल श्रीविनायक सर्जिप्लेस्टो फैक्टरी को सील कर दिया है.

फैक्ट्री कॉटन की बनाया जा रहा था पेन किलर

जांच दल को फैक्ट्री संचालक ने बताया कि इंडो लाइन पाउडर बनाया जा रहा है लेकिन जब फैक्ट्री के रॉ-मेटेरियल के बिल चेक किए गए और लेबोरेट्री के सेम्पल की जांच की गई तो पता चला कि फैक्ट्री में डायक्लोफेन पाउडर बनाया जा रहा है जो प्रतिबंधित दर्द निवारक दवाओं में उपयोग होता है. औषधि प्रशासन की टीम ने एपीआई फिनिस पाउडर की 26 बोरियों भी जब्त की हैं जिसकी कीमत करीब 4 लाख रुपए बताई जारी है.

Intro:बानमोर औद्योगिक क्षेत्र में स्थित श्रीविनायक सरजीप्लास प्राइवेट लिमिटेड फैक्ट्री में औषधि प्रशासन भोपाल की टीम द्वारा छापामार कार्रवाई कर फैक्ट्री में बिना लाइसेंस के बनाते पाई गई । श्रीविनायक फैक्ट्री के पास कॉटन बनाने का लाइसेंस है लेकिन कॉटन बनाने का काम बंद ही नही था बल्कि कॉटन बनाने जैसी को सामग्री फैक्ट्री में नही थी। और दर्द निवारक दावा बनाने का केमिकल या कहे कि रो-मटेरियल बनाने का काम किया जा रहा था । यह मटेरियल देश के कई राज्यो में भेजा जा रहा था ।खास बात तो यह कि माल को अन्य नामो से बिल बनाकर चोरी छिपे है देश कई राज्यो में कारोबार कर रहा था । ओषधि सुरक्षा विभाग ने फिलहाल श्रीविनायक सर्जिप्लेस्टो फैक्टरी को सील कर दिया है ।
Body:जांच दल को फैक्ट्री संचालक द्वारा बताया गया कि इंडो लाइन पाउडर बनाया जा रहा है । लेकिन जब फैक्ट्री के रो-मेटेरियल के बिल चेक किये और लेबोरेट्री के सेम्पल की जांच की गई तो पाया कि फैक्ट्री में डायक्लोफेन पाउडर बनाया जा रहा है जो प्रतिबंधित दर्द निवारक दवाओं में उपयोग होता है । दर्द निवारण दवा के बनने हेतु लाये के एपीआई फिनिस पाउडर के 26 बोरी भी जप्त की गई है । जिसकी कीमत करीब 4लाख रुपये है ।

Conclusion:साथ ही फेक्ट्री के अन्य मेटेरियल की भी जप्त किया गया । और जांच पूरी होने तक फेक्ट्रो को सील किया गया है । फैक्ट्री प्रबंधक राजेश कुमार मंगल निवासी मुरैना के खिलाफ भी कानूनी कार्रवाई की जा रही है ।

बाईट 1- देशराज सिंह राजपूत - औषधीय निरीक्षक मुरैना
Last Updated : Jan 25, 2020, 10:59 AM IST
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