मंदसौर। मंदी के दौर में लहसुन के दामों ने एक बार फिर रिकॉर्ड तोड़ दिए है. जिले की कृषि उपज मंडी में आज लहसुन 51 हजार रुपये प्रति क्विंटल के रिकॉर्ड तोड़ दाम पर बिकी. वहीं रतलाम जिले के किसान हरीश पाटीदार की उपज इतने महंगे दामों पर बिकने के बाद किसानों के चेहरे पर रौनक लौट आई है.
प्याज के बाद अब लहसुन के दाम भी आसमान छू रहे हैं. जिले की कृषि उपज मंडी में बिकने आई देसी लहसुन आज 510 रुपए प्रति किलो के दाम पर बिकी. उत्पादन में कमी और दिसावरी मांग के कारण लहसुन के दामों में इन दिनों भारी उछाल है. सर्दी के सीजन में गरम मसालों में उपयोग की जाने वाली जिले की देसी लहसुन का उत्पादन पिछले सीजन में काफी कम हुआ था. पूरे इलाके में माल की कमी बताई जा रही हैं. नई फसल की बुवाई का दौर भी जारी है और बीज के लिए भी लहसुन की डिमांड भारी है. अगली फसल 5 महीने बाद आने वाली है इसलिए आज से ठंड के मौसम को पार करना व्यापारिक गणित के हिसाब से काफी लंबा माना जा रहा है. यही वजह है कि व्यापारी भविष्य में और तेजी की संभावना जता रहे हैं. इधर मंदी के दौर में लहसुन के दामों में आई अचानक तेजी से किसान वर्ग काफी खुश नजर आ रहा है.
किसानों ने व्यापारियों से माल की परख कर अच्छे भाव देने की उम्मीद जताई है. 51 हजार रुपये प्रति क्विंटल की दर पर माल खरीदने वाले व्यापारी राजेश बम्ब ने बताया कि शॉपिंग मॉल में देसी लहसुन की भारी डिमांड हैं. लिहाजा इस क्वालिटी के माल के दाम रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गए हैं. उन्होंने लहसुन के ये दाम, अपने 40 साल के व्यापारिक जीवन के सबसे ज्यादा रेट होने की भी बात कही है.