मंडला। जिले में जिन वनकर्मियों पर वनों की सुरक्षा का जिम्मा है, वहीं वनकर्मी वनों की अवैध कटाई में संलिप्त नजर आ रहे हैं. ऐसा ही कुछ मामला पश्चिम वन मंडल सामान्य वनपरिक्षेत्र बरेला की बुधरापिपरिया बीट में सामने आया है. यहां पर पदस्थ बीटगार्ड सुरेश उलाड़ी की भूमिका संदिग्ध नजर आ रही है.
क्षेत्र के लोग लगातार खेती किसानी के लिए जंगलों की अवैध कटाई में लगे हुए हैं. जिन पर अंकुश लगाना नाकाम साबित हो रहा है. वहीं नाम न छापने की शर्त पर पड़ोसी ग्राम मगरधा के लोगों ने बताया की बीटगार्ड सुरेश उलाड़ी पिछले 6 वर्षों से इसी बीट में पदस्थ हैं. इसके अलावा पिपरिया और उसके आस पास के गांवों में इसके रिश्तेदार भी हैं. जिसके चलते यह वन रक्षक अपने परिचित से अपने अधिनिस्त वन क्षेत्र में कब्जा कराने की नीयत से हरे भरे पेड़ों की अवैध कटाई करवा रहा है. साथ ही बताया कि मगरधा नाले के आस पास बीटगार्ड की मिली भगत से पिपरिया के ग्रामीणों ने 10 से 15 एकड़ का जंगल नेस्तनामूद कर हजारों पेड़ों को काट दिया गया है.
इन काटे गए पेड़ों की कीमत लाखो में बताई जा रही है. जबकि इस बारे में क्षेत्र के जागरूक लोग कई बार रेंजर और विभाग के एसडीओ चतुर्वेदी से शिकायत कर चुके हैं, लेकिन एसडीओ साहब पूरे मामले पर पर्दा डालने में लगे हुए हैं. जिससे प्रतीत होता है कि जंगलों की अवैध कटाई में बीटगार्ड सहित एसडीओ जीके चतुर्वेदी की भूमिका संदिग्ध नजर आ रही है.