जबलपुर। आज देशभर में नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट (NEET) की परीक्षा हो रही है. कोरोना के मद्देनजर परीक्षा न कराए जाने की तमाम दलों व लोगों की मांग के बीच अंततः यह परीक्षा आयोजित कराई जा रही है. इससे पहले JEE की परीक्षा भी हो चुकी हैं. देशभर में 15.9 लाख अभ्यर्थी NEET की परीक्षा दे रहे हैं और इसके लिए पूरे भारत मे 3,843 सेंटर बनाए गए हैं. जबलपुर कोरोना वायरस के चलते मेडिकल कॉलेजों में एडमिशन के लिए एंट्रेंस टेस्ट नीड की परीक्षा हो रही है. जबलपुर में नीट के एग्जाम के लिए बीस सेंटर बनाए गए हैं. इनमें 12 सेंटर शहर में हैं और बाकी आसपास के इलाकों में जबलपुर में न केवल शहर के बल्कि आसपास के जिलों से भी बच्चे परीक्षा देने के लिए पहुंचे हैं.
जिन स्कूलों में परीक्षा करवाई जा रही है. वहां पर कोरोना वायरस के चलते सोशल डिस्टेंसिंग का खास ख्याल रखा जा रहा है. बच्चों का टेंपरेचर लिया जा रहा है और उसके बाद ही उन्हें परीक्षा हॉल में जाने दिया जा रहा है. इसलिए परीक्षा से 2 घंटे पहले ही बच्चों को रिपोर्टिंग टाइम दिया गया था एक कमरे में मात्र 12 बच्चों को ही बैठने की अनुमति दी गई है. जबलपुर में तकरीबन 15000 बच्चे परीक्षा दे रहे हैं.
यातायात के साधन बंद होने के छात्रों को हुई परेशानी
सबसे ज्यादा परेशानी छात्रों को सेंट्रर तक पहुंचने में हुई. क्योंकि जबलपुर में रविवार को आंशिक रुप से लॉकडाउन है. जिससे लोगों को एग्जाम सेंटर तक पहुंचने में काफी परेशान की सामना करना पडा. कोरोना वायरस के संकट काल में मार्च से लेकर अब तक क्लासे बंद थी इसलिए ज्यादातर बच्चों ने ऑनलाइन पढ़ाई की है या खुद ही तैयारी की है.
थर्मल स्क्रीनिंग के बाद प्रवेश
यह परीक्षा 2 बजे से 5 बजे के बीच होनी है. लेकिन कोरोना संबंधी एहतियात को देखते हुए सुबह 11 बजे ही अभ्यर्थियों की एंट्री करा दी गई. इसके बाद इनकी थर्मल स्क्रीनिंग हुई. यहां बच्चों को यह सेल्फ डिक्लरेशन भी देना है कि वे पूरी तरह से सुरक्षित हैं और उनमें कोरोना के कोई लक्षण नहीं है. परीक्षा केंद्र के भीतर सोशल डिस्टेंसिग का भी पूरा ध्यान रखा जा रहा है. हर दो अभ्यर्थी के बीच दो खाली सीट का गैप है.