जबलपुर। पुलिस ने एक ऐसे शातिर गिरोह का भंडाफोड़ किया है, जो कि फर्जी विवाह कर उन युवकों को ठगने का काम किया करते थे. जिनका कहीं विवाह नहीं हो रहा होता है. यह गिरोह युवती के परिजन बनकर युवक-युवती को मिलाते थे और फिर युवक से शादी के नाम पर अच्छी खासी रकम वसूलते थे. विवाह के बाद गिरोह के सदस्य युवती को वहां से लेकर रफूचक्कर हो जाते थे.
मास्टरमाइंड लाल सिंह ठाकुर कुछ इस तरह से करवाता था फर्जी विवाह
लाल सिंह ठाकुर और उसका गिरोह कुछ इस तरह से लोगों को ठगने का काम किया करता था कि लोग समझ नहीं पाते थे कि वह ठगी का शिकार हो रहे हैं. गिरोह का मुखिया लाल सिंह शादी करवाने के बाद उस महिला को जो कि फर्जी विवाह में शामिल होती है, उसे उसका हिस्सा देकर फिर दूसरे युवक की तलाश में जुट जाते थे. लालजी महिला का कभी भाई तो कभी पिता तो कभी मामा बनकर शादी करवाया करता था.
लालजी ठाकुर अपने गिरोह को बीते 8 महीने से तैयार करने में जुटा हुआ था. हाल ही में जब यह गिरोह तैयार हुआ तो उसने उम्र दराज और जिनकी शादी नहीं हो पा रही है, उनको अपना निशाना बनाना शुरू कर दिया. आज यह ग्रुप जबलपुर सहित कटनी, दमोह, नरसिंहपुर में पूरी तरह से सक्रिय है.
जबलपुर निवासी एक महिला की शिकायत पर हनुमानताल थाना पुलिस ने शुरुआत में गुमशुदगी से इस मामले की जांच शुरू की जैसे ऐसे जांच आगे बढ़ती गई वैसे-वैसे गिरोह का भंडाफोड़ होता गया.
गिरोह ठगी में सोशल मीडिया का लेता था सहारा
सीएसपी अखिलेश गौर के मुताबिक इस ग्रुप के लोगों ने अपनी अलग ही दुनिया बना रखी थी. गिरोह के सदस्य सोशल मीडिया के माध्यम से युवकों को लड़की की तस्वीर दिखाते थे और जब शादी की बात आती थी तो लालजी ठाकुर यह कहकर लड़के के परिवार वालों से रुपए ले लेता था कि लड़की के परिवार वाले गरीब घर के हैं और विवाह करने की उनकी हैसियत नहीं है, फिलहाल फरार लाल जी ठाकुर की पुलिस तलाश कर रही है.