जबलपुर। पन्ना से गांधी सागर अभ्यारण्य हुए तबादले को चुनौती देने वाले मामले में हाईकोर्ट के आदेश का पालन न होने का दावा कर दायर की गई अवमानना याचिका का हाईकोर्ट ने पटाक्षेप कर दिया. चीफ जस्टिस मोह. रफीक व जस्टिस संजय द्विवेदी की युगलपीठ के समक्ष सरकार की ओर से कहा गया कि न्यायालय के आदेश के परिपालन में याचिकाकर्ता का तबादला गांधी सागर कीबजाएं सागर के नौरादेही वन मंडल में किया गया है. जिस पर न्यायालय ने आगे कोई हस्तक्षेप करने से इंकार करते हुए मामले का निराकरण कर दिया.
यह अवमानना का मामला फॉरेस्ट अधिकारी बाबू सिंह चंदेल की ओर से दायर किया गया था. जिसमें कहा गया था कि वह पन्ना में पदस्थे, शासन ने उनका तबादला पन्ना से नौ सौ किमी. दूर मंदसौर गांधी सागर अभ्यारण्य किया था, जिस पर उन्होने हाईकोर्ट की शरण ली थी. हाईकोर्ट ने 25 जनवरी 21 को उनके मामले का पटाक्षेप करते हुए पीएस फॉरेस्ट को उनके अभ्यावेदन पर सहानुभूति पूर्वक विचार कर निकटवर्ती जिले में स्थानातंरण पर विचार के निर्देश दिये थे. दायर अवमानना मामले में कहा गया कि उक्त आदेश का पालन नही किया गया.
वहीं, सरकार की ओर से कहा गया कि आदेश का पालन करते हुए याचिकाकर्ता का तबादला सागर के नौरादेही वन मंडल में किया गया है, जिसकी दूरी पन्ना से करीब ढाई सौ किलोमीटर है. सुनवाई के दौरान न्यायालय ने पाया कि पूर्व आदेश केपरिपालन कर दिया गया, जिस पर न्यायालय ने मामले में हस्तक्षेप से इंकार करते हुए याचिका निराकृत कर दी.
अवमानना याचिका का हाईकोर्ट ने किया पटाक्षेप
पन्ना से गांधी सागर अभ्यारण्य हुए तबादले को चुनौती देने वाले मामले में हाईकोर्ट के आदेश का पालन न होने का दावा कर दायर की गई अवमानना याचिका का हाईकोर्ट ने पटाक्षेप कर दिया.
जबलपुर। पन्ना से गांधी सागर अभ्यारण्य हुए तबादले को चुनौती देने वाले मामले में हाईकोर्ट के आदेश का पालन न होने का दावा कर दायर की गई अवमानना याचिका का हाईकोर्ट ने पटाक्षेप कर दिया. चीफ जस्टिस मोह. रफीक व जस्टिस संजय द्विवेदी की युगलपीठ के समक्ष सरकार की ओर से कहा गया कि न्यायालय के आदेश के परिपालन में याचिकाकर्ता का तबादला गांधी सागर कीबजाएं सागर के नौरादेही वन मंडल में किया गया है. जिस पर न्यायालय ने आगे कोई हस्तक्षेप करने से इंकार करते हुए मामले का निराकरण कर दिया.
यह अवमानना का मामला फॉरेस्ट अधिकारी बाबू सिंह चंदेल की ओर से दायर किया गया था. जिसमें कहा गया था कि वह पन्ना में पदस्थे, शासन ने उनका तबादला पन्ना से नौ सौ किमी. दूर मंदसौर गांधी सागर अभ्यारण्य किया था, जिस पर उन्होने हाईकोर्ट की शरण ली थी. हाईकोर्ट ने 25 जनवरी 21 को उनके मामले का पटाक्षेप करते हुए पीएस फॉरेस्ट को उनके अभ्यावेदन पर सहानुभूति पूर्वक विचार कर निकटवर्ती जिले में स्थानातंरण पर विचार के निर्देश दिये थे. दायर अवमानना मामले में कहा गया कि उक्त आदेश का पालन नही किया गया.
वहीं, सरकार की ओर से कहा गया कि आदेश का पालन करते हुए याचिकाकर्ता का तबादला सागर के नौरादेही वन मंडल में किया गया है, जिसकी दूरी पन्ना से करीब ढाई सौ किलोमीटर है. सुनवाई के दौरान न्यायालय ने पाया कि पूर्व आदेश केपरिपालन कर दिया गया, जिस पर न्यायालय ने मामले में हस्तक्षेप से इंकार करते हुए याचिका निराकृत कर दी.