हरदा। 29 और 30 अगस्त के बीच भारी बारिश से नर्मदा में आई बाढ़ से हरदा जिले के कई गांव डूब गए थे. हरदा शहर की निचली बस्तियां भी पूरी तरह से जलमग्न हो गई थी. बाढ़ प्रभावित हुए लोगों को भारी नुकसान का सामना करना पड़ा था. कांग्रेस ने इस मामले में प्रशासन को ज्ञापन सौंपकर अधिकारियों पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाया है.
कांग्रेस नेता हेमंत टाले का आरोप है कि, आधुनिक तकनीक के चलते प्रशासनिक अधिकारियों को बांध से छोड़े जाने वाले पानी और तेज बारिश की सूचना पूर्व में ही मिल जाती है, लेकिन अधिकारियों ने इस मामले में लापरवाही बरती. उन्होंने कहा बाढ़ की सूचना अधिकारियों ने देर से लोगों को दी, जिससे वे अपना जरुरी सामान भी नहीं बचा सके.
मामले की उच्चस्तरीय जांच हो
कांग्रेस नेता ने कहा कि, प्राकृतिक प्रकोप के साथ-साथ इस मामले में प्रशासनिक अधिकारी भी जिम्मेदार हैं. यदि उनके द्वारा समय से पहले ही नर्मदा का पानी छोड़े जाने की सूचना लोगों को दी जाती, तो काफी हद तक बाढ़ की तबाही से लोगों को बचाया जा सकता था. उन्होंने इस मामले में उच्च स्तरीय जांच कर दोषी अधिकारियों के खिलाफ अपराधिक प्रकरण दर्ज किए जाने की मांग की है. ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं दोबारा ना हों.
कई गांव पूरी तरह से डूब गए थे
नर्मदा नदी में आई अचानक बाढ़ से हरदा जिले के गांव डूब में आ गए थे. बाढ़ का पानी आने से भयावह स्थिति बन गई थी. देर रात पानी आने से हजारों लोगों गृहस्थी का सामान भी बह गया. जिससे बाढ़ प्रभावितों को भारी नुकसान उठाना पड़ा.