हरदा। जिले में आवारा पशुओं के चलते बढ़ती सड़क दुर्घटनाओं पर लगाम लगाने के लिए कलेक्टर ने नई पहल शुरु की है. जिसके तहत गांव-गांव जाकर पशुओं पर टैग लगाकर उन्हें एक विशेष पहचान दी जायेगी. जिला प्रशासन ने ऐसे पशु मालिकों पर भी कार्रवाई करने की बात कही है, जो पशुओं को खुला छोड़ देते हैं. जिससे आम लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ता है.
जिला प्रशासन की इस पहल में पशुपालन विभाग की टीम गांव-गांव जाकर मवेशियों के कान में टैग लगायेगी. जिस पर पशु की नस्ल और मालिक का आधार नंबर मौजूद रहेगा. जिससे पशु मालिक की पहचान आसानी से की जा सकेगी.
वहीं पशु पालन विभाग हरदा उप संचालक राजेंद्र गौर ने बताया कि अभी तक 38 हजार पशुओं की टैगिंग की जा चुकी है, जबकि 72 हजार की टैगिंग करना बाकी है. इस टैग के माध्यम से पशुओं की नस्ल और उनके मालिकों की पहचान आसानी से की जा सकेगी.