ग्वालियर। हाईकोर्ट की ग्वालियर खंडपीठ ने गर्भवती नाबालिग को माता-पिता के साथ भेजने के आदेश दिए हैं. इस नाबालिग को अशोक नगर पुलिस ने पिछले दिनों बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका के तहत कोर्ट में पेश किया था. लड़की 3 माह की गर्भवती है उसकी खतरे संबंधी आशंका को देखते हुए हाईकोर्ट ने आदेश दिए हैं कि बाल कल्याण समिति हर सप्ताह उसकी रिपोर्ट कोर्ट में पेश करें.
पिछले साल अशोकनगर जिले के कचनार गांव में रहने वाली एक नाबालिग लड़की को अगवा कर लिया गया था. इस मामले में उसके प्रेमी को नामजद किया गया है. पिता द्वारा लगाई गई बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका में अशोकनगर पुलिस ने 5 फरवरी को लड़की को हाई कोर्ट में पेश किया था. उसके प्रेमी को अपहरण के मामले में जेल भेज दिया गया है. वहीं उस दौरान से ही लड़की को उम्र संबंधी जांच के लिए ग्वालियर के वन स्टॉप सेंटर भेजा गया था.
मेडिकल जांच में लड़की की उम्र 16 साल 6 महीने सामने आई है. इसलिए लड़की को कोर्ट ने उसके माता-पिता के साथ जाने के आदेश दिए हैं. लेकिन लड़की ने अपने माता-पिता से खुद को खतरा बताया है. इस पर सरकारी वकील ने कोर्ट को मामले की देखरेख के लिए CWC को शामिल करने की कोर्ट से अपील की है. जिस पर कोर्ट ने कहा है कि CWC हर सप्ताह बालिका की खैर-खबर लेगी और उसकी रिपोर्ट कोर्ट में पेश करेगी.