छिंदवाड़ा। प्रदेश के तरह छिंदवाड़ा जिले में भी कोरोना के कारण स्वास्थ्य व्यवस्थाएं बिगड़ गई है. एक तरफ जहां जिले में संक्रमितों की संख्या लगातार बढ़ रही है, तो वहीं दूसरी तरफ इंजेक्शन, ऑक्सीजन और बेड की किल्लत ने मरीज और उनके परिवार के लोगों की परेशानी बढ़ा दी है. हर दिन बढ़ रहे मौत के आंकड़े लोगों के साथ-साथ प्रशासन की भी नींद उड़ा रहे हैं. प्रशासन सभी व्यवस्थाएं करने के तमाम दावे कर रहा है लेकिन जमीन पर हालात कुछ और ही बयां कर रहे हैं.
3 दिन से जिले में नहीं मिल रही रेमडेसिविर
जिले में कोरोना संक्रमितों के बढ़ते आंकड़े के चलते हर दिन रेमडेसिविर की 500 वायल की जरूरत पड़ रही है. लेकिन हालात ये है कि पिछले तीन-चार दिनों से जिले में रेमडेसिविर ही नहीं है. मरीज के परिजन रजिस्ट्रेशन करवाकर इंजेक्शन आने का इंतजार कर रहे हैं. रेमडेसिविर के अलावा हर दिन फैबिफ्लू की लगभग 700 टेबलेट की डिमांड है, जबकि छिंदवाड़ा में फैबिफ्लू टेबलेट नहीं मिल रही है.
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किसी भी अस्पताल में बेड नहीं
अस्पतालों में बेड की बात करें तो न तो सरकारी और न ही निजी अस्पताल में बेड उपलब्ध है. गंभीर मरीजों के परिजन उन्हें अस्पताल में भर्ती करवाने के लिए परेशान होते नजर आ रहे हैं. जिला अस्पताल जाने पर आपको बरामदे में ही कई मरीज मिल जाएंगे. अस्पताल के वार्डों में मरीजों को जमीन पर लेटाकर इलाज किया जा रहा है.