भोपाल। राज्य सरकार ने अब राजस्व संबंधी जनता के काम जल्द निपटाने के लिए कवायद शुरू कर दी है. जनता के कामों की वेटिंग निपटाने के लिए नगरीय क्षेत्र को सेक्टर में बांटकर 2020 की जनसंख्या के हिसाब से 50 हजार की जनसंख्या पर एक सेक्टर बनाया जाएगा. प्रत्येक सेक्टर में एक नगर सर्वेक्षक नियुक्ति किया जाएगा. नगर सर्वेक्षक वरिष्ठ पटवारी होगा, जो नगरीय क्षेत्र में भूमि अभिलेख अपडेट करने, भूमि के प्रबंधन, नक्शा निर्माण एवं भूमि सर्वे इत्यादि कार्य करेगा.
नगरीय निकायों में 988 वरिष्ठ पटवारी नियुक्त होंगे : वरिष्ठ पटवारियों के वर्कलोड को कम करने के लिए पटवारी नियुक्त किए जाएंगे. नगरीय निकायों में 988 वरिष्ठ पटवारी नियुक्त किए जाएंगे. वर्तमान में पटवारी जमीन का रिकॉर्ड मेंटेन करने के साथ ही न्यायालयीन प्रतिवेदन, नामांतरण-बंटवारा रिपोर्ट, गिरदावरी, फसल बीमा, उपार्जन, जाति प्रमाण पत्र, बीपीएल जांच, कृषि गणना, ऋण वसूली में सहयोग जैसे अन्य कार्य भी करते हैं. जमीन के रिकॉर्ड के मूल कार्य के अलावा अन्य कार्य करने से पटवारियों पर कार्यभार बढ़ा है. इसलिए प्रदेश में तहसील मुख्यालय स्तर पर 428 वर्कलोड पटवारी पदस्थ किए जाएंगे.
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पटवारियों पर वर्कलोड कम करने की कवायद : पटवारी को लैण्ड रिकॉर्ड के कार्य का अनुभव होता है, इसलिए एक पटवारी वर्कलोड पटवारी के रूप में तहसील मुख्यालय पर पदस्थ रहेगा, जो राजस्व बैठक के आयोजन राजस्व निर्देशों का पालन एवं सौंपे गए अन्य लैण्ड रिकॉर्ड के कार्य करेगा. 5204 पदों की जगह सिर्फ 3000 पटवारी की भर्ती, बाकी विधानसभा चुनाव के पहले होगी. प्रदेश में पटवारियों के कुल स्वीकृत पद 19 हजार 20 है. बढ़ते वर्कलोड को देखते हुए पटवारियों के 5204 नए पद और बढ़ाने का प्रस्ताव कैबिनेट में रखा गया था, जिस पर कैबिनेट ने सहमति दी थी.
(Sector will be on population of 50 thousand) (revenue related works in Madhya Pradesh)