भोपाल। प्रदेश के पहले मलखंब द्रोणाचार्य अवार्ड पाने वाले योगेश मालवीय और नेशनल एडवेंचर अवार्ड से सम्मानित दिव्यांग तैराक सत्येंद्र सिंह लोहिया शनिवार की देर रात CM हाउस पहुंचे और CM शिवराज सिंह चौहान से मुलाकात की. इस दौरान CM शिवराज सिंह ने दोनों को पुरस्कार मिलने पर शुभकामनाएं और बधाई दीं. साथ ही योगेश मालवीय को मध्यप्रदेश सरकार की तरफ से 10 लाख रुपए और सत्येन्द्र सिंह लोहिया को पांच लाख रुपए की सम्मान निधि देने की घोषणा की. CM ने कहा कि दोनों ही खिलाड़ियों ने उत्कृष्ट उपलब्धता हासिल कर मध्यप्रदेश का गौरव बढ़ाया है. मध्य प्रदेश सरकार इनके खेल के प्रोत्साहन के लिए हरंसभव मदद प्रदान करेगी.
दिल्ली में आयोजित हुआ अलंकरण समारोह
29 अगस्त को राष्ट्रीय खेल दिवस के अवसर पर नई दिल्ली में राष्ट्रीय खेल अलंकरण समारोह आयोजित हुआ, जहां प्रदेश के खिलाड़ी योगेश मालवीय को मलखंब प्रशिक्षक के लिए द्रोणाचार्य अवॉर्ड और सत्येन्द्र सिंह लोहिया को दिव्यांग तैराक के रूप में तेंजिंग नोर्गे नेशनल एडवेंचर अवॉर्ड से नवाजा गया.
प्रदेश में खुलेगी मलखंब अकादमी
CM शिवराज सिंह ने इस मौके पर कहा कि मलखंब मध्य प्रदेश का राज्य खेल है. इसे बढ़ाने के लिए सरकार ने खेल अकादमी खोलने का फैसला लिया है. इस खेल अकादमी में द्रोणाचार्य पुरस्कार प्राप्त मलखंब प्रशिक्षक योगेश मालवीय की सेवाएं ली जाएंगी. योगेश मालवीय द्वारा सिखाए गए मलखंभ खिलाड़ी आज देश और दुनिया में मलखंभ का श्रेष्ठ प्रदर्शन कर रहे हैं. उन्हें साल 2012 में मध्य प्रदेश शासन ने विश्वामित्र अवॉर्ड से और साल 2018 में भारतीय खेल प्राधिकरण द्वारा मलखंब के शानदार प्रदर्शन के लिए पुरस्कृत किया जा चुका है.
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सत्येन्द्र सिंह लोहिया दिव्यांग पैरा तैराक के रूप में 42 किलोमीटर की कैटलीना चैनल को 11 घंटे 34 मिनट की अल्पवधि में पार कर पहले एशियाई तैराक बने. साथ ही उन्होंने इंग्लिश चैनल को 12 घंटे 24 मिनट में पार कर लिम्का बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में अपना नाम दर्ज करवाया. उन्होंने चार अंतर्राष्ट्रीय और सात राष्ट्रीय पैरा तैराकी चैम्पियनशीप में अब तक टोटल 28 पदक अर्जित किए. मध्य प्रदेश सरकार ने इन्हें साल 2014 में प्रदेश का सर्वोच्च खेल सम्मान विक्रम अवॉर्ड से नवाजा था.