भोपाल। मध्यप्रदेश में मौसम ने ली करवट ले ली है, प्रदेश के अधिकांश जिलों में बादल छाए हुए हैं. वहीं राजस्थान के सीमावर्ती जिलों में तेज हवाओं के साथ बारिश और ओलावृष्टि भी हुई है, जिसके चलते तापमान में गिरावट दर्ज की गई है. फिलहाल प्रदेश में मौसम बना रहेगा. मौसम विज्ञान विभाग ने बताया है कि अभी 8 मार्च तक मौसम में तबदीली होगी, उसके बाद प्रदेश में गर्मी पड़नी शुरू होगी. मध्यप्रदेश मौसम विभाग के अनुसार प्रदेश में एक नए पश्चिमी विक्षोभ के एक्टिव होने की सम्भवना है जिसके असर से प्रदेश में 8 मार्च के बाद फिर से एक बार मौसम में बदलाव दिखाई देगा और दिन के समय मे तापमान में परिवर्तन होगा और गर्मी बढ़ना शुरू हो जाएगी. विभाग का अनुमान है कि मार्च अंत तक अधिकतम तापमान 40 डिग्री तक जा सकता है. मार्च के आखिरी सप्ताह में प्रदेश के अधिकांश जिलों में भीषण गर्मी का दौर शुरू हो जाएगा. साथ ही सूरज की सीधी किरणें जमीन पर पड़ने से गर्म हवाएं चलने से गर्म हवाओं के थपेगे लोगों को गर्मी का अहसास कराएंगे.
इन जिलों में दिखने मिलेगा लू का असरः माना जा रहा है कि 16 मार्च से प्रदेश में तापमान 35 डिग्री से ज्यादा दर्ज किया जा सकता है. वहीं रात के तापमान में भी तेजी से उछाल आएगा और 26 डिग्री के पार पहुंच जाएगा जिससे बुंदेलखंड, ग्वालियर, चंबल, संभाग, भोपाल, इंदौर, उज्जैन, आगर समेत मालवा संभाग में लू का असर देखने को मिलेगा. मौसम विभाग के अनुसार आगामी 24 घंटों में प्रदेश के पश्चिम और मध्य मध्यप्रदेश में हल्की और मध्यम बारिश के साथ एक से दो जगहों पर ओले गिरने की संभावना है. साथ ही कहीं-कहीं घने बादल भी छा सकते हैं और कुछ जगहों पर आंधी के साथ बारिश हो सकती है.
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इन जिलों में बारिश की संभावनाः आज इंदौर, उज्जैन, भोपाल और नर्मदापुरम संभागों में बदलों के साथ हल्की बारिश की सम्भवना बनी हुई है. इसके साथ ही सागर, रीवा, शहडोल, जबलपुर में भी तेजी से मौसम में बदलाव आएगा. वही. शिवपुरी, श्योपुर, भिंड और मुरैना के साथ राजस्थान के सीमावर्ती जिलों में हल्की बारिश के साथ ओले गिरने की भी संभावना है. मौसम विभाग ने बताया है कि दक्षिण-पश्चिमी हवाओं के कारण अरब सागर से नमी आ रही है, जिसकी वजह से इसका असर उत्तर व पश्चिम मध्य प्रदेश पर अधिक देखने को मिलेगा. प्रदेश में जबलपुर, मंडला, डिंडोरी, छिंदवाड़ा, बैतूल, मुलताई आदि जगहों में आज बादलों के साथ हल्की बूंदाबांदी होने की संभावना है.
गुना में ओलावृष्टि व बारिश से फसलों को नुकसानः गुना में ओलावृष्टि और तेज बारिश के कारण फसलों को खासा नुकसान हुआ है. गुना के पगारा ,कूँदौल, पड़रिया,महुखान, खुटियावद ,रेन्झाई, हनोतिया, भदौरा ,धमनार ,उकावद में ओलावृष्टि के चलते धनिया और सरसों को नुकसान हुआ. वहीं तेज हवाओं ने गेहूं की फसल को आड़ा कर दिया. अपर कलेक्टर आदित्य सिंह ने प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया जा रहा है. राजस्व और कृषि विभाग द्वारा संयुक्त सर्वे भी किया जा रहा है. बमोरी ब्लॉक में सर्वे का कार्य शुरू किया गया है. मार्च के महीने में 8 साल बाद रिकॉर्ड 1 सेमी बारिश दर्ज की गई. 2015 में गुना में 18 मिमी बारिश हुई थी, लेकिन रविवार के दिन हुई बारिश ने मार्च के महीने में गुना का कोटा पूरा कर दिया. बारिश का आंकड़ा पहली बार इस महीने में 1 सेमी से ज्यादा का का रहा.