भोपाल। रविदास जयंती के मौके पर सागर पहुंचे मुख्यमंत्री कमलनाथ ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर तीखा हमला करते हुए कहा कि मुंह चलाने और देश चलाने में अंतर होता है, उनके इस बयान पर नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव भड़क गए, उन्होंने कहा कि किसी मुख्यमंत्री का प्रधानमंत्री के बारे में इस तरह बोलना शोभा नहीं देता है. उन्होंने सीएम पर तंज कसते हुए कहा कि मुंह चलाने का काम आप करते हैं. आपने किसानों की कर्जमाफी और बेरोजगारों को भत्ता देने की बात कही थी, लेकिन आज तक कुछ हासिल नहीं हुआ है. मुख्यमंत्री कमलनाथ के इस बयान को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के उस बयान का जवाब माना जा रहा है. जो उन्होंने संसद में कमलनाथ के खिलाफ दिया था.
गोपाल भार्गव ने कहा कि प्रदेश सरकार और उसके मुखिया दलितों के हितैषी बनने की कितनी भी कोशिश कर लें, लेकिन दलित उन्हें कभी माफ नहीं करेंगे. सागर में हुए आयोजन में मुख्यमंत्री दलितों के नाम पर राजनीतिक पर्यटन करके लौट आए हैं. उन्होंने न तो वहां धनप्रसाद अहिरवार के परिजनों से मिलना उचित समझा और न ही दलितों के उत्थान के लिए कोई वचन दे पाए. उन्होंने कहा कि 500 बसें 2000 चार पहिया वाहन, जिले भर की आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, सहायिकाओं ,स्वास्थ्य विभाग के छोटे बड़े कर्मचारियों, ग्राम पंचायतों के सचिवों, राशन दुकानों के राशन वितरण करने वाले कर्मचारियों, स्कूली छात्र-छात्राओं, इसके साथ ही पोहा और पूरी व नकद राशि वितरण कर लोगों को ले जाने के बाद भी मुख्यमंत्री कमलनाथ का सागर में सुपर फ्लॉप आयोजन हुआ.
उन्होंने कहा कि संत शिरोमणि रविदास जयंती पर सेठ कमलनाथ ने सागर के ही सेठ परिवार के यहां जाना उचित समझा, लेकिन जिंदा जला दिए गए एक गरीब और दलित धन प्रसाद अहिरवार के घर जाकर संवेदना प्रकट करना उचित नहीं समझा. इससे ही सरकार का असली चरित्र उजागर होता है. भार्गव ने कहा कि आज कमलनाथ ने मुख्यमंत्री पद की गरिमा को हल्का करते हुए देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बारे में बहुत ही ओछी टिप्पणी करते हुए कहा कि वो सिर्फ मुंह चलाते हैं. मैं कमलनाथ से कहना चाहता हूं कि अगर ऐसा है तो क्यों मोदी जी और उनकी सरकार के सामने हमेशा याचक की तरह खड़े रहते हैं.
सागर में हुए इस आयोजन में सबसे बड़ा मजाक तो ये है कि मेरे द्वारा एवं तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह द्वारा स्वीकृत एवं भूमिपूजन किए गए अधिकांश निर्माण कार्यों को भी अपनी उपलब्धि में शामिल कर लिए, 3000 करोड़ रुपये के जिन कामों को हम और हमारी सरकार 2 साल पहले जुठार चुके थे, उनका भी लोकार्पण कर गए. कमलनाथ और उनके मंत्रिमंडल के रत्नों ने सागर जिले को अपने 14 महीने के कार्यकाल में आज भी 1 रुपया तक नहीं दिया है. सीएम का ये दौरा जिस अनुसूचित वर्ग और महान समाज सुधारक संत रविदास को समर्पित था. उनके लिए भी एक नये पैसे की घोषणा नहीं की. कुल मिलाकर सेठ कमलनाथ का आज का ये दौरा सरकारी खर्च पर राजनीतिक पर्यटन और सेठों की शादी की भेंट चढ़ गया.