भोपाल। साफ सुथरा इलाका, चुने की लाइन खींची हुई, लाल रंग की बैरीकेडिंग किया हुआ और ट्राले पर नीली तिरपाल से ढका हुआ एक बड़ा सा कंटेनर.. यह सीन है भोपाल शहर के बीचो-बीच सुभाष नगर के ठीक पास में बने हुए मेट्रो ट्रेन डिपो का, यहां रविवार को तैयारी ऐसी थी की जैसे किसी दुल्हन के आने से पहले की जाती है. किसी दुल्हन की तरह ढका हुआ मेट्रो कोच 28 चक्को वाले ट्रॉली पर रखा हुआ था, ठीक 10:30 बजे इसे ट्राली से प्लेटफार्म पर उतरने की प्रक्रिया चालू हुई. अनलोडिंग से पहले एमपी मेट्रो कॉरपोरेशन के अधिकारियों ने एक के बाद एक सात नारियल फोड़े और विधि विधान से पूजन किया, इसके बाद अनलोडिंग शुरू की.
दो हैवी क्रेन की मदद से मेट्रो कोच को ट्रॉली से ऊपर उठकर हवा में लटका दिया गया, इसके बाद धीरे-धीरे बैलेंस बनाया गया. दोनों तरफ कर्मचारी रस्सियां थामे में खड़े थे, ताकि मेट्रो का कोच हवा में स्थिर हो सके. इसके बाद ट्राली को आगे बढ़ा दिया गया और बहुत धीमे-धीमे कोच को प्लेटफार्म पर बनी हुई पटरी यानी ट्रैक पर उतर गया. जैसे ही कोच पटरी पर उतरा तो तालिया की गड़गड़ाहट हो गई, इसके बाद अधिकारियों ने कोच के फ्रंट हिस्से को ओपन किया और किसी दुल्हन की मुंह दिखाई की तरह लोगों ने फोटो खिंचवाई.
दो कोच अभी शहर के बाहर: भोपाल मेट्रो कॉरपोरेशन के डायरेक्टर शोभित टंडन ने बताया कि "कल तीन कोच गुजरात से ले गए हैं और अभी एक कोच को डिपो लाकर अनलोडिंग किया गया है. दूसरे दोनों कोचों को रात में लाकर कल सुबह प्लेटफार्म पर अनलोड किया जाएगा, इसके बाद तीनों ही कोच को आपस में जोड़ा जाएगा और फिनिशिंग का काम किया जाएगा. करीब 20 से 25 तारीख तक बाद इन्हें पटरी तक पहुंचाने के लिए बनाए गए रैंप की मदद से ऑरेंज ट्रैक पर पहुंचाया जाएगा, इसके लिए टीम दिन-रात कम कर रही है. उम्मीद है कि जल्दी ही शहर वासियों को ट्रायल देखने के लिए मिलेगा, क्योंकि लगभग 80 फीसदी काम पूरा हो गया है."
850Km की दूरी तय करके मेट्रो कोच पहुंचे भोपाल आए: करीब 8 दिन का सफर तय करके मेट्रो के तीनों कोच सांवली बड़ोदरा से होकर भोपाल पहुंचे, 28 पहियों के ट्रॉले पर इन तीनों कोच ने लगभग 850 किलोमीटर का सफर तय किया. शहरी हिस्सों से यह रात में निकला करता था, जबकि हाईवे पर पूरा दिन चलता था. हर कोच की चौड़ाई 2.9 मीटर और लंबाई 22 मीटर है.
ऑरेंज लाइन पर होगा ट्रायल: भोपाल के एम्स से सुभाषनगर तक बिछाई गई 6.22Km ऑरेंज लाइन पर यह कोच दौड़ेंगे. हालांकि ट्रायल रन सुभाषनगर डिपो से रानी कमलापति स्टेशन के बीच ही होगा, लेकिन आम लोगों को मेट्रो कोच में सफर के लिए अभी मई-जून 2024 तक इंतजार करना पड़ेगा.