भोपाल। साइबर पुलिस टीम ने फ्रीलांसर डॉट कॉम पर जॉब देने के नाम पर ठगी करने वाले आरोपी को दिल्ली से गिरफ्तार किया है. आरोपी एक ही व्यक्ति है, जो कि फ्रीलांसर साइड पर फर्जी आईडी बनाकर जॉब देने के नाम पर लोगों के साथ फ्रॉड कर रहा था. freelancer डॉट कॉम साईड पर फर्जी जॉब ऑफर कर करता है. जिसे देखकर लोग उससे सम्पर्क करते थे. उसके बाद आरोपी द्वारा आवेदक को फ्रीलांसर में टाइपिंग की जॉब बताता है. इसके बाद उनसे कॉन्टेक्ट नंबर लेकर व्हॉटसएप पर सम्पर्क करता था.
पांच लाख की धोखाधड़ी कर चुका है आरोपीः नौकरी के लिए परेशान हो रहे लोगों को आरोपी क्यूआर कोड भेज कर रजिस्ट्रेशन फीस, माइलस्टोन चार्ज, मीडिएटर कमीशन चार्ज, खाता वैरीफिकेशन आदि के नाम पर पैसे ले रहा था. ऐसे में एक आवेदक को fraud का शक होने पर तथा पैसा वापस मांगने पर आरोपी प्रोजेक्ट कैंसिल करने के लिए प्रोसेसिंग फीस, जीएसटी फीस आदि के नाम पर फिर पैसा मांगता था. उसके बाद फिर आरोपी व्हॉटसएप नंबर व फ्रीलांसर की आईडी बंद कर देता था. हालांकि आरोपी ज्यादा पढ़ा लिखा नहीं है, इसके बाद भी आरोपी द्वारा ट्रांजेक्शन की चेन तोड़ने के लिए दो–तीन खातो में पैसे ट्रांसफर करता था. इसके बाद ATM से पैसा निकाल लेता था. आरोपी द्वारा अभी तक विभिन्न लोगों से लगभग पांच लाख रुपये की धोखाधड़ी की जा चुकी है.
शिकायत पर सायबर क्राइम टीम ने की कार्रवाईः अनुज पटेल ने शिकायत पर सायबर क्राइम ब्रांच जिला भोपाल की टीम ने फ्रीलांसर डॉट कॉम पर fake job देने के नाम पर 54722 रुपये की ठगी करने वाले आरोपी को गिरफ्तार कर लिया. भोपाल के रहने वाले अनुज पटेल ने बताया कि फ्रीलांसर डॉट कॉम पर जॉब के लिए लॉगिन किया तो तुरंग जॉब ऑफर करने का रिप्लाय आया. उसमें टाईपिंग की जॉब करने का बताया गया. फरियादी जॉब करने के लिए तैयार हो गया. फिर आरोपी द्वारा आवेदक से उसका व्हॉटसएप नंबर लेकर तथा उस पर क्यूआर. कोड भेजकर रजिस्ट्रेशन फीस, माइलस्टोन चार्ज, मीडिएटर कमीशन चार्ज, खाता वेरीफिकेशन आदि के नाम पर पैसा लेने लगा. आवेदक को शक होने पर उसने जॉब करने से मना कर दिया. जिसके लिए आरोपी द्वारा आवेदक से रिफंड चार्ज, प्रोजेक्ट कैंसिलेशन फीस, (GST) फीस आदि के नाम पर पृथक-पृथक रूप से कुल 54722 रुपये की ठगी की गई. बाद में अपना (WhatsApp) नंबर व फ्रीलांसर साइड को बंद कर दिया.
फर्जीवाड़ा करने वाला सुखबीर बीकॉम द्वितीय वर्ष का छात्रः जांच के उपरांत आए तथ्यों एवं बैंक से प्राप्त जानकारी के आधार पर बैंक खाता और मोबाइल नंबर के उपयोगकर्ताओं के विरूद्ध अपराध क्रमांक 132/2022 धारा 419, 420 भादवि का पंजीकृत कर विवेचना में लिया गया. बीकॉम द्वितीय वर्ष का छात्र है सुखबीर सिंह, जो इस फर्जीवाड़े को अंजाम दे रहा था. सुखवीर सिंह ने शिकायतकर्ता अनुज पटेल से जो पैसा लिया था, उसने उसे अपने पिता के खाते में मंगाया. इसके बाद उस पैसे को दो अन्य खातों में ट्रांसफर कर एटीएम से कैश निकाल लिया. भोपाल सायबर टीम ने अपराध कायम करने बाद साक्ष्यों के माध्यम से आरोपी को दिल्ली से गिरफ्तार किया. उसके पास से एक मोबाइल फोन, एक सिम कार्ड, एक बैंक पासबुक, दो (Bank atm card) व आरोपी का आधार कार्ड को जब्त किया गया हैं.
सायबर क्राइम टीम ने जारी की एडवाइजरीः वर्तामान में सायबर ठगो द्वारा जॉब दिलाने व समूह लोन दिलाने के नाम पर फोन किया जाता है. फिर फर्जी जॉब देकर उनके जरिये अपने क्षेत्र में महिलाओं के समूह बनाने का बोलकर तथा उन्हें महिला समूह लोन देने का लालच देकर, लोन की प्रोसेसिंग फीस व लोन का 1.5% ब्याज अपने फर्जी खाते में (Transfer) करा लेते है. पीड़ित को किसी प्रकार का कोई लोन उपलब्ध नहीं कराते. किसी भी नंबर से जॉब के लिए आये फोन व लोन दिलाने वालो पर विश्वास न करें एवं विश्वसनीयता की जांच करने के उपरांत ही अपनी जानकारी शेयर करें.