भोपाल/भिंड/शहडोल। मध्यप्रदेश में मौसम विभाग द्वारा 4 संभाग सहित कई जिलों में भारी से अति भारी बारिश का येलो अलर्ट जारी किया है, MP Weather Update मौसम विभाग ने इंदौर और भोपाल सहित तीन अंचलों में गरज चमक के साथ बौछार पड़ने की संभावना जाहिर की है. मानसून सहित इन चक्रवाती सिस्टम एक्टिव होने का असर एक बार फिर से राजधानी में प्रभाव डालेगा, जिसके बाद अगले तीन दिनों में हो सकती है. इधर भारी बारिश के चलते सिंध में सैलाब आने की चेतावनी जारी हो गई है. जिला प्रशासन ने अलर्ट जारी कर सिंध नदी के किनारे बसे गांव और आसपास के क्षेत्र से आमजन के दूरी बनाने को लेकर सूचना जारी की है.
3 दिनों के लिए भारी बारिश का अलर्ट: मध्यप्रदेश मौसम विभाग के अनुसार प्रदेश के 10 जिलों में अभी भी सामान्य से कम बारिश रिकॉर्ड की गई है, लेकिन बंगाल की खाड़ी में बने सिस्टम से इसे पूरा किया जा सकता है. Heavy rain alert in mp सिवनी, मंडला, कटनी सहित सागर, छतरपुर, पन्ना, बड़वानी, बुरहानपुर, इंदौर, झाबुआ, खंडवा, खरगोन, उज्जैन, नर्मदापुरम, हरदा, बैतूल, भोपाल, रायसेन, राजगढ़, सीहोर, विदिशा, ग्वालियर, चंबल, दतिया, गुना, अशोकनगर, रीवा के अलावा सतना, सीधी, सिंगरौली, दमोह, टीकमगढ़, निवाड़ी, नरसिंहपुर, छिंदवाड़ा, बालाघाट, डिंडोरी और शहडोल में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया गया है.
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पहले भी आ चुकी है तबाही: बीते साल 2021 में अगस्त महीने में ही सिंध नदी में सैलाब आया था, जिसने दतिया और भिंड जिले में सिंध पर बने 4 पुल तोड़ दिए थे. दर्जनों गांव तबाह हो गए थे, अब एक बार फिर भारी बारिश के चलते सिंध नदी के बढ़े जलस्तर से मड़ीखेड़ा और मोहिनी बांध में भी पानी का दबाव और रिजर्व बढ़ गया है. ऐसे में इन दोनों बांध के गेट खोले जाने की संभावना को देखते हुए भिंड जिले में प्रशासन ने सिंध के किनारे बसे गांव और नदी के आसपास के क्षेत्र में अलर्ट जारी किया है. फिलहाल सिंध किनारे बसे ग्रामीणों में दहशत का माहौल बना हुआ है. Flood warning in Sindh
एक हजार क्यूमेक तक छोड़ा जा सकता है पानी: प्रशासन द्वारा जारी अलर्ट में बताया गया है कि, मौसम विभाग की भारी बारिश की सूचना और लगातार हो रही बारिश से मड़ीखेड़ा बांध के जलस्तर में हो रही वृद्धि के कारण शनिवार को बांध के गेट खोलकर सिंध नदी में 200 से 500 क्युमेक पानी छोड़ने की संभावना को दृष्टिगत रखते हुए वर्तमान में मोहिनी बांध नरवर से सिंध नदी में छोड़े जा रहे पानी की मात्रा को बढ़ाकर 500 क्युमेक से 1000 क्युमेक तक किया जा सकता है. ऐसे में सभी आमजन को चेतावनी जारी करते हुए नदी के आसपास के क्षेत्र से दूर रहने और अन्य नागरिकों को भी सूचित करने की अपील की गई है.
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चंबल में बाढ़ आपदा का खतरा टला: बीते तीन दिन पहले अचानक चंबल नदी का जलस्तर बढ़ने से अटेर क्षेत्र के निचले गांव तक पानी आ गया था, चम्बल का जलस्तर भी खतरे के निशान 119 मीटर से 3 मीटर से ज्यादा ऊपर तक गया. हालांकि राहत की बात है कि जलस्तर शुक्रवार को नीचे आना शुरू हुआ, जो अब 118 मीटर के आसपास है और खतरे से बाहर है. लेकिन इस बीच सिंध के हालत बिगड़ रहे हैं, सिंध नदी में सुबह 8 बजे तक मिले आंकड़ों के अनुसार मेहंदा घाट पुल का जलस्तर करीब 5.20 मीटर था, जबकि खतरे का निशान 10.1 पर है. जहां जलस्तर अब तेजी से बढ़ने की संभावना है.