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बाढ़ प्रभावित गांव खाली कराने पहुंचा प्रशासनिक अमला, गांव वालों ने जमकर किया बवाल

बड़वानी के पिछोड़ी गांव में बाढ़ के चलते लोगों को प्रशासन सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा रहा था, जहां उनके रहने के लिए टीन शेड की व्यवस्था की जा रही थी. लेकिन ग्रामीणों ने इसका विरोध करते हुए गाड़ी पर चढ़ गए और धक्का मुक्की करते हुए अपना समान वापस रख लिया. इस दौरान प्रशासनिक अधिकारियों और डूब प्रभावितों के बीच काफी देर तक गहमागहमी रही.

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Published : Aug 20, 2019, 9:53 PM IST

Updated : Aug 20, 2019, 11:56 PM IST

ग्रामीणों को पहुंचाया जा रहा सुरक्षित स्थान

बड़वानी। भारी बारिश से गांवों में बाढ़ जैसे हालात बन गये हैं. वहीं पिछोड़ी गांव में सरदार सरोवर बांध में जलस्तर बढ़ने के कारण बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है. जिसके चलते प्रशासन लोगों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाने के लिए पूरे अमले के साथ गांव आया था. लेकिन गांव वालों ने इसका जमकर विरोध किया. गांव वालों का कहना है कि जबतक उनकी समस्या का सही निराकरण नहीं किया जाता वह कहीं नहीं जाएंगे.

ग्रामीणों को पहुंचाया जा रहा सुरक्षित स्थान
नर्मदा नदी का जलस्तर 132.5 मीटर तक पहुंच चुका है, जबकि इंदिरा सागर व ओंकारेश्वर परियोजना से भी पानी छोड़ा गया है. जिसके चलते इस गांव में बाढ़ का खतरा बना हुआ है. इस गांव में लगभग 125 परिवार रहते हैं, जिसमें से 15 परिवार ऐसे हैं, जो जलस्तर बढ़ने से ज्यादा प्रभावित होंगे. समान रखते वक्त अपर कलेक्टर रेखा राठौड़ ने बताया कि जलस्तर के लगातार बढ़ने की संभावना है. इसलिए प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थान पर ले जाने के लिए परिवहन की व्यवस्था की गई है और इनके रहने के लिए टीन शेड की व्यवस्था की जाएगी.
बाढ़ से बचाने के लिए लोगों को यहां से निकाला जा रहा था. तभी ग्रामीण इकट्ठा होकर विरोध करने लगे. लोगों ने एसडीएम और अपर कलेक्टर को घेर लिया. ग्रामीणों ने कहा कि जबतक उनकी समस्या का निराकरण नहीं होता वह गाव खाली नहीं करेंगे. गुस्साये ग्रामीण परिवहन हेतु लाई गई गाड़ी पर चढ़ गए और उसमें सामान रख रहे अधिकारियों को धक्का-मुक्की कर अपना वापस घर में रख लिया. इस दौरान प्रशासनिक अधिकारियों और डूब प्रभावितों के बीच काफी देर तक गहमागहमी रही. जिसमें प्रशासनिक अधिकारी बेबस नजर आये.
गांव वालों ने जमकर किया बवाल

बड़वानी। भारी बारिश से गांवों में बाढ़ जैसे हालात बन गये हैं. वहीं पिछोड़ी गांव में सरदार सरोवर बांध में जलस्तर बढ़ने के कारण बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है. जिसके चलते प्रशासन लोगों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाने के लिए पूरे अमले के साथ गांव आया था. लेकिन गांव वालों ने इसका जमकर विरोध किया. गांव वालों का कहना है कि जबतक उनकी समस्या का सही निराकरण नहीं किया जाता वह कहीं नहीं जाएंगे.

ग्रामीणों को पहुंचाया जा रहा सुरक्षित स्थान
नर्मदा नदी का जलस्तर 132.5 मीटर तक पहुंच चुका है, जबकि इंदिरा सागर व ओंकारेश्वर परियोजना से भी पानी छोड़ा गया है. जिसके चलते इस गांव में बाढ़ का खतरा बना हुआ है. इस गांव में लगभग 125 परिवार रहते हैं, जिसमें से 15 परिवार ऐसे हैं, जो जलस्तर बढ़ने से ज्यादा प्रभावित होंगे. समान रखते वक्त अपर कलेक्टर रेखा राठौड़ ने बताया कि जलस्तर के लगातार बढ़ने की संभावना है. इसलिए प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थान पर ले जाने के लिए परिवहन की व्यवस्था की गई है और इनके रहने के लिए टीन शेड की व्यवस्था की जाएगी.
बाढ़ से बचाने के लिए लोगों को यहां से निकाला जा रहा था. तभी ग्रामीण इकट्ठा होकर विरोध करने लगे. लोगों ने एसडीएम और अपर कलेक्टर को घेर लिया. ग्रामीणों ने कहा कि जबतक उनकी समस्या का निराकरण नहीं होता वह गाव खाली नहीं करेंगे. गुस्साये ग्रामीण परिवहन हेतु लाई गई गाड़ी पर चढ़ गए और उसमें सामान रख रहे अधिकारियों को धक्का-मुक्की कर अपना वापस घर में रख लिया. इस दौरान प्रशासनिक अधिकारियों और डूब प्रभावितों के बीच काफी देर तक गहमागहमी रही. जिसमें प्रशासनिक अधिकारी बेबस नजर आये.
गांव वालों ने जमकर किया बवाल
Intro:बड़वानी।जिला मुख्यालय से 8 किलोमीटर दूर पिछोड़ी गांव जो कि सरदार सरोवर बांध परियोजना से डुब प्रभावित क्षेत्र हैं, यहां अब भी 125 परिवार मौजूद है जो कि 138 मीटर नर्मदा का पानी आने पर डूब जाएंगे। इनमें 15 परिवार ऐसे हैं जिनके घर 134 मीटर पानी आने पर पूरी तरह डूब जाएंगे जिन्हें जिला प्रशासन पिछोड़ी से निकालकर सुरक्षित स्थानों पर ले जाने में जुटा है।Body:बता दे कि मात्र 100 मीटर की दूरी पर नर्मदा का पानी 132 . 500 मीटर पर है वहीं इंदिरा सागर तथा ओकारेश्वर परियोजना से पानी छोड़ा गया है जिसके चलते पिछोड़ी गांव एक या 2 दिन में डूब जाएगा । अपर कलेक्टर रेखा राठौड़ ने बताया कि सरदार सरोवर बांध से प्रभावित लोगों को परिवहन के माध्यम से सुरक्षित निकाला जा रहा है , हालांकि डूब प्रभावित उनकी समस्या का निदान नहीं हो जाने तक गांव और घर छोड़ने को तैयार नहीं है किंतु प्रशासन का कहना है कि लोग स्वेच्छा से मकान खाली कर रहे हैं।Conclusion:सरदार सरोवर बांध भरने तथा ओम्कारेश्वर वह इंदिरा सागर परियोजना से पानी छोड़े जाने पर नर्मदा किनारे दो प्रभावित गांवों को जिला प्रशासन खाली कराने में लगाए इसी कड़ी में पिछड़े गांव के 15 परिवारों को जिला प्रशासन परिवहन के माध्यम से सुरक्षित निकालने में लगाए वर्तमान में नर्मदा नदी का पानी 132 पॉइंट 500 मीटर है वहीं 1 या 2 दिन में पिछोडी गांव जहां 15 परिवार निवास कर रहे हैं उस स्थान पर 134 मीटर पानी आ जाएगा जिससे डूब के हालात बनेंगे इसलिए जिला प्रशासन प्रभावितों को सुरक्षित निकालने में जुटा है।
Last Updated : Aug 20, 2019, 11:56 PM IST
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