छिंदवाड़ा। छिंदवाड़ा नगर निगम की उदासीनता के चलते 24 गांवों में लोग ट्यूबवेल का पानी पीने को मजबूर हैं. 73 करोड़ खर्च करने के बावजूद नगर निगम शुद्ध जल सप्लाई शुरू नहीं कर पाया है. जिससे रिहायशी इलाकों में लोगों के सामने पीने के पानी का घोर संकट बना हुआ है.अमृत योजना की शुरुआत को एक साल होने वाला है. पाइप लाइन बिछ चुकी है. लेकिन उसके बाद भी अब तक यहां शुद्ध जल सप्लाई शुरू नहीं हो सकी है.
100 ट्यूबवेल संचालित
नगर निगम क्षेत्र के 48 वार्डों में पुराने शहर के 24 वार्डों में कन्हारगांव से पानी की सप्लाई होना है जबकि बाकी 24 वार्डों में माचागोरा डैम से शुद्ध जल की सप्लाई होना है. यहां पाइप लाइन बिछाने के लिए नगर निगम 73 करोड़ रूपए खर्च कर चुका है. लेकिन अभी भी लोग पानी के लिए महरूम हैं. करीब 100 ट्यूबवेल अभी संचालित हैं, जिसके बिजली बिल के भुगतान पर ही नगर निगम हर महीने 4 लाख रुपए चुकाता है. ट्यूबवेल संचालन के लिए 100 कर्मी जबकि बाकी व्यवस्थाओं के लिए 42 अतिरिक्त कर्मचारी तैनात किए गए हैं.
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बड़ी संख्या में बंद होंगे बोर
यह योजना मार्च 2021 में शुरू की गई थी. लेकिन नगर निगम की उदासीनता के चलते सप्लाई अब तक शुरू नहीं हो सकी है. लोग अभी भी शुद्ध पानी का इंतेजार कर रहे हैं. जबकि माचागोरा डैम से धर्मटेकड़ी और नगर निगम से जुड़े 24 क्षेत्र में पाइप लाइन बिछाने के लिए निगम को 2 साल का समय लग चुका है. जब माचागोरा से जल सप्लाई शुरू नहीं हुई थी तब शहर में 120 ट्यूबवेल हुआ करते थे. धर्मटेकड़ी से टंकियों में पानी पहुंचाने के बाद निगम ने 20 बोर बंद कर दिए हैं. अफसरों का कहना है कि अगले एक महीने के अंदर बड़ी संख्या में बोर बंद कर दिए जाएंगे. इसके लिए बड़े स्तर पर तैयारी की जा रही है.
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