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क्यूआर कोड के माध्यम से धोखाधड़ी मामले में युवक गिरफ्तार - chennai crime news

बिना मालिकों की जानकारी के दुकानों का क्यूआर कोड बदलकर लाखों की ठगी करने वाले एक युवक को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है.

क्यूआर कोड के माध्यम से धोखाधड़ी मामले में युवक गिरफ्तार
क्यूआर कोड के माध्यम से धोखाधड़ी मामले में युवक गिरफ्तार
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Published : Aug 11, 2022, 2:06 PM IST

चेन्नई: आनंद (39) ओकाम पिल्लियार कोइल स्ट्रीट, दुरई पक्कम, चेन्नई का रहने वाला है. वह उसी इलाके में नाश्ते की दुकान चलाते हैं. इस स्टोर में उन्होंने अपने बैंक खाते से जुड़ा एक पेटीएम क्यूआर कोड स्टिकर भी चिपकाया है. आनंद ने 3 तारीख को कन्नगी नगर थाने में शिकायत दर्ज कराते हुए कहा कि ग्राहकों द्वारा भेजी गई राशि कुछ दिनों से बैंक खाते में नहीं पहुंची है. उसे शक है कि कोई फर्जीवाड़ा हुआ है. मौके पर जाकर दुकान से जुड़े क्यूआर कोड को स्कैन किया और थोड़ी सी रकम भेजी गई. उस समय मालिक आनंद के बैंक खाते में पैसा नहीं गया.

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इस पर शक होने पर पुलिस ने उस बैंक खाते की जांच की जहां पैसा गया तो पता चला कि पैसा श्रीधर नाम के बैंक खाते गया था. इसके बाद कन्नगी नगर निवासी श्रीधर (21) को गिरफ्तार कर पुलिस ने जांच पड़ताल की. तब श्रीधर ने कहा कि वह तिरुवन्मियूर में होमगार्ड फोर्स में कार्यरत है. मैंने धोखाधड़ी करने के लिए चेन्नई पुलिस में कांस्टेबल का एक नकली पहचान पत्र तैयार किया. मैं कांस्टेबल बन कर नाश्ते की दुकानों, स्टेशनरी शॉप और होटल में जाता था और असली क्यूआर कोड की जगह पर अपना क्यूआर कोड जो मेरे बैंक खाते से जुड़ा हुआ था. इस तरह श्रीधर के बैंक खाते में पैसे आ गए और जांच में पता चला कि उसने लाखों की कमाई की थी.

पढ़ें: बॉबी कटारिया के प्लेन में सिगरेट पीने का वीडियो वायरल...सुरक्षा पर उठे सवाल

इसी तरह पिछले 15 दिनों में ही श्रीधर दुकान मालिकों की जानकारी के बिना क्यूआर कोड का उपयोग कर 7 दुकानों में धोखाधड़ी कर रहा था. इसके बाद पुलिस ने श्रीधर के खिलाफ धोखाधड़ी, दस्तावेज की जालसाजी की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया. पुलिस ने धोखाधड़ी के लिए इस्तेमाल किए गए भारत पे क्यूआर कोड को भी जब्त कर लिया और श्रीधर को अलंदूर अदालत में पेश किया. जहां से उसे जेल भेज दिया गया.

चेन्नई: आनंद (39) ओकाम पिल्लियार कोइल स्ट्रीट, दुरई पक्कम, चेन्नई का रहने वाला है. वह उसी इलाके में नाश्ते की दुकान चलाते हैं. इस स्टोर में उन्होंने अपने बैंक खाते से जुड़ा एक पेटीएम क्यूआर कोड स्टिकर भी चिपकाया है. आनंद ने 3 तारीख को कन्नगी नगर थाने में शिकायत दर्ज कराते हुए कहा कि ग्राहकों द्वारा भेजी गई राशि कुछ दिनों से बैंक खाते में नहीं पहुंची है. उसे शक है कि कोई फर्जीवाड़ा हुआ है. मौके पर जाकर दुकान से जुड़े क्यूआर कोड को स्कैन किया और थोड़ी सी रकम भेजी गई. उस समय मालिक आनंद के बैंक खाते में पैसा नहीं गया.

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इस पर शक होने पर पुलिस ने उस बैंक खाते की जांच की जहां पैसा गया तो पता चला कि पैसा श्रीधर नाम के बैंक खाते गया था. इसके बाद कन्नगी नगर निवासी श्रीधर (21) को गिरफ्तार कर पुलिस ने जांच पड़ताल की. तब श्रीधर ने कहा कि वह तिरुवन्मियूर में होमगार्ड फोर्स में कार्यरत है. मैंने धोखाधड़ी करने के लिए चेन्नई पुलिस में कांस्टेबल का एक नकली पहचान पत्र तैयार किया. मैं कांस्टेबल बन कर नाश्ते की दुकानों, स्टेशनरी शॉप और होटल में जाता था और असली क्यूआर कोड की जगह पर अपना क्यूआर कोड जो मेरे बैंक खाते से जुड़ा हुआ था. इस तरह श्रीधर के बैंक खाते में पैसे आ गए और जांच में पता चला कि उसने लाखों की कमाई की थी.

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इसी तरह पिछले 15 दिनों में ही श्रीधर दुकान मालिकों की जानकारी के बिना क्यूआर कोड का उपयोग कर 7 दुकानों में धोखाधड़ी कर रहा था. इसके बाद पुलिस ने श्रीधर के खिलाफ धोखाधड़ी, दस्तावेज की जालसाजी की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया. पुलिस ने धोखाधड़ी के लिए इस्तेमाल किए गए भारत पे क्यूआर कोड को भी जब्त कर लिया और श्रीधर को अलंदूर अदालत में पेश किया. जहां से उसे जेल भेज दिया गया.

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