चाईबासा: कोल्हान डीआईजी राजीव रंजन सिंह ने अपने कार्यालय में पुलिस अधीक्षक और अनुमंडल पुलिस पदाधिकारियों के साथ बैठक की. इस दौरान पश्चिम सिंहभूम जिले से नक्सलियों के खात्मे को लेकर रणनीति तैयार की है, साथ ही जिले में बढ़ते ट्रैफिक को लेकर पुलिस अधीक्षक के नेतृत्व में ट्रैफिक प्लान पर भी चर्चा हुई.
ग्रामीण और पुलिस के बीच की दूरी पर लगाम
कोल्हान डीआईजी राजीव रंजन सिंह ने बताया कि उग्रवाद के फंडिंग को कैसे समाप्त किया जाए. इस पर पुलिस अपना फोकस कर रही है. आने वाले दिनों में पुलिस सतर्कता के साथ अपना काम करेगी, इसके साथ ही ग्रामीण और पुलिस के बीच की दूरियों को कैसे कम किया जाए. इन सब मुद्दों को लेकर बैठक में चर्चा की गई. डीआईजी ने बताया कि अभी भी ग्रामीण दोराहे पर खड़े हैं. एक तरफ जहां उग्रवादी हैं तो दूसरी तरफ पुलिस है. ग्रामीण अभी तक यह तय नहीं कर सके हैं कि उन्हें किस रास्ते पर चलना है. इस दोराहे राह पर खड़े ग्रामीण अपने आप को बेबस महसूस कर रहे हैं.
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पुलिस युवाओं के हर कदम पर खड़ी है साथ
कोल्हान डीआईजी ने कहा कि ग्रामीणों के लिए अब समय आ चुका है कि अब वह अपनी राह तय करें कि उन्हें किस रास्ते चलना है. उन्होंने बताया कि ग्रामीणों को अब यह सोचना होगा कि उग्रवाद के 53 साल हो चुके हैं. इस राज्य को बने हुए 20 साल हो चुके हैं और पश्चिम सिंहभूम जिले में उग्रवाद पिछले लगभग 18 सालों से है. 2002 में यहां उग्रवादियों की बड़ी घटना घटित हुई थी. जिले के युवाओं को सोचना होगा कि उस दोराहे से किस रास्ते पर चलें. इस पर पुलिस युवाओं के हर कदम पर उनके साथ खड़ी है. इसी उद्देश्य के साथ पुलिस एक बेहतर रूपरेखा तैयार कर रही हैं, ताकि आगे इस पर काम किया जा सके.
पुलिस बना रही है ट्रैफिक प्लान
डीआईजी राजीव रंजन सिंह ने बताया कि लॉकडाउन लगभग समाप्त हो चुका है. सड़कों पर लोगों की आवाजाही बढ़ी है, जिसे लेकर ट्रैफिक की समस्या उत्पन्न हो गई है. जिसे ध्यान में रखते हुए पुलिस ट्रैफिक प्लान बना रही है. जो पश्चिम सिंहभूम जिला पुलिस अधीक्षक इंद्रजीत माहथा के नेतृत्व में बनाई जा रही है. इसके साथ ही ट्रैफिक अकेले पुलिस का ही विषय नहीं है. इसमें कई स्टॉक होल्डर्स हैं, जिसमें कई नगर निगम है. सभी स्टॉकहोल्डर्स को एक फॉर्म पर लाकर प्लान तैयार किया जाएगा.