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ह्यूमन ट्रैफिकिंग की शिकार हुए बच्चे दिल्ली से लौटेंगे साहिबगंज, सभी मुख्यमंत्री के विधानसभा बरहेट के निवासी है - Sahaibganj News

ह्यूमन ट्रेफिंग के शिकार हुए बच्चों को मानव तस्करों के चंगुल से मुक्त करा कर साहिबगंज (Childrens Freed From Human Traffickers Brought Sahibganj) वापस उनके घर लाया जा रहा है. दरअसल साहिबगंज जिले के 14 नाबालिग बच्चें दिल्ली में मानव तस्करों के चंगुल में फंस गए थे.

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Published : Nov 25, 2022, 2:22 PM IST

साहिबगंज: मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के विधानसभा बरहेट से ह्यूमन ट्रैफिकिंग का शिकार हुए नाबालिग बच्चे आज साहिबगंज पहुंचेंगे (Children Freed From Human Traffickers Brought Sahibganj). इसकी तैयारी बहुत दिनों से चल रही थी. जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी, सोशल वर्कर और दो पुरुष और महिला पुलिस कांस्टेबल सभी बच्चों को लेकर साहिबगंज शुक्रवार की शाम पहुंचेंगे.

यह भी पढ़ें: मानव तस्करी के शिकार झारखंड के साहिबगंज जिले के 14 बच्चों को दिल्ली में कराया गया मुक्त

14 नाबालिग बच्चे मानव तस्करों के चंगुल से आजाद: बच्चों में 11 लड़की और तीन लड़के हैं. देर रात पहुंचने पर लड़कियों को लोहंडा स्थित स्वधार गृह में रखा जाएगा. वहीं लड़कों को बाल गृह में में रखा जाएगा. अगले दिन सभी बच्चों को बाल कल्याण समिति में प्रस्तुत किया जाएगा. जहां सभी के पेन पेपर की तैयारी की जाएगी. काउंसेलर और केस वर्कर, सामाजिक कार्यकर्ता सहित अन्य पदाधिकारी इन बच्चों से जानकारी लिखित रुप से लेंगे. सभी बच्चों के अभिभावक को चिन्ह्रित कर लिया गया है. होम में अस्थाई रुप से कुछ दिन रखने के बाद इनके अभिभावकों को बुलाकर सौंप दिया जाएगा.

काम के प्रलोभन में दिल्ली गए थे: जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी (डीसीपीयू) पूनम कुमारी ने कहा कि अधिकांश बच्चे बरहेट क्षेत्र से हैं. बोरियो और मंडरो से एक एक हैं. दिल्ली के विभिन्न बाल गृह में ये बच्चे रह रहे थे. जानकारी मिलने के साथ सभी को गृह जिला लाया जा रहा है. सभी बच्चे नाबालिग हैं. किसी दलाल के माध्यम से काम और पैसे का प्रलोभन देकर लाए गये थे. इनसे काम अधिक कराकर मानसिक रुप से पताड़ित किया जाता था. इन बच्चों को हर सरकारी योजना से जोड़ा जाएगा.

साहिबगंज: मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के विधानसभा बरहेट से ह्यूमन ट्रैफिकिंग का शिकार हुए नाबालिग बच्चे आज साहिबगंज पहुंचेंगे (Children Freed From Human Traffickers Brought Sahibganj). इसकी तैयारी बहुत दिनों से चल रही थी. जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी, सोशल वर्कर और दो पुरुष और महिला पुलिस कांस्टेबल सभी बच्चों को लेकर साहिबगंज शुक्रवार की शाम पहुंचेंगे.

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14 नाबालिग बच्चे मानव तस्करों के चंगुल से आजाद: बच्चों में 11 लड़की और तीन लड़के हैं. देर रात पहुंचने पर लड़कियों को लोहंडा स्थित स्वधार गृह में रखा जाएगा. वहीं लड़कों को बाल गृह में में रखा जाएगा. अगले दिन सभी बच्चों को बाल कल्याण समिति में प्रस्तुत किया जाएगा. जहां सभी के पेन पेपर की तैयारी की जाएगी. काउंसेलर और केस वर्कर, सामाजिक कार्यकर्ता सहित अन्य पदाधिकारी इन बच्चों से जानकारी लिखित रुप से लेंगे. सभी बच्चों के अभिभावक को चिन्ह्रित कर लिया गया है. होम में अस्थाई रुप से कुछ दिन रखने के बाद इनके अभिभावकों को बुलाकर सौंप दिया जाएगा.

काम के प्रलोभन में दिल्ली गए थे: जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी (डीसीपीयू) पूनम कुमारी ने कहा कि अधिकांश बच्चे बरहेट क्षेत्र से हैं. बोरियो और मंडरो से एक एक हैं. दिल्ली के विभिन्न बाल गृह में ये बच्चे रह रहे थे. जानकारी मिलने के साथ सभी को गृह जिला लाया जा रहा है. सभी बच्चे नाबालिग हैं. किसी दलाल के माध्यम से काम और पैसे का प्रलोभन देकर लाए गये थे. इनसे काम अधिक कराकर मानसिक रुप से पताड़ित किया जाता था. इन बच्चों को हर सरकारी योजना से जोड़ा जाएगा.

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