रांचीः झारखंड सरकार के एक साल पूरा होने पर कृषि विभाग की ओर से 29 दिसम्बर से किसानों की ऋण माफी की शुरुआत किए जाने की योजना का झारखंड प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने स्वागत किया है. कांग्रेस के प्रदेश प्रवक्ता डाॅ. एम. तौसीफ ने बुधवार को कहा कि सरकार बनने से पहले कांग्रेस गठबंधन ने झारखंड के किसानों से वादा किया था कि गठबंधन की सरकार बनने के बाद किसानों का कर्ज माफ किया जाएगा. इस कड़ी में यह पहला कदम है. उन्होंने कहा कि किसानों से किए वादे का पूरा करने के लिए दो हजार करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं.
एम. तौसीफ ने कहा कि कांग्रेस गठबंधन ने पूर्व में जो भी वादे जनता से किए हैं, उसे पूरा करने के लिए गठबंधन सरकार कटिबद्ध है. गठबंधन की सरकार बनने के बाद कई वादों को पूरा करने का प्रयास किया गया है. उन्होंने कहा कि झारखंड में गठबंधन सरकार बनने के बाद कुछ ही दिनों के बाद कोरोना काल शुरू हो गया. वैश्विक महामारी से राज्य की जनता को बचाने के लिए सरकार ने अपनी पूरी ताकत लगा दी, उसी का नतीजा है कि राज्य में दूसरे राज्यों के मुकाबले यहां महामारी नहीं फैल सकी. इस दौरान उन्होंने केंद्र सरकार पर झारखंड सरकार के साथ सौतेला बर्ताव करने का भी आरोप लगाया.
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एम. तौसीफ कहा कि भाजपा शासित राज्यों में केन्द्र सरकार ने कोरोना से निपटने के लिए मनचाहा फंड दिया, लेकिन झारखंड को नाम मात्र की ही सहायता दी. झारखंड सरकार केंद्र सरकार से गुहार लगाती रही कि राज्य का जीएसटी का बकाया पैसा दे दे लेकिन केन्द्र ने एक भी न सूनी. बल्कि राज्य के खजाने से 1400 सौ करोड़ रुपये काट लिया, जो निंदनीय है.