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रेलवे स्क्रैप के ठेके में बिहार के बाहुबली और अपराधी हुए सक्रिय, गैंगवार की आशंका

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Published : Mar 24, 2019, 6:32 PM IST

रेलवे और स्क्रैप के ठेकों में बिहार और झारखंड के बाहुबली के बीच गैंगवार हो सकता है. बोकारो के स्क्रैप ठेकों को लेकर ही छपरा में झारखंड के बड़े प्रोफेशनल शूटर अमरेंद्र तिवारी की हत्या की गई थी.

बाहुबलियों के बीच गैंगवार की आशंका

रांची: झारखंड में रेलवे और स्क्रैप के ठेकों में बिहार के बाहुबली और अपराधी गिरोह सक्रिय हैं. बोकारो के स्क्रैप ठेकों को लेकर ही बिहार के छपरा में झारखंड के बड़े प्रोफेशनल शूटर अमरेंद्र तिवारी की हत्या की गई थी. वहीं, इस हत्या में भी बोकारो के एक कुख्यात अपराधी का नाम सामने आया है. जिसके बाद एक बार फिर से स्क्रैप के ठेके को लेकर झारखंड में गैंगवार की आशंका जताई गई है.

बाहुबलियों के बीच गैंगवार की आशंका

स्पेसल ब्रांच ने किया आगाह
स्पेशल ब्रांच के रिपोर्ट के अनुसार रांची के हटिया समेत अन्य जगहों से निकलने वाले रेलवे ठेकों में अपराधी गिरोह के द्वारा रंगदारी वसूली जाती है. रिपोर्ट में कई ठेकेदारों के नाम भी हैं जिनसे रंगदारी की वसूली की गई है. स्पेशल ब्रांच ने एक साल पहले भी रेलवे के ठेके और स्क्रैप के कारोबार में बड़े अपराधियों की सक्रियता को लेकर रिपोर्ट तैयार की थी. जिसमें अमरेंद्र तिवारी की संलिप्तता का भी जिक्र किया गया था.

समस्तीपुर के अमित ने बनाया है गिरोह मोकामा का युवक कर रहा है लीड
बिहार के समस्तीपुर के कुख्यात अपराधी अमित चौधरी ने रेलवे और स्क्रैप के ठेके के लिए बोकारो में अपराधियों का एक गिरोह तैयार किया है. इस गिरोह का मुख्य व्यक्ति मोकामा का अपराधी राजेश सिंह है. पुलिस को मिली सूचनाके अनुशार बोकारो में यह गैंग ज्यादा सक्रिय है. राजेश सिंह के द्वारा बोकारो के कई रेलवे ठेकेदारों को धमकी दी जा रही है. वहीं, कोलकाता और दूसरे जगहों के भी कई व्यवसायियों को रंगदारी के लिए धमकाया गया है. पुलिस को सूचना मिली है कि जेल में बंद रांची का कुख्यात अपराधी संदीप थापा और उसके गुर्गे भी इस गिरोह के लिए काम कर रहे हैं.

कौन-कौन है सक्रिय
रेलवे और स्क्रैप के कारोबार में रंगदारी वसूली में मृत अमरेंद्र तिवारी के गैंग के लोग शामिल थे. वहीं, अमरेंद्र के हत्या के बाद फिलहाल उसका पूरा गिरोह उसकी हत्या का बदला लेने की फिराक में है. वर्तमान में बोकारो में कुख्यात आरजू मलिक और शहनवाज अहमद गैंग भी रंगदारी वसूली में सक्रिय है. जबकि अमरेंद्र तिवारी की हत्या में शाहनवाज गैंग का ही नाम सामने आ रहा है. ऐसे में दोनों गिरोहों के बीच गैंगवार की आशंका जताई गई है.

कई हत्याएं हो चुकी हैं
रेलवे और शराब के ठेके को लेकर बिहार के वैसे गए जो झारखंड में सक्रिय हैं उनके बीच कई बार खूनी संघर्ष हो चुका है. 4 जून 2016 को रेलवे ठेकेदार लवली तिवारी उर्फ चंद्र शेखर तिवारी की बोकारो स्टेशन के पास गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. रेलवे ठेके में वर्चस्व स्थापित करने के लिए लवली तिवारी की हत्या राजेश सिंह ने करवाई थी. इस हत्याकांड में एक ठेकेदार सर्वानंद पांडे उर्फ धोती पांडे, शूटर सोनू सरदार, रांची का कुख्यात सनी सिंह, बिट्टू सिंह, सूरज सिंह और कालू सिंह शामिल थे. वहीं, लवली तिवारी की हत्या के बाद कई और हत्याकांड में भी राजेश सिंह की भूमिका सामने आई थी.

सुशील श्रीवास्तव का शूटर था अमरेंद्र तिवारी
अमरेंद्र तिवारी कुख्यात सुशील श्रीवास्तव गिरोह का सबसे खतरनाक शूटर था. पांडे गिरोह से सुशील श्रीवास्तव गिरोह की जबरदस्त अदावत चलती थी. सुशील श्रीवास्तव की हत्या हजारीबाग कोर्ट में पेशी के दौरान कर दी गई थी. जिसके बाद अब श्रीवास्तव गैंग की कमान उसका बेटा अमन श्रीवास्तव संभाल रहा है. चुकी अब अमरेंद्र तिवारी की भी हत्या हो चुकी है और उसमें कहीं ना कहीं पांडे गिरोह का भी नाम सामने आ रहा है. इस वजह से झारखंड में एक बड़े गैंगवार की आशंका जताई जा रही है.

अपराधियों को पुलिस कर रही चिन्हित
झारखंड पुलिस के एडीसी अभियान एमएल मीणा के अनुसार स्क्रैप के ठेके को लेकर जो भी मामले पुलिस के संज्ञान में आए हैं उसके आधार पर रामगढ़, बोकारो और हजारीबाग एसपी को दोनों ही गिरोह के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं. एडीजी के अनुसार किसी भी गिरोह को झारखंड में खून खराबा करने की इजाजत नहीं दी जाएगी और इसके लिए बकायदा पुलिस ने प्लानिंग भी कर रखी है. जल्द ही सभी अपराधी सलाखों के पीछे होंगे.

रांची: झारखंड में रेलवे और स्क्रैप के ठेकों में बिहार के बाहुबली और अपराधी गिरोह सक्रिय हैं. बोकारो के स्क्रैप ठेकों को लेकर ही बिहार के छपरा में झारखंड के बड़े प्रोफेशनल शूटर अमरेंद्र तिवारी की हत्या की गई थी. वहीं, इस हत्या में भी बोकारो के एक कुख्यात अपराधी का नाम सामने आया है. जिसके बाद एक बार फिर से स्क्रैप के ठेके को लेकर झारखंड में गैंगवार की आशंका जताई गई है.

बाहुबलियों के बीच गैंगवार की आशंका

स्पेसल ब्रांच ने किया आगाह
स्पेशल ब्रांच के रिपोर्ट के अनुसार रांची के हटिया समेत अन्य जगहों से निकलने वाले रेलवे ठेकों में अपराधी गिरोह के द्वारा रंगदारी वसूली जाती है. रिपोर्ट में कई ठेकेदारों के नाम भी हैं जिनसे रंगदारी की वसूली की गई है. स्पेशल ब्रांच ने एक साल पहले भी रेलवे के ठेके और स्क्रैप के कारोबार में बड़े अपराधियों की सक्रियता को लेकर रिपोर्ट तैयार की थी. जिसमें अमरेंद्र तिवारी की संलिप्तता का भी जिक्र किया गया था.

समस्तीपुर के अमित ने बनाया है गिरोह मोकामा का युवक कर रहा है लीड
बिहार के समस्तीपुर के कुख्यात अपराधी अमित चौधरी ने रेलवे और स्क्रैप के ठेके के लिए बोकारो में अपराधियों का एक गिरोह तैयार किया है. इस गिरोह का मुख्य व्यक्ति मोकामा का अपराधी राजेश सिंह है. पुलिस को मिली सूचनाके अनुशार बोकारो में यह गैंग ज्यादा सक्रिय है. राजेश सिंह के द्वारा बोकारो के कई रेलवे ठेकेदारों को धमकी दी जा रही है. वहीं, कोलकाता और दूसरे जगहों के भी कई व्यवसायियों को रंगदारी के लिए धमकाया गया है. पुलिस को सूचना मिली है कि जेल में बंद रांची का कुख्यात अपराधी संदीप थापा और उसके गुर्गे भी इस गिरोह के लिए काम कर रहे हैं.

कौन-कौन है सक्रिय
रेलवे और स्क्रैप के कारोबार में रंगदारी वसूली में मृत अमरेंद्र तिवारी के गैंग के लोग शामिल थे. वहीं, अमरेंद्र के हत्या के बाद फिलहाल उसका पूरा गिरोह उसकी हत्या का बदला लेने की फिराक में है. वर्तमान में बोकारो में कुख्यात आरजू मलिक और शहनवाज अहमद गैंग भी रंगदारी वसूली में सक्रिय है. जबकि अमरेंद्र तिवारी की हत्या में शाहनवाज गैंग का ही नाम सामने आ रहा है. ऐसे में दोनों गिरोहों के बीच गैंगवार की आशंका जताई गई है.

कई हत्याएं हो चुकी हैं
रेलवे और शराब के ठेके को लेकर बिहार के वैसे गए जो झारखंड में सक्रिय हैं उनके बीच कई बार खूनी संघर्ष हो चुका है. 4 जून 2016 को रेलवे ठेकेदार लवली तिवारी उर्फ चंद्र शेखर तिवारी की बोकारो स्टेशन के पास गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. रेलवे ठेके में वर्चस्व स्थापित करने के लिए लवली तिवारी की हत्या राजेश सिंह ने करवाई थी. इस हत्याकांड में एक ठेकेदार सर्वानंद पांडे उर्फ धोती पांडे, शूटर सोनू सरदार, रांची का कुख्यात सनी सिंह, बिट्टू सिंह, सूरज सिंह और कालू सिंह शामिल थे. वहीं, लवली तिवारी की हत्या के बाद कई और हत्याकांड में भी राजेश सिंह की भूमिका सामने आई थी.

सुशील श्रीवास्तव का शूटर था अमरेंद्र तिवारी
अमरेंद्र तिवारी कुख्यात सुशील श्रीवास्तव गिरोह का सबसे खतरनाक शूटर था. पांडे गिरोह से सुशील श्रीवास्तव गिरोह की जबरदस्त अदावत चलती थी. सुशील श्रीवास्तव की हत्या हजारीबाग कोर्ट में पेशी के दौरान कर दी गई थी. जिसके बाद अब श्रीवास्तव गैंग की कमान उसका बेटा अमन श्रीवास्तव संभाल रहा है. चुकी अब अमरेंद्र तिवारी की भी हत्या हो चुकी है और उसमें कहीं ना कहीं पांडे गिरोह का भी नाम सामने आ रहा है. इस वजह से झारखंड में एक बड़े गैंगवार की आशंका जताई जा रही है.

अपराधियों को पुलिस कर रही चिन्हित
झारखंड पुलिस के एडीसी अभियान एमएल मीणा के अनुसार स्क्रैप के ठेके को लेकर जो भी मामले पुलिस के संज्ञान में आए हैं उसके आधार पर रामगढ़, बोकारो और हजारीबाग एसपी को दोनों ही गिरोह के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं. एडीजी के अनुसार किसी भी गिरोह को झारखंड में खून खराबा करने की इजाजत नहीं दी जाएगी और इसके लिए बकायदा पुलिस ने प्लानिंग भी कर रखी है. जल्द ही सभी अपराधी सलाखों के पीछे होंगे.

Intro:झारखंड में रेलवे और स्क्रैप के ठेकों में बिहार के बाहुबली और अपराधी गिरोह सक्रिय है ।बोकारो के स्क्रैप ठेको को लेकर ही बिहार के छपरा में झारखंड के बड़े प्रोफेशनल शूटर अमरेंद्र तिवारी की हत्या की गई थी। अमरेंद्र तिवारी की हत्या में भी बोकारो के एक कुख्यात अपराधी का नाम सामने आया है। जिसके बाद एक बार फिर से स्क्रैप के ठेके को लेकर झारखंड में गैंगवार की आशंका जताई गई है।

स्पेसल ब्रांच ने किया आगाह

स्पेशल ब्रांच के रिपोर्ट के अनुसार रांची के हटिया समेत अन्य जगहों से निकलने वाले रेलवे ठेकों में अपराधी गिरोह के द्वारा रंगदारी वसूली जाती है रिपोर्ट में कई ठेकेदारों के नाम भी हैं जिनसे रंगदारी की वसूली की गई है।स्पेशल ब्रांच ने एक साल पहले भी रेलवे के ठेके और स्क्रैप के कारोबार में बड़े अपराधियों की सक्रियता को लेकर रिपोर्ट तैयार की थी । जिसमें अमरेंद्र तिवारी की संलिप्तता का भी जिक्र किया गया था।

समस्तीपुर के अमित ने बनाया है गिरोह मोकामा का युवक कर रहा है लीड

बिहार के समस्तीपुर के कुख्यात अपराधी अमित चौधरी ने रेलवे और स्क्रैप के ठेके के लिए बोकारो में अपराधियों का एक गिरोह तैयार किया है इस गिरोह का मुख्य चेहरा मोकामा का अपराधी राजेश सिंह है। पुलिस को जो सूचनाएं मिली है उसके मुताबिक बोकारो में यह गैंग ज्यादा सक्रिय है। गिरोह के राजेश सिंह द्वारा बोकारो के कई रेलवे ठेकेदारों को धमकी दी जा रही है वहीं कोलकाता और दूसरे जगहों के भी कई व्यवसायियों को राजेश सिंह ने रंगदारी के लिए धमकाया है। पुलिस को यह भी सूचना मिली है कि जेल में बंद रांची का कुख्यात अपराधी संदीप थापा और उसके गुर्गे भी इस गिरोह के लिए काम कर रहे हैं।

कौन-कौन है सक्रिय

रेलवे और स्क्रैप के कारोबार में रंगदारी वसूली में मृत अमरेंद्र तिवारी के गैंग के लोग शामिल थे ।अमरेंद्र के हत्या के बाद फिलहाल उसका पूरा गिरोह उसकी हत्या का बदला लेने की फिराक में है। वर्तमान की बात करें तो बोकारो में कुख्यात आरजू मलिक और शहनवाज अहमद गैंग भी रंगदारी वसूली में सक्रिय है। अमरेंद्र तिवारी की हत्या में शाहनवाज गैंग का ही नाम सामने आ रहा है। ऐसे में दोनों गिरोहों के बीच गैंगवार की आशंका जताई गई है।

कई हत्याएं हो चुकी हैं

रेलवे और शराब के ठेके को लेकर बिहार के वैसे गए जो झारखंड में सक्रिय हैं उनके बीच कई बार खूनी संघर्ष हो चुका है। 4 जून 2016 को रेलवे ठेकेदार लवली तिवारी उर्फ चंद्र शेखर तिवारी की बोकारो स्टेशन के पास गोली मारकर हत्या कर दी गई थी रेलवे ठेके में वर्चस्व स्थापित करने के लिए लवली तिवारी की हत्या राजेश सिंह ने करवाई थी। इस हत्याकांड में एक ठेकेदार सर्वानंद पांडे उर्फ धोती पांडे, शूटर सोनू सरदार ,रांची का कुख्यात सनी सिंह ,बिट्टू सिंह, सूरज सिंह और कालू सिंह शामिल थे ।लवली तिवारी की हत्या के बाद कई और हत्याकांड में भी राजेश सिंह की भूमिका सामने आई थी।

सुशील श्रीवास्तव का शूटर था अमरेंद्र तिवारी

अमरेंद्र तिवारी कुख्यात सुशील श्रीवास्तव गिरोह का सबसे खतरनाक शूटर हुआ करता था। पांडे गिरोह से सुशील श्रीवास्तव गिरोह की जबरदस्त अदावत चलती थी। सुशील श्रीवास्तव की हत्या हजारीबाग कोर्ट में पेशी के दौरान कर दी गई थी ।जिसके बाद अब श्रीवास्तव गैंग की कमान उसका बेटा अमन श्रीवास्तव संभाल रहा है। चुकी अब अमरेंद्र तिवारी की भी हत्या हो चुकी है और उसमें कहीं ना कहीं पांडे गिरोह का भी नाम सामने आ रहा है इस वजह से झारखंड में एक बड़े गैंगवार की आशंका जताई जा रही है।

पुलिस चिन्हित कर रही अपराधियो को

झारखंड पुलिस के एडीसी अभियान एमएल मीणा के अनुसार स्क्रैप के ठेके को लेकर जो भी मामले पुलिस के संज्ञान में आए हैं उसके आधार पर रामगढ़ , बोकारो और हजारीबाग एसपी को दोनों ही गिरोह के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। एडीजी के अनुसार किसी भी गिरोह को झारखंड में खून खराबा करने की इजाजत नहीं दी जाएगी और इसके लिए बकायदा पुलिस ने प्लानिंग भी कर रखी है ।जल्द ही सभी अपराधी सलाखों के पीछे होंगे।

बाईट - एम एल मीणा , एडीजी अभियान ।


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Conclusion:फ़
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