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नीतीश कुमार 25 अगस्त को आएंगे रांची, विधानसभा चुनाव की तैयारयों को लेकर करेंगे बैठक

झारखंड में आगामी विधानसभा चुनाव की तैयारियों को लेकर जदयू सुप्रीमो नीतीश कुमार 25 अगस्त को रांची आएंगे. झारखंड विस चुनावों में जदयू अकेले 81 सीटों पर लड़ने की तैयारी में है. नीतीश कार्यकर्ताओं से सम्मेलन कर चुनाव को लेकर दिशा-निर्देश देंगे.

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Published : Aug 22, 2019, 7:54 PM IST

फाईल फोटो

रांचीः झारखंड में आगामी विधानसभा चुनाव के करीब आते ही सभी राजनीतिक पार्टियों ने तैयारी शुरू कर दी है. इसी सिलसिले में बिहार के मुख्यमंत्री और जनता दल यूनाइटेड के राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार 25 अगस्त को रांची आएंगे.

देखें पूरी खबर

जदयू अकेले 81 सीटों पर लड़ेगा चुनाव
आगामी चुनाव में जदयू ने राज्य के सभी 81 सीटों पर लड़ने के लिए कार्यकर्ताओं में उर्जा भरना शुरू कर दिया है. इसी सिलसिले में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार रांची आ रहे हैं, जहां वो कार्यकर्ताओं से सम्मेलन कर चुनाव में अपनी स्थिति मजबूत करने के लिए पार्टी के नेताओं को कई दिशा-निर्देश भी देंगे.

यह भी पढ़ें- शिक्षा विभाग के सचिव ने दिया निर्देश, पेयजल और शौचालय की व्यवस्था नहीं तो बंद होगा स्कूल
केंद्र और बिहार में भाजपा है साथी
एक ओर जदयू और भाजपा बिहार और केंद्र में गठबंधन के तहत मिलकर चुनाव लड़ता है, तो वहीं दूसरी और पड़ोसी राज्य झारखंड में जनता दल यूनाइटेड भाजपा के खिलाफ चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहा है. गौरतलब है कि जदयू और भाजपा के बीच सबकुछ ठीक नहीं चल रहा. केंद्रीय मंत्रिमंडल में सम्मानजनक स्थान ना मिलने पर जेडीयू प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मंत्रिमंडल में शामिल नहीं हुआ. इसके कुछ ही समय बाद नीतीश कुमार ने बिहार में अपने मंत्रिमंडल का भी विस्तार किया था. नीतीश के मंत्रिमंडल विस्तार में भाजपा को जगह नहीं दी गई थी. वहीं धारा 370 को खत्म किए जाने वाले फैसले पर भी जदयू ने भाजपा का समर्थन नहीं किया था.

झारखंड में जेडीयू बीजेपी की नहीं करेगा मदद
जेडीयू झारखंड के सह प्रभारी अरुण कुमार ने बताया कि झारखंड अलग होने के बाद वर्ष 2000 में जेडीयू के 8 विधायक थे. वहीं वर्ष 2005 में विधानसभा में जेडीयू के 5 सदस्य थे, लेकिन पिछले एक दशक से झारखंड में जेडीयू बीजेपी को मदद करने का काम कर रही है. इस बार के विधानसभा चुनाव में जेडीयू जनता के बीच अपना विश्वास बढ़ाने का काम करेगी. उन्होंने बताया कि 9 जून को हुई दिल्ली में शीर्ष नेतृत्व की बैठक में यह तय कर दिया गया था कि जेडीयू सिर्फ बिहार में ही एनडीए के घटक दल बनेगी. सह प्रभारी ने बताया कि नागालैंड, मिजोरम, अरुणाचल और कर्नाटक में जेडीयू ने बीजेपी से अलग हटकर चुनाव लड़ने का काम किया था, इसी को देखते हुए झारखंड में भी 81 विधानसभा सीटों पर जनता दल यूनाइटेड भाजपा के खिलाफ प्रत्याशी खड़ा करने का फैसला लिया है.


भाजपा को नहीं है आपत्ती
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष दीनदयाल बर्णवाल का कहना है कि भाजपा झारखंड में अपने घटक दल के साथ चुनाव लड़ने का काम करेगी. ऐसे में भाजपा जदयू को साथ लेकर चलने का प्रयास कर रही है, लेकिन जेडीयू अलग हटकर चुनाव लड़ना चाहती है तो फिर भाजपा भी जेडीयू के खिलाफ चुनाव लड़ने का काम करेगी. बीजेपी का लक्ष्य 65 पार का है जो राज्य की जनता के समर्थन से भाजपा निश्चित अपने लक्ष्य को प्राप्त करेगी.

रांचीः झारखंड में आगामी विधानसभा चुनाव के करीब आते ही सभी राजनीतिक पार्टियों ने तैयारी शुरू कर दी है. इसी सिलसिले में बिहार के मुख्यमंत्री और जनता दल यूनाइटेड के राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार 25 अगस्त को रांची आएंगे.

देखें पूरी खबर

जदयू अकेले 81 सीटों पर लड़ेगा चुनाव
आगामी चुनाव में जदयू ने राज्य के सभी 81 सीटों पर लड़ने के लिए कार्यकर्ताओं में उर्जा भरना शुरू कर दिया है. इसी सिलसिले में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार रांची आ रहे हैं, जहां वो कार्यकर्ताओं से सम्मेलन कर चुनाव में अपनी स्थिति मजबूत करने के लिए पार्टी के नेताओं को कई दिशा-निर्देश भी देंगे.

यह भी पढ़ें- शिक्षा विभाग के सचिव ने दिया निर्देश, पेयजल और शौचालय की व्यवस्था नहीं तो बंद होगा स्कूल
केंद्र और बिहार में भाजपा है साथी
एक ओर जदयू और भाजपा बिहार और केंद्र में गठबंधन के तहत मिलकर चुनाव लड़ता है, तो वहीं दूसरी और पड़ोसी राज्य झारखंड में जनता दल यूनाइटेड भाजपा के खिलाफ चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहा है. गौरतलब है कि जदयू और भाजपा के बीच सबकुछ ठीक नहीं चल रहा. केंद्रीय मंत्रिमंडल में सम्मानजनक स्थान ना मिलने पर जेडीयू प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मंत्रिमंडल में शामिल नहीं हुआ. इसके कुछ ही समय बाद नीतीश कुमार ने बिहार में अपने मंत्रिमंडल का भी विस्तार किया था. नीतीश के मंत्रिमंडल विस्तार में भाजपा को जगह नहीं दी गई थी. वहीं धारा 370 को खत्म किए जाने वाले फैसले पर भी जदयू ने भाजपा का समर्थन नहीं किया था.

झारखंड में जेडीयू बीजेपी की नहीं करेगा मदद
जेडीयू झारखंड के सह प्रभारी अरुण कुमार ने बताया कि झारखंड अलग होने के बाद वर्ष 2000 में जेडीयू के 8 विधायक थे. वहीं वर्ष 2005 में विधानसभा में जेडीयू के 5 सदस्य थे, लेकिन पिछले एक दशक से झारखंड में जेडीयू बीजेपी को मदद करने का काम कर रही है. इस बार के विधानसभा चुनाव में जेडीयू जनता के बीच अपना विश्वास बढ़ाने का काम करेगी. उन्होंने बताया कि 9 जून को हुई दिल्ली में शीर्ष नेतृत्व की बैठक में यह तय कर दिया गया था कि जेडीयू सिर्फ बिहार में ही एनडीए के घटक दल बनेगी. सह प्रभारी ने बताया कि नागालैंड, मिजोरम, अरुणाचल और कर्नाटक में जेडीयू ने बीजेपी से अलग हटकर चुनाव लड़ने का काम किया था, इसी को देखते हुए झारखंड में भी 81 विधानसभा सीटों पर जनता दल यूनाइटेड भाजपा के खिलाफ प्रत्याशी खड़ा करने का फैसला लिया है.


भाजपा को नहीं है आपत्ती
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष दीनदयाल बर्णवाल का कहना है कि भाजपा झारखंड में अपने घटक दल के साथ चुनाव लड़ने का काम करेगी. ऐसे में भाजपा जदयू को साथ लेकर चलने का प्रयास कर रही है, लेकिन जेडीयू अलग हटकर चुनाव लड़ना चाहती है तो फिर भाजपा भी जेडीयू के खिलाफ चुनाव लड़ने का काम करेगी. बीजेपी का लक्ष्य 65 पार का है जो राज्य की जनता के समर्थन से भाजपा निश्चित अपने लक्ष्य को प्राप्त करेगी.

Intro:झारखंड में विधानसभा चुनाव करीब आते ही सभी राजनीतिक पार्टियों ने तैयारी शुरू कर दी है, इसको लेकर जनता दल यूनाइटेड ने भी राज्य के 81 सीटों पर चुनाव लड़ने के लिए कार्यकर्ताओं में उर्जा भरना शुरू कर दिया है।

आगामी चुनाव को लेकर कार्यकर्ताओं में ऊर्जा भरने के लिए 25 अगस्त को जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष व बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार रांची आएंगे, जहां वो कार्यकर्ताओं से सम्मेलन कर चुनाव में अपनी स्थिति मजबूत करने के लिए पार्टी के नेताओ को कई दिशा-निर्देश भी देंगे।


Body:ज्ञात हो कि जेडीयू और भाजपा बिहार में गठबंधन के तहत मिलकर चुनाव लड़ती है, वहीं दूसरी और पड़ोसी राज्य झारखंड में जनता दल यूनाइटेड भाजपा के खिलाफ चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहा है।

जेडीयू झारखंड के सह प्रभारी अरुण कुमार बताते हैं कि झारखंड अलग होने के बाद वर्ष 2000 में जेडीयू के 8 विधायक हुआ करते थे, वहीं वर्ष 2005 में विधानसभा में जेडीयू के 5 सदस्य हुआ करते थे, लेकिन पिछले एक दशक से झारखंड में जेडीयू बीजेपी को मदद करने का काम कर रही है लेकिन इस बार के विधानसभा चुनाव में जेडीयू जनता के बीच अपना विश्वास बढ़ाने का काम करेगी।

उन्होंने बताया कि 9 जून को हुई दिल्ली में शीर्ष नेतृत्व की बैठक में यह तय कर दिया गया था कि जेडीयू सिर्फ बिहार में ही एनडीए के घटक दल बनेगी उसके अलावा अन्य किसी प्रदेश में जेडीयू भाजपा का समर्थन नहीं कर रही है।
सह प्रभारी अरुण कुमार ने बताया कि नागालैंड, मिजोरम अरुणाचल और कर्नाटक में जेडीयू ने बीजेपी से अलग हटकर चुनाव लड़ने का काम किया था, इसी को देखते हुए झारखंड में भी 81 विधानसभा सीटों पर जनता दल यूनाइटेड भाजपा के खिलाफ प्रत्याशी खड़ा करने का फैसला लिया है।

वहीं दूसरी ओर भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष दीनदयाल बर्णवाल बताते हैं कि भाजपा राज्य में अपने घटक दल के साथ चुनाव लड़ने का काम करेगी ऐसे में भाजपा जदयू को साथ लेकर चलने का प्रयास कर रही है लेकिन अगर जेडीयू हमसे अलग हटकर चुनाव लड़ना चाहती है तो फिर भाजपा भी जेडीयू के खिलाफ चुनाव लड़ने का काम करेगी। बीजेपी का लक्ष्य 65 पार का है जो राज्य की जनता के समर्थन से भाजपा निश्चित अपने लक्ष्य को प्राप्त करेगी।




Conclusion:आपको बता दें कि एक तरफ बिहार में जेडीयू भाजपा के साथ मिलकर सरकार चला रही है, तो वहीं झारखंड में जेडीयू भाजपा के खिलाफ चुनाव लड़ने का दम भर रही है।

झारखंड के पड़ोसी राज्य बिहार में जेडीयू की अच्छी पकड़ मानी जाती है, ऐसे में अगर जेडीयू झारखंड के 81 सीटों पर चुनाव लड़ने की रणनीति बना रही है तो यह निश्चित रूप से कहीं ना कहीं भाजपा को कई सीटों पर कड़ी टक्कर देगी,जिसका लाभ अन्य विपक्षी दलों को मिल सकता है।

बाइट- अरुण कुमार,सह प्रभारी, झारखंड
बाइट- दीनदयाल बरनवाल, प्रदेश प्रवक्ता, बीजेपी।
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