रांची: प्रदेश में सत्तारूढ़ महागठबंधन का नेतृत्व कर रहे झारखंड मुक्ति मोर्चा ने बीजेपी पर जमकर निशाना साधा है. इसे लेकर झामुमो के केंद्रीय महासचिव सह प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा है कि संपूर्ण संसाधन वाले झारखंड को समाप्त करने की कोशिश की जा रही है. राज्य आर्थिक संकट से गुजर रहा है. पिछले 2 सालों में झारखंड में जीएसटी का 18 हजार करोड़ रुपया का घोटाला हुआ है. यह बात सीएजी की रिपोर्ट में भी आई है, ये पैसा राज्य सरकार को मिलना चाहिए.
केंद्र के पास करीब 1 लाख करोड़ का है बकाया
भट्टाचार्य ने कहा कि केंद्र सरकार के पास झारखंड का करीब एक लाख करोड़ का बकाया है. उसी क्रम में अप्रैल से लेकर जुलाई तक जीएसटी का 2 हजार 481 करोड़ रुपया केंद्र सरकार से मिलना है. इतना ही नहीं 65 हजार करोड़ रुपया झारखंड का केवल कोल और सेल का बकाया है. इसके अलावा देश में अन्य के पास लगभग 24 हजार करोड़ रुपया बाकी है. एक अनुमान के हिसाब से केंद्र सरकार के पास कुल एक लाख करोड़ का बकाया हो जाएगा. इसके बावजूद केंद्र राज्य सरकार को आरबीआई से लोन दिलाना चाहती है. उन्होंने कहा कि जीडीपी का जो रेट आया है. करीब 24% माइनस हो गया है. यह अप्रैल से जून के बीच का आंकड़ा है.
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जब बढ़ रहे हैं संक्रमित तब दी जा रही है ढील
झामुमो के केंद्रीय महासचिव ने कहा कि मौजूदा समय में कोरोना संक्रमितों की संख्या लगातार बढ़ रही है और इस समय में केंद्र सरकार ढील दे रही है. उन्होंने आंकड़ों का हवाला देते हुए कहा कि 30 मार्च को देश में 1 हजार लोग संक्रमित थे और 29 लोगों की मौत हुई थी. 14 अप्रैल तक पहला लॉकडाउन चला. उस दौरान 10 हजार लोग संक्रमित पाए गए थे और मौत का आंकड़ा 353 हो गया था, जबकि दूसरा लॉकडाउन 3 मई को समाप्त हुआ, तब आंकड़ा और बढ़ा, जो बढ़कर करीब 40,263 पहुंच गई थी और करीब 1 हजार 306 लोगों की मौत हो चुकी थी. 17 मई को तीसरा लॉकडाउन हुआ, जिसमें 90 हजार लोग संक्रमित हुए और 2 हजार 872 लोगों की मौत हुई. 31 मई को चौथा लॉकडाउन और 1 जून से 30 जून तक अनलॉक की प्रक्रिया शुरू हुई. आंकड़े और बढ़ते चल गए. अभी देश में लगभग 38 लाख लोग संक्रमित हैं और लोगों को छूट दी जा रही है.