रांची: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी की आपत्तिजनक फोटो फेसबुक पर पोस्ट करने के आरोपी विनोद साहू की जमानत याचिका झारखंड हाई कोर्ट ने खारिज कर दी है. हाईकोर्ट ने गुरुवार को मामले पर सुनवाई करते हुए न्यायाधीश आर मुखोपाध्याय की अदालत ने जमानत याचिका को खारिज किया है.
मामले पर अदालत ने टिप्पणी करते हुए कहा कि ऐसे व्यक्ति को जेल से बाहर नहीं आना चाहिए, क्योंकि देश के प्रधानमंत्री के खिलाफ घृणित कार्य किया गया है. अदालत में सुनवाई के दौरान आरोपी के अधिवक्ता हेमंत सिकरवार ने अदालत से कहा कि बिंदो साव का उम्र 65 वर्ष है और वह अनपढ़ हैं. ऐसे में उन्हें फेसबुक चलाना नहीं आता है. किसी ने उनके मोबाइल का गलत उपयोग करते हुए फेसबुक में इस तरह का आपत्तिजनक पोस्ट किया है. अधिवक्ता हेमंत सिकरवार ने अदालत को बाताया कि विनोद साहू ने तस्वीर पोस्ट नहीं की है, इसलिए इन्हें जमानत मिलनी चाहिए. अदालत ने दलील को सुनने के बाद जमानत देने से इनकार करते हुए याचिका को खारिज कर दिया है.
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आपको बता दें, कि मामला हजारीबाग जिले के चंपारण के रहने वाले विनोद साहू ने 9 अप्रैल वर्ष 2019 को अपने फेसबुक अकाउंट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पूर्व स्मृति ईरानी की आपत्तिजनक फोटो पोस्ट किया था. इस मामले में पुलिस ने प्राथमिकी दर्ज कर जांच कर आरोपी विनोद साहू को 20 अगस्त 2019 को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. इस मामले पर निचली अदालत ने जमानत याचिका खारिज होने के बाद आरोपी ने झारखंड हाईकोर्ट में जमानत के लिए गुहार लगाई है. याचिका पर सुनवाई करते हुए अदालत ने याचिका को खारिज कर दिया है.