रांची: झारखंड को कोवैक्सीन की 91 हजार 130 डोज मिली है. इससे वैसे लोगों को सबसे ज्यादा फायदा होगा, जो इस वैक्सीन का पहला डोज ले चुके हैं और दूसरे डोज के लिए तैयार हैं.
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12,500 ट्रूनेट किट का री-लोकेशन
जरूरत और उपलब्धता के हिसाब से राज्य में 12,500 किट को रीलोकेट किया गया, जिसमें पलामू से 2000-2000 हजार किट सिमडेगा, गुमला और जमशेदपुर को दिया गया है. इसी तरह चतरा से 1500-1500 किट गिरिडीह और धनबाद को और पश्चिमी सिंहभूम से 3500 किट हजारीबाग को दिया गया है.
किस जिले को मिली कितनी डोज
दो खेप में झारखंड को मिली कोवैक्सीन के कुल 91 हजार 130 डोज को इस तरह अलग-अलग जिलों में डिस्ट्रीब्यूट किया गया है-
बोकारो | 2400 |
चतरा | 2300 |
देवघर | 2500 |
गढ़वा | 2400 |
जामताड़ा | 2800 |
खूंटी | 2800 |
लातेहार | 2600 |
लोहरदगा | 3200 |
पाकुड़ | 3000 |
रामगढ़ | 3300 |
साहेबगंज | 3000 |
सरायकेला | 2800 |
सिमडेगा | 2300 |
पश्चिमी सिंहभूम | 3200 |
पलामू | 5800 |
धनबाद | 5100 |
जमशेदपुर | 5300 |
गिरिडीह | 5100 |
गोड्डा | 4600 |
गुमला | 4600 |
रांची | 7430 |
हजारीबाग | 6000 |
दुमका | 4400 |
कोडरमा | 4200 |
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25 जुलाई 2022 तक गुटखा/पान मसाला पर रोक, अधिसूचना जारी
फूड सेफ्टी एंड स्टैंडर्ड एक्ट 2006 और रेगुलेशन 2, 3 और 4 के तहत 25 जुलाई 2021 तक राज्य में पान मसाला/गुटखा के निर्माण, संग्रहण और बिक्री पर रोक रहेगी. उधर, NHM के निदेशक ने सभी जिलों के सिविल सर्जन को पत्र लिखकर विशेष प्रसव पूर्व जांच में तेजी लाने को कहा है. राज्य में प्रसव पूर्व जांच की औसत 79% है, लेकिन प्रथम तिमाही में 55% है. इसे बढ़ाए जाने की जरूरत है. राज्य में तीन दिवसीय PPIUCD का प्रशिक्षण भी चलेगा. वहीं राज्य में डायरिया से बच्चों को बचाने को लेकर सघन डायरिया नियंत्रण के लिए व्यापक रूप से प्रचार प्रसार किया जाएगा.