रांची: झारखंड में स्वास्थ्य भवनों और अस्पतालों को मानसून में वज्रपात से बचाने के लिए विशेष निर्देश जारी किए गए हैं. स्वास्थ्य विभाग ने राज्य के सभी सिविल सर्जनों(cs) को आंधी-तूफान और वज्रपात से अस्पताल भवनों की सुरक्षा के लिए नेशनल बिल्डिंग कोड का अनुपालन सुनिश्चित कराने को कहा है.
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3rd wave से बच्चों को बचाने के लिए डॉक्टरों को विशेष ट्रेनिंग का शेड्यूल जारी
कोरोना की संभावित तीसरी लहर में बच्चों के संक्रमित होने की संभावना के मद्देनजर हर जिले से 2 पीडियाट्रिक, दो मेडिकल अफसर और दो स्टाफ नर्स को PICU और NICU की विशेष ट्रेनिंग दी जा रही है. इस विशेष प्रशिक्षण का अगला शेड्यूल बैच 21 से 26 जून तक रिम्स में प्रारंभ होगा, जिसमें पश्चिम सिंहभूम, गिरिडीह, गोड्डा और गुमला के डॉक्टर शामिल होंगे. कुल 24 डॉक्टरों और पारा मेडिकल स्टाफ को रिम्स में ट्रेनिंग दी जाएगी. वहीं दूसरी टीम को रानी हॉस्पिटल रांची के ICU में प्रशिक्षण कराया जाएगा. इसमें चतरा, देवघर, धनबाद और दुमका के डॉक्टर और पारा मेडिकल स्टाफ रहेंगे.
ICU वेंटिलेटर की भी होगी विशेष ट्रेनिंग
आईसीयू और वेंटिलेटर ट्रेनिंग के लिए भी डॉक्टरों, स्टाफ नर्स और सामुदायिक स्वास्थ्य पदाधिकारियों की टीम को रिम्स ट्रामा सेंटर में 18 से 25 जून तक विशेष ट्रेनिंग दी जाएगी. राज्य के अपर मुख्य सचिव (स्वास्थ्य) अरुण कुमार सिंह ने संबंधित सिविल सर्जनों को पत्र भेजकर डॉक्टरों को समय पर प्रशिक्षण के लिए विरमित करने का निर्देश दिया है.