रांचीः शिद्दत वाली गर्मी और कोरोना के खतरे के बीच लॉकडाउन में माहे रमजान का रोजा बीत गया है और 30 दिन के रोजे के बाद इनाम के तौर पर ईद मिली. इसी क्रम में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए ईद उल फितर का त्योहार पूरे देश में मनाया जा रहा है और इस महामारी से निजात मिले इसको लेकर दुआएं की जा रहीं हैं.
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कोरोना को लेकर सामाजिक दूरियां बढ़ी हैं, लेकिन फासले नहीं इस बात की तस्दीक रांची में मनाई जा रही ईद कर रही है. जब मस्जिदों और ईदगाहों की जगह अपने ही घर में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर लोगों ने ईद का त्योहार मनाया. ईद के दिन ईदगाह और मस्जिदों में ईद की नमाज अदा करने का रिवाज है लेकिन झारखंड में चल रहे मिनी लॉकडाउन यानी स्वास्थ्य सुरक्षा सप्ताह की वजह से धार्मिक स्थलों पर जाने की पाबंदी है
ईद की मुबारकबाद दी
इसीलिए रमजान के महीने की तरह ही इस बार ईद का त्योहार घरों में ही रहकर लोग मना रहे और घरों में ही सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर नमाज अदा की गयी.
नमाज के बाद भले ही लोगों ने एक दूसरे को गले नहीं लगाया लेकिन सभी ने एक दूसरे को ईद की मुबारकबाद दी और अल्लाह ताला से इस बीमारी से निजात की दुआ मांगी.
कोरोना वायरस के खतरे के बीच लोग हर वक्त इससे एक जंग लड़ रहे हैं और इसी तर्ज पर सोशल डिस्टेंस इनके साथ घरों में ही इबादत कर ईद का भी त्योहार मनाया जा रहा है और इस बार लोग गले नहीं मिल कर दिल मिला रहे हैं.