रांची: कोरोना वायरस के संक्रमण का प्रभाव अब धीरे-धीरे कम होने लगा है. जिंदगी पटरी पर लौटने लगी है, एक उम्मीद के साथ लोग आगे बढ़ चुके हैं. शिक्षण संस्थान जैसे स्कूल, कॉलेजों में अब बच्चों की उपस्थित शुरू हो गई है. साथ ही साथ शिक्षा विभाग नए सत्र से धीरे-धीरे स्कूल खोलने को लेकर तैयारियां भी कर रही है.
अभिभावकों के मन में अब भी डर बाकी
कोरोना वायरस का संक्रमण अब धीरे-धीरे कम हो रहे है. इसके साथ ही टीकाकरण भी जारी है. धीरे-धीरे अनलॉक के तहत तमाम क्षेत्रों में छूट दी जा रही है. स्कूल कॉलेज प्रशिक्षण संस्थानों में उपस्थिति दर्ज होने लगी है. हालांकि अभी भी सीनियर बच्चों को ही स्कूल कॉलेज बुलाया जा रहा है. परीक्षा के मद्देनजर उनकी तैयारियों को लेकर स्कूलों में विद्यार्थियों को शिक्षकों की ओर से परामर्श दिया जा रहा है. लेकिन छात्रों और अभिभावकों के मन में अभी भी कोरोना का खौफ है. फिजिकल रूप से पठन-पाठन सुचारू होने की उम्मीद जगी है. इसको लेकर जल्द ही झारखंड सरकार के आपदा प्रबंधन विभाग बड़ा फैसला ले सकता है.
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स्कूलों को सरकार की हरी झंडी का इंतजार
अभिभावक का कहना है कि कोविड-19 का डर अभी-भी है, वैक्सीनेशन का काम तो शुरु हुआ है. लेकिन आम लोगों को यह सुविधा फिलहाल नहीं दी जा रही है. सीनियर बच्चे भले ही स्कूल जा रहे हैं, उनकी भी उपस्थिति काफी कम है. ऐसे में मन में थोड़ा डर जरूर बना हुआ है. दूसरी ओर शिक्षा विभाग की ओर से तैयारियां मुकम्मल की जा रही है. एक बार फिर सरकारी स्कूलों में साफ सफाई का काम तेज किया गया है. वहीं दूसरी और निजी स्कूल पूरी तरह फिजिकल क्लासेस शुरू करने को लेकर तैयार है. सरकार की ओर से हरी झंडी मिलते ही वह फिजिकल क्लासेस शुरु करने को लेकर तैयार है.
कुल मिलाकर कहें तो कोरोना वायरस के भय को पीछे छोड़ते हुए अब जिंदगी वापस पटरी पर लौटने के इंतजार में है. छोटे बच्चों को थोड़ी परेशानी हो सकती है. लेकिन नए सत्र से इनकी भी पठन-पाठन सुचारू कराने को लेकर विचार-विमर्श का दौर जारी है.