रांची: राज्य में अब दिन प्रतिदिन ब्लैक फंगस के मरीज सामने आ रहे हैं. स्वास्थ विभाग उनके बेहतर इलाज के लिए हर संभव प्रयास कर रहा है. आंकड़ों की बात करें तो अब तक पूरे राज्य में 130 ब्लैक फंगस (Black Fungus) के मरीज पाए गए हैं. जिसमें से अब तक 79 कंफर्म केस और 52 संदेहास्पद केस की पुष्टि हुई है. वहीं ब्लैक फंगस ने 25 लोगों की जान ले ली, तो वहीं 35 मरीजों ने इस बिमारी को मात दे दी है.
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एंटी फंगल इंजेक्शन पोसाकोनेजोल के उपयोग की मिली अनुमति
ब्लैक फंगस के मरीजों के उपचार के लिए एम्फोटेरिसिन-बी (AMPHOTERICIN-B) की दवा काफी कारगर मानी जाती है. लेकिन इसके अभाव में भारत सरकार के स्वास्थ्य परिवार कल्याण मंत्रालय और आईसीएमआर के निर्देश के बाद एंटी फंगल इंजेक्शन पोसाकोनेजोल(POSACONAZOLE) के उपयोग की अनुमति प्रदान कर दी गई है.
सीएम ने महामरी घोषित करने के दिए निर्देश
ब्लैक फंगस की भयावह होती स्थिति को देखते हुए 14 राज्यों ने इसे महामरी घोषित कर दिया है. झारखंड में भी लगातार बढ़ते केस को देखते हुए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने महामारी घोषित करने के निर्देश दे दिए हैं. जिसके बाद स्वास्थ्य विभाग ने प्रक्रिया भी शुरू कर दी है. बता दें की अब तक सवा सौ से ज्यादा लोग इस बीमारी की चपेट में आ चुके हैं.
राज्य में 52 पीएसए प्लांट की होगी स्थापना
वहीं, दूसरी तरफ कोरोना का खतरा अभी भी बरकरार है. लोगों को संभावित तीसरी लहर से बचाने के लिए राज्य के 52 जगहों पर पीएसए (Pressure Swing Adsorption) प्लांट की स्थापना की जा रही है. जिसमें भारत सरकार की तरफ से 23 प्लांट की स्थापना झारखंड के विभिन्न स्थानों पर की जा रही है. 23 पीएसए प्लांट राज्य सरकार के फंड से लगाया जा रहा है. 4 पीएसए प्लांट कॉरपोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी के तहत स्थापित किये जा रहे हैं. जबकि 1 प्लांट एनजीओ की ओर से बनाया जा रहा है और 1 हजारीबाग मेडिकल कॉलेज में डीआरडीओ की ओर से लगाया जा रहा है.