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पशु तस्करी के खिलाफ पुलिस नहीं लेगी एक्शन, सीएम ने कहा- पशुपालन विभाग के अधिकारियों की मौजूदगी में हो कार्रवाई

अब झारखंड में पशुधन की तस्करी (cattle smuggling in jharkhand )को लेकर पुलिस कार्रवाई नहीं करेगी. सीएम हेमंत सोरेन ने डीजीपी नीरज सिन्हा को इस संबंध में निर्देश दिया है. पशुपालन विभाग के अधिकारी की मौजूदगी में ही पशुधन को लेकर कोई कार्रवाई की जाएगी.

Police will not take action against cattle smuggling in jharkhand
Police will not take action against cattle smuggling in jharkhand
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Published : Dec 9, 2022, 12:43 PM IST

पलामूः राज्य में पुलिस अब पशुधन तस्करी के खिलाफ कार्रवाई नहीं(Police will not take action against cattle smuggling) करेगी. पशुपालन विभाग के एनिमल हसबेंडरी ऑफिसर की मौजूदगी में ही और उसकी पहल पर ही पशु तस्करी रोकने के लिए कार्रवाई की जाएगी. इस संबंध में सीएम हेमंत सोरेन ने राज्य के डीजीपी नीरज सिन्हा को पलामू में विभागीय समीक्षा के दौरान दिया. दरअसल समीक्षा बैठक में पशु तस्करी को लेकर मंत्री मिथिलेश ठाकुर और मनिका विधायक रामचंद्र सिंह ने पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाया. दोनों के सवाल उठाए जाने के बाद सीएम हेमंत सोरेन ने डीजीपी को इस संबंध में सभी पुलिस अधिकारियों को निर्देश जारी करने को कहा है.

ये भी पढ़ेंः पलामू और गढ़वा के विकास कार्यो की सीएम कर रहे समीक्षा, मुख्य सचिव और डीजीपी हैं मौजूद

सीएम ने समीक्षा बैठक में साफ तौर पर कहा कि जब इलाके में कोई स्लॉटर नहीं है तो पशुधन के खिलाफ कार्रवाई क्यों की जा रही. झारखंड के इलाके में पशुधन रोजगार का एक बड़ा साधन है और ग्रामीणों को एक बड़ा रोजगार देता. इस संबंध में सोच समझकर निर्णय लेने की जरूरत है. सीएम ने कहा कि झारखंड और छत्तीसगढ़ सटे हुए हैं. दोनों की जमीन एक दूसरे के इलाके में है. पशुधन के लेकर भी सीमा विवाद में कार्रवाई की जा रही है, ऐसा नहीं होना चाहिए ग्रामीण इलाकों में पशुधन रोजगार एक बड़ा साधन है.

पूरे मामले में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने पलामू डीआईजी राजकुमार लकड़ा पलामू एसपी चंदन कुमार सिन्हा से भी वस्तु स्थिति की जानकारी ली है. जानकारी लेने के बाद सीएम ने डीजीपी को एक निर्देश जारी करने को कहा ताकि रोड पर पुलिस कार्रवाई करने में सावधानी बरते.

पलामूः राज्य में पुलिस अब पशुधन तस्करी के खिलाफ कार्रवाई नहीं(Police will not take action against cattle smuggling) करेगी. पशुपालन विभाग के एनिमल हसबेंडरी ऑफिसर की मौजूदगी में ही और उसकी पहल पर ही पशु तस्करी रोकने के लिए कार्रवाई की जाएगी. इस संबंध में सीएम हेमंत सोरेन ने राज्य के डीजीपी नीरज सिन्हा को पलामू में विभागीय समीक्षा के दौरान दिया. दरअसल समीक्षा बैठक में पशु तस्करी को लेकर मंत्री मिथिलेश ठाकुर और मनिका विधायक रामचंद्र सिंह ने पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाया. दोनों के सवाल उठाए जाने के बाद सीएम हेमंत सोरेन ने डीजीपी को इस संबंध में सभी पुलिस अधिकारियों को निर्देश जारी करने को कहा है.

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सीएम ने समीक्षा बैठक में साफ तौर पर कहा कि जब इलाके में कोई स्लॉटर नहीं है तो पशुधन के खिलाफ कार्रवाई क्यों की जा रही. झारखंड के इलाके में पशुधन रोजगार का एक बड़ा साधन है और ग्रामीणों को एक बड़ा रोजगार देता. इस संबंध में सोच समझकर निर्णय लेने की जरूरत है. सीएम ने कहा कि झारखंड और छत्तीसगढ़ सटे हुए हैं. दोनों की जमीन एक दूसरे के इलाके में है. पशुधन के लेकर भी सीमा विवाद में कार्रवाई की जा रही है, ऐसा नहीं होना चाहिए ग्रामीण इलाकों में पशुधन रोजगार एक बड़ा साधन है.

पूरे मामले में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने पलामू डीआईजी राजकुमार लकड़ा पलामू एसपी चंदन कुमार सिन्हा से भी वस्तु स्थिति की जानकारी ली है. जानकारी लेने के बाद सीएम ने डीजीपी को एक निर्देश जारी करने को कहा ताकि रोड पर पुलिस कार्रवाई करने में सावधानी बरते.

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