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Locker Scam: मुथूट फाइनेंस में रखे जेवरात जब्त, घोटाले से जुड़े सारे गहने बरामद, अब टीआईपी की तैयारी - पलामू पुलिस

पलामू के यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया (United Bank of India) में हुए लॉकर घोटाला (Locker Scam) में पलामू पुलिस ने सारे गहने बरामद कर लिए हैं. पुलिस ने रांची के मुथूट फाइनेंस (Muthoot Finance) में रखे जेवरात जब्त भी जब्त कर लिए हैं.

Locker scam
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Published : Nov 23, 2021, 3:51 PM IST

पलामू: चर्चित लॉकर घोटाला (Locker Scam) मामले में पलामू पुलिस को बड़ी सफलता मिली है. पलामू पुलिस ने रांची स्थित मुथूट फाइनेंस ग्रुप में रखे घोटाले से जुड़े जेवरात को जब्त कर लिया है. पलामू पुलिस ने अब तक लॉकर घोटाले से जुड़े लगभग सारे जेवरात को बरामद कर लिया है. मेदिनीनगर टाउन थाना प्रभारी अरुण कुमार महथा के नेतृत्व में रांची के मुथूट फाइनेंस (Muthoot Finance) कॉर्प के कार्यालय से जेवरात को जब्त किया है. कुछ दिनों पहले पुलिस ने आईसीआईसीआई बैंक में रखे जेवरात को जब्त किया था.

ये भी पढ़ें- लॉकर घोटालाः पुलिस ने कसा शिकंजा, आईसीआईसीआई बैंक के लॉकर में रखे जेवरात जब्त

टाउन थानेदार अरुण कुमार महथा ने बताया कि पुलिस जानकारी में जितने भी जेवरात थे सारे बरामद कर लिए गए हैं. पुलिस अब कोर्ट की अनुमति मिलने के बाद टीआपाई करवाएगी. यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया (वर्तमान में पंजाब नेशनल बैंक का अंग) के डालटनगंज शाखा में लॉकर घोटाला हुआ था. यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया (United Bank of India) के लॉकर से गायब जेवरातों को मुथूट फाइनेंस कॉर्प नामक कंपनी में गिरवी रखा गया था. करीब 13 लाख रुपये में घोटाले के मुख्य आरोपी ने गिरवी रखा था. पुलिस को जो जानकारी मिल रही है उसके अनुसार मुथूट फाइनेंस में यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया के लॉकर नंबर 46, 53, 54 और 23 के कुछ जेवरात गिरवी रखे गए थे. घोटाले का मास्टरमाइंड में से एक रिशु ने तीन बार में जेवरात को गिरवी रखा था.

ये भी पढ़ें- लॉकर घोटाला: मुथूट में मुख्य आरोपी ने तीन लॉकरों में रखा है जेवरात, पुलिस ने जारी किया नोटिस

लॉकर घोटाले के आरोप में बैंक के मैनेजर, डिप्टी मैनेजर समेत 15 आरोपी जा चुके हैं जेल

पलामू प्रमंडलीय मुख्यालय मेदिनीनगर में यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया वर्तमान में पीएनबी का अंग है, इसके डालटनगंज शाखा में लॉकर घोटाला हुआ है और पांच लॉकर के साथ छेड़छाड़ कर लाखों की संपत्ति गायब की गई थी. हालंकि पुलिस मामले का उद्भेदन करते हुए बैंक के मैनेजर और डिप्टी मैनेजर समेत 15 आरोपियों को गिरफ्तार कर अब तक जेल भेज चुकी है. लॉकर की डुप्लीकेट चाबी बना कर लॉकर घोटाला को अंजाम दिया गया था. पूरे मामले में डिप्टी मैनेजर और बैंक के दैनिकभोगी कर्मचारी मुख्य आरोपी है. डिप्टी मैनेजर ने ही मुख्य आरोपी रिशु को जेवरात दिए थे. पलामू पुलिस लॉकर घोटाले के मुख्य आरोपी रिशु की पत्नी को भी आरोपी बना सकती है. फिलहाल रिशु पत्नी समेत फरार है.

पलामू: चर्चित लॉकर घोटाला (Locker Scam) मामले में पलामू पुलिस को बड़ी सफलता मिली है. पलामू पुलिस ने रांची स्थित मुथूट फाइनेंस ग्रुप में रखे घोटाले से जुड़े जेवरात को जब्त कर लिया है. पलामू पुलिस ने अब तक लॉकर घोटाले से जुड़े लगभग सारे जेवरात को बरामद कर लिया है. मेदिनीनगर टाउन थाना प्रभारी अरुण कुमार महथा के नेतृत्व में रांची के मुथूट फाइनेंस (Muthoot Finance) कॉर्प के कार्यालय से जेवरात को जब्त किया है. कुछ दिनों पहले पुलिस ने आईसीआईसीआई बैंक में रखे जेवरात को जब्त किया था.

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टाउन थानेदार अरुण कुमार महथा ने बताया कि पुलिस जानकारी में जितने भी जेवरात थे सारे बरामद कर लिए गए हैं. पुलिस अब कोर्ट की अनुमति मिलने के बाद टीआपाई करवाएगी. यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया (वर्तमान में पंजाब नेशनल बैंक का अंग) के डालटनगंज शाखा में लॉकर घोटाला हुआ था. यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया (United Bank of India) के लॉकर से गायब जेवरातों को मुथूट फाइनेंस कॉर्प नामक कंपनी में गिरवी रखा गया था. करीब 13 लाख रुपये में घोटाले के मुख्य आरोपी ने गिरवी रखा था. पुलिस को जो जानकारी मिल रही है उसके अनुसार मुथूट फाइनेंस में यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया के लॉकर नंबर 46, 53, 54 और 23 के कुछ जेवरात गिरवी रखे गए थे. घोटाले का मास्टरमाइंड में से एक रिशु ने तीन बार में जेवरात को गिरवी रखा था.

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लॉकर घोटाले के आरोप में बैंक के मैनेजर, डिप्टी मैनेजर समेत 15 आरोपी जा चुके हैं जेल

पलामू प्रमंडलीय मुख्यालय मेदिनीनगर में यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया वर्तमान में पीएनबी का अंग है, इसके डालटनगंज शाखा में लॉकर घोटाला हुआ है और पांच लॉकर के साथ छेड़छाड़ कर लाखों की संपत्ति गायब की गई थी. हालंकि पुलिस मामले का उद्भेदन करते हुए बैंक के मैनेजर और डिप्टी मैनेजर समेत 15 आरोपियों को गिरफ्तार कर अब तक जेल भेज चुकी है. लॉकर की डुप्लीकेट चाबी बना कर लॉकर घोटाला को अंजाम दिया गया था. पूरे मामले में डिप्टी मैनेजर और बैंक के दैनिकभोगी कर्मचारी मुख्य आरोपी है. डिप्टी मैनेजर ने ही मुख्य आरोपी रिशु को जेवरात दिए थे. पलामू पुलिस लॉकर घोटाले के मुख्य आरोपी रिशु की पत्नी को भी आरोपी बना सकती है. फिलहाल रिशु पत्नी समेत फरार है.

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