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पलामू सांसद बीडी राम ने कृषि कानून को बताया ऐतिहासिक, बोले विपक्ष कर रही राजनीति - Palamu MP BD Ram News

पलामू सांसद बीडी राम ने कृषि कानून को किसानों के लिए मील का पत्थर बताया है. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार 2024 तक किसानों की आय दो गुना करना चाहती है, लेकिन विपक्ष बेवजह इसका विरोध कर रही है.

सांसद बीडी राम
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Published : Oct 1, 2020, 6:32 PM IST

गढ़वाः पलामू सांसद बीडी राम ने कृषि कानून को किसानों के विकास के लिए अचूक हथियार बताया. उन्होंने कहा कि भाजपा की केंद्र सरकार 2024 तक किसानों की आय दो गुना करना चाहती है. विपक्ष बेवजह इसके खिलाफ राग अलाप रहा है. किसानों के विकास में रोड़ा बन रहा है.

देखें पूरी खबर

सांसद बीडी राम ने आरकेवीएस बीएड कालेज में प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि कृषि कानून लाना सरकार का ऐतिहासिक फैसला है. इससे एक देश-एक बाजार की अवधारणा पूरी हुई है, किसानों की आय दो गुना करने का प्रयास है.

इस बिल के दोनों सदनों में पारित हो जाने से किसानों को तमाम तरह के बंदिशों से मुक्ति मिल गयी है. वे कृषि के लिए स्वतंत्र हो गए हैं. उन्हें बिचौलिया से राहत मिल गयी है. इससे उन्हें ऋण से मुक्ति मिलेगी. फसल की उपज की लागत मूल्य से 50 प्रतिशत ज्यादा मूल्य एमएसपी यानी न्यूनतम समर्थन मुख्य निर्धारित किया गया है.

किसानों को सशक्त बनाने के लिए हेल्थ कार्ड, फसल बीमा योजना, फसलों के नुकसान की भरपाई सरीखे नियमों में बदलाव किए गए हैं. किसानों की आधारभूत संरचना को मजबूत करने के लिए एक लाख करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है. इस कानून की अनुशंसा एमपी के पूर्व सीएम कमलनाथ, पंजाब के सीएम अमरेंद्र सिंह, ओडिसा के सीएम नवीन पटनायक सहित विपक्ष के कई नेताओं ने की थी. इसके आ जाने से किसान अपने उत्पाद की विक्री देश की किसी मंडी में कर सकते हैं.

यह भी पढ़ेंः रांची: दशम फॉल में डूबा युवक, अस्पताल जाने के दौरान रास्ते में हुई मौत

अपने उपज की कीमत अपनी इच्छानुसार तय कर सकता है. छोटे किसानों के विकास के लिए 10 हजार एसपीओ यानी कृषि उत्पादक समूह का गठन किया जाएगा. इस तरह भारत की कृषि उद्योग के रूप में विकसित होगी. कृषि के क्षेत्र में तकनीकी का समावेश होगा. एक्ट के अनुसार तीन दिनों के अंदर उनके उत्पाद का भुगतान हो जाएगा.

किसान चाहें तो उनके साथ कॄषि कम्पनियां एग्रीमेंट कर कृषि का पूरा खर्च देंगी और फसल तैयार होने पर किसानों को लागत मूल्य काटकर शेष राशि का भुगतान करेंगी.

एग्रीमेंट एक या 5 वर्ष के लिए होगा. वह भी केवल फसल के लिए जमीन के लिये नहीं. किसान अपनी इच्छानुसार कीमत पर उत्पाद बचने के लिये स्वतंत्र होंगे. किसी भी स्थिति में सरकार द्वारा निर्धारित एमएसपी से कम मूल्य और उत्पाद नहीं बेंचे जाएंगे.

एमपी बीडी राम ने विपक्षी नेताओं को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि वे मुद्दा विहीन हो गए हैं. वे किसानों का विकास अवरुद्ध करना चाहते हैं.

उन्होंने कहा कि विपक्ष का कहना है कि एमएसपी, मंडी को समाप्त कर दिया जाएगा. किसानों की जमीन को बड़े उद्योगपतियों के पास गिरवी रख दिया जाएगा, लेकिन काननू में ऐसा कुछ भी प्रावधान नहीं किया गया है.

विपक्ष किसानों के हित में इस कृषि एक्ट के साथ आएं अन्यथा किसान उन्हें माफ नहीं करेंगे. प्रेस कॉन्फ्रेंस में भाजपा के प्रदेश मंत्री सह गढ़वा भाजपा के प्रभारी विवेक भवानी सिंह, भाजपा नेता अलखनाथ पांडेय, जिला अध्यक्ष ओमप्रकाश केशरी, अरुण सिंह, हरेंद्र दुबे, बबलू पटवा, संतोष दुबे, प्रवीण जायसवाल, कैलाश कश्यप, वीणा पाठक, अंजनी तिवारी सहित कई नेता उपस्थित थे.

गढ़वाः पलामू सांसद बीडी राम ने कृषि कानून को किसानों के विकास के लिए अचूक हथियार बताया. उन्होंने कहा कि भाजपा की केंद्र सरकार 2024 तक किसानों की आय दो गुना करना चाहती है. विपक्ष बेवजह इसके खिलाफ राग अलाप रहा है. किसानों के विकास में रोड़ा बन रहा है.

देखें पूरी खबर

सांसद बीडी राम ने आरकेवीएस बीएड कालेज में प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि कृषि कानून लाना सरकार का ऐतिहासिक फैसला है. इससे एक देश-एक बाजार की अवधारणा पूरी हुई है, किसानों की आय दो गुना करने का प्रयास है.

इस बिल के दोनों सदनों में पारित हो जाने से किसानों को तमाम तरह के बंदिशों से मुक्ति मिल गयी है. वे कृषि के लिए स्वतंत्र हो गए हैं. उन्हें बिचौलिया से राहत मिल गयी है. इससे उन्हें ऋण से मुक्ति मिलेगी. फसल की उपज की लागत मूल्य से 50 प्रतिशत ज्यादा मूल्य एमएसपी यानी न्यूनतम समर्थन मुख्य निर्धारित किया गया है.

किसानों को सशक्त बनाने के लिए हेल्थ कार्ड, फसल बीमा योजना, फसलों के नुकसान की भरपाई सरीखे नियमों में बदलाव किए गए हैं. किसानों की आधारभूत संरचना को मजबूत करने के लिए एक लाख करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है. इस कानून की अनुशंसा एमपी के पूर्व सीएम कमलनाथ, पंजाब के सीएम अमरेंद्र सिंह, ओडिसा के सीएम नवीन पटनायक सहित विपक्ष के कई नेताओं ने की थी. इसके आ जाने से किसान अपने उत्पाद की विक्री देश की किसी मंडी में कर सकते हैं.

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अपने उपज की कीमत अपनी इच्छानुसार तय कर सकता है. छोटे किसानों के विकास के लिए 10 हजार एसपीओ यानी कृषि उत्पादक समूह का गठन किया जाएगा. इस तरह भारत की कृषि उद्योग के रूप में विकसित होगी. कृषि के क्षेत्र में तकनीकी का समावेश होगा. एक्ट के अनुसार तीन दिनों के अंदर उनके उत्पाद का भुगतान हो जाएगा.

किसान चाहें तो उनके साथ कॄषि कम्पनियां एग्रीमेंट कर कृषि का पूरा खर्च देंगी और फसल तैयार होने पर किसानों को लागत मूल्य काटकर शेष राशि का भुगतान करेंगी.

एग्रीमेंट एक या 5 वर्ष के लिए होगा. वह भी केवल फसल के लिए जमीन के लिये नहीं. किसान अपनी इच्छानुसार कीमत पर उत्पाद बचने के लिये स्वतंत्र होंगे. किसी भी स्थिति में सरकार द्वारा निर्धारित एमएसपी से कम मूल्य और उत्पाद नहीं बेंचे जाएंगे.

एमपी बीडी राम ने विपक्षी नेताओं को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि वे मुद्दा विहीन हो गए हैं. वे किसानों का विकास अवरुद्ध करना चाहते हैं.

उन्होंने कहा कि विपक्ष का कहना है कि एमएसपी, मंडी को समाप्त कर दिया जाएगा. किसानों की जमीन को बड़े उद्योगपतियों के पास गिरवी रख दिया जाएगा, लेकिन काननू में ऐसा कुछ भी प्रावधान नहीं किया गया है.

विपक्ष किसानों के हित में इस कृषि एक्ट के साथ आएं अन्यथा किसान उन्हें माफ नहीं करेंगे. प्रेस कॉन्फ्रेंस में भाजपा के प्रदेश मंत्री सह गढ़वा भाजपा के प्रभारी विवेक भवानी सिंह, भाजपा नेता अलखनाथ पांडेय, जिला अध्यक्ष ओमप्रकाश केशरी, अरुण सिंह, हरेंद्र दुबे, बबलू पटवा, संतोष दुबे, प्रवीण जायसवाल, कैलाश कश्यप, वीणा पाठक, अंजनी तिवारी सहित कई नेता उपस्थित थे.

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