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वो 26 कॉल और सेल्स मैनेजर की हत्या, एक वर्ष में घट गया था 50 लाख का टर्नओवर, हत्या के बाद बदल दिया था ठिकाना

सेल्स मैनेजर की हत्या मामले में नया खुलासा हुआ है. अंजनी कुमार सिन्हा की हत्या के दिन साजिश रचने वाले और शूटर के बीच 26 बार फोन पर बातचीत हुई. फोन पर पल की जानकारी दे जा रही थी.

Know conspiracy of murder of sales manager in Palamu
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Published : Jun 24, 2022, 8:02 PM IST

पलामू: 18 जून 2022 वो 26 कॉल और सेल्स मैनेजर अंजनी कुमार सिन्हा के सिर में गोली मार दी गई. 3 बजकर 15 मिनट पर अंजनी कुमार सिन्हा को गोली लगी और रात 09 बजे तक उन्होंने दम तोड़ दिया. इस हत्याकांड में पुलिस को कई चौकाने वाली जानकारी मिली है. हत्याकांड मामले में पुलिस ने व्यवसायी अमजद हुसैन उर्फ गुड्डू और उसके मित्र जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी उर्फ जेके को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. इस पूरे हत्याकांड का मामला व्यपारिक मुनाफा से जुड़ा हुआ है. ईटीवी भारत आपको बता रहा है कि किस तरह पटना के रहने वाले काफिला कंपनी के सेल्स मैनेजर अंजनी कुमार सिन्हा की हत्या की गई.

ये भी पढ़ें- Murder in Palamu: मोटर पार्ट्स कंपनी के सेल्स मैनेजर की हत्या, रेकी कर सिर पर बंदूक सटाकर मारी गोली

एक वर्ष में घट गया था 50 लाख का टर्नओवर, गढ़वा के कुख्यात अपराधी की ली गई मदद: अमजद उर्फ गुड्डू कपिल मोटर पार्ट्स का कारोबार करता था. सेल्स मैनेजर अंजनी कुमार सिन्हा से उसकी 12 वर्षों से अधिक समय से जान पहचान थी. पिछले कुछ वर्षों से अंजनी कुमार सिन्हा ने कंपनी के मोटर पार्ट को दूसरे दुकानदार को सप्लाई करना शुरू कर दिया. जिसका अमजद उर्फ गुड्डू का टर्नओवर चलाना 50 लाख रुपये तक घट गया था. इस बात की जानकारी अमजद गढ़वा के कुख्यात अपराधी छोटू को दिया. जिसके बाद पिछले एक महीने से हत्या की साजिश रची गई. छोटू रंगसाज दो महीने पहले ही गंभीर अपराध के मामले में हजारीबाग जेल से बाहर निकला है. गुड्डू ने पुलिस को बताया है कि छोटू रंगसाज को गाड़ी खरीदने के लिए दो लाख रुपये की जरूरत. एक लाख रुपये तत्काल गुड्डू ने उसे दे दिया और बाकि की रकम काम होने के बाद देने को कहा.

पलामू के सद्दीक चौक पर शूटर कर रहे थे इंतजार, 26 कॉल से रची पूरी साजिश: गुड्डू ने इस पूरी साजिश में जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी ऊर्फ जेके की मदद ली. 18 जून को गुड्डू और जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी के बीच हत्या होने तक 26 बार कॉल पर बात हुई है. पुलिस के अनुसार गुड्डू प्रतिदिन स्टेशन रोड के पास एक जगह रुक कर शराब पीता था. इस दौरान वह अकेले रहता था और जितेंद्र चंद्रवंशी उर्फ जेके उसे दारू और अन्य सामग्री उपलब्ध करवाता था. घटना के दिन सुबह 10 बजे के करीब छोटू रंगसाज के शूटर को सद्दीक चौक पर जेके ने 10 हजार रुपये दिए थे. एक बजे के बाद सेल्स मैनेजर अंजनी कुमार सिन्हा गुड्डू के दुकान पर पहुंचे थे जहां गुड्डू ने जेके को कॉल कर बुलाया और शूटरों को पहचान करवाने को कहा. अंजनी कुमार सिन्हा दुकान से जैसे ही बाहर निकल कर कुछ दूर गए बाइक सवार शूटरों ने उन्हें गोली मार दी.

ये भी पढ़ें- पलामू: सेल्स मैनेजर हत्याकांड का खुलासा, व्यापार में मुनाफे के लिए हुई थी हत्या, 2 गिरफ्तार

हत्या के बाद गुड्डू और जेके ने बदल दिया था ठिकाना, होटल में रुका था गुड्डू: सेल्स मैनेजर अंजनी कुमार सिन्हा की हत्या के बाद जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी उर्फ जेके ने अपने घर को ही बदल डाला. जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी के माता पिता ने पुलिस को बताया था कि वह पिछले 20 वर्षों से घर नहीं जा रहा है. वह मेदिनीनगर में ही किसी के घर में किराए के मकान में रहता था जो माता-पिता को पता नहीं. पुलिस ने तकनीकी आधार पर जांच करते हुए जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी उर्फ जेके तक पहुंचा और उसे गिरफ्तार किया. गिरफ्तार व्यवसाय गुड्डू की हत्या के बाद शहर से दूर एक होटल में रुका हुआ था. पुलिस ने उसे वहीं से डिटेन किया था. पुलिस अधिकारियों के अनुसार गुड्डू होटल में शराब का सेवन करता था. एसपी चंदन कुमार सिन्हा और एसडीपीओ सुरजीत कुमार के निर्देश पर टाउन थानेदार अरुण कुमार मेहता के नेतृत्व में एसआईटी का गठन किया गया था. एसआईटी में सब इंस्पेक्टर नकुल शाह, अमित सिंह, सौरभ कुमार और एएसआई नबी अंसारी शामिल थे.

पलामू: 18 जून 2022 वो 26 कॉल और सेल्स मैनेजर अंजनी कुमार सिन्हा के सिर में गोली मार दी गई. 3 बजकर 15 मिनट पर अंजनी कुमार सिन्हा को गोली लगी और रात 09 बजे तक उन्होंने दम तोड़ दिया. इस हत्याकांड में पुलिस को कई चौकाने वाली जानकारी मिली है. हत्याकांड मामले में पुलिस ने व्यवसायी अमजद हुसैन उर्फ गुड्डू और उसके मित्र जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी उर्फ जेके को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है. इस पूरे हत्याकांड का मामला व्यपारिक मुनाफा से जुड़ा हुआ है. ईटीवी भारत आपको बता रहा है कि किस तरह पटना के रहने वाले काफिला कंपनी के सेल्स मैनेजर अंजनी कुमार सिन्हा की हत्या की गई.

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एक वर्ष में घट गया था 50 लाख का टर्नओवर, गढ़वा के कुख्यात अपराधी की ली गई मदद: अमजद उर्फ गुड्डू कपिल मोटर पार्ट्स का कारोबार करता था. सेल्स मैनेजर अंजनी कुमार सिन्हा से उसकी 12 वर्षों से अधिक समय से जान पहचान थी. पिछले कुछ वर्षों से अंजनी कुमार सिन्हा ने कंपनी के मोटर पार्ट को दूसरे दुकानदार को सप्लाई करना शुरू कर दिया. जिसका अमजद उर्फ गुड्डू का टर्नओवर चलाना 50 लाख रुपये तक घट गया था. इस बात की जानकारी अमजद गढ़वा के कुख्यात अपराधी छोटू को दिया. जिसके बाद पिछले एक महीने से हत्या की साजिश रची गई. छोटू रंगसाज दो महीने पहले ही गंभीर अपराध के मामले में हजारीबाग जेल से बाहर निकला है. गुड्डू ने पुलिस को बताया है कि छोटू रंगसाज को गाड़ी खरीदने के लिए दो लाख रुपये की जरूरत. एक लाख रुपये तत्काल गुड्डू ने उसे दे दिया और बाकि की रकम काम होने के बाद देने को कहा.

पलामू के सद्दीक चौक पर शूटर कर रहे थे इंतजार, 26 कॉल से रची पूरी साजिश: गुड्डू ने इस पूरी साजिश में जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी ऊर्फ जेके की मदद ली. 18 जून को गुड्डू और जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी के बीच हत्या होने तक 26 बार कॉल पर बात हुई है. पुलिस के अनुसार गुड्डू प्रतिदिन स्टेशन रोड के पास एक जगह रुक कर शराब पीता था. इस दौरान वह अकेले रहता था और जितेंद्र चंद्रवंशी उर्फ जेके उसे दारू और अन्य सामग्री उपलब्ध करवाता था. घटना के दिन सुबह 10 बजे के करीब छोटू रंगसाज के शूटर को सद्दीक चौक पर जेके ने 10 हजार रुपये दिए थे. एक बजे के बाद सेल्स मैनेजर अंजनी कुमार सिन्हा गुड्डू के दुकान पर पहुंचे थे जहां गुड्डू ने जेके को कॉल कर बुलाया और शूटरों को पहचान करवाने को कहा. अंजनी कुमार सिन्हा दुकान से जैसे ही बाहर निकल कर कुछ दूर गए बाइक सवार शूटरों ने उन्हें गोली मार दी.

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हत्या के बाद गुड्डू और जेके ने बदल दिया था ठिकाना, होटल में रुका था गुड्डू: सेल्स मैनेजर अंजनी कुमार सिन्हा की हत्या के बाद जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी उर्फ जेके ने अपने घर को ही बदल डाला. जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी के माता पिता ने पुलिस को बताया था कि वह पिछले 20 वर्षों से घर नहीं जा रहा है. वह मेदिनीनगर में ही किसी के घर में किराए के मकान में रहता था जो माता-पिता को पता नहीं. पुलिस ने तकनीकी आधार पर जांच करते हुए जितेंद्र कुमार चंद्रवंशी उर्फ जेके तक पहुंचा और उसे गिरफ्तार किया. गिरफ्तार व्यवसाय गुड्डू की हत्या के बाद शहर से दूर एक होटल में रुका हुआ था. पुलिस ने उसे वहीं से डिटेन किया था. पुलिस अधिकारियों के अनुसार गुड्डू होटल में शराब का सेवन करता था. एसपी चंदन कुमार सिन्हा और एसडीपीओ सुरजीत कुमार के निर्देश पर टाउन थानेदार अरुण कुमार मेहता के नेतृत्व में एसआईटी का गठन किया गया था. एसआईटी में सब इंस्पेक्टर नकुल शाह, अमित सिंह, सौरभ कुमार और एएसआई नबी अंसारी शामिल थे.

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