लोहरदगा: जिले के किस्को थाना अंतर्गत रूदनी जंगल में जाना आदिम जनजाति समुदाय के 2 ग्रामीणों को महंगा पड़ा. दोनों जलावन की लकड़ी लाने के लिए जंगल गए हुए थे. जहां पर अचानक से एक भालू ने दोनों पर हमला बोल दिया. जिसकी वजह से दोनों घायल हो गए.
जानकारी के अनुसार किस्को थाना क्षेत्र के सेमरडीह गांव निवासी जीतेंद्र बिरहोर और गणेश बिरहोर जलावन की लकड़ी लाने के लिए जंगल गए थे. जहां पर अचानक से एक भालू ने दोनों पर हमला बोल दिया. गंभीर रूप से घायल होने के बाद दोनों ने खुद को शव के समान छोड़ दिया. जिसके बाद भालू दोनों को मरा समझकर वहां से चला गया. तब जाकर किसी तरह से दोनों जंगल से भाग कर अपने गांव पहुंचे. जहां परिजन दोनों घायलों को इलाज के लिए लोहरदगा सदर अस्पताल ले गए. जहां दोनों का इलाज चल रहा है.
वन विभाग की टीम दोनों ग्रामीणों को आर्थिक सहायता देकर उनका इलाज कराने में जुटी हुई है. बता दें कि आए दिन लोहरदगा में जंगली जानवरों द्वारा जंगल और पहाड़ों में रहने वाले लोगों पर इसी तरह से जानवरों द्वारा हमला बोला जाता है. बावजूद इसके जंगलों में रहने वाले आदिम जनजाति समुदाय के लोग आज भी जंगलों में ही रहना ज्यादा पसंद करते हैं.