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लोहरदगा के जंगल में IED ब्लास्ट, एक ग्रामीण की मौत

लोहरदगा के चपाल जंगल में IED ब्लास्ट हुआ है. जिसमें एक ग्रामीण की मौत हो गयी है. माओवादियों द्वारा सुरक्षा बलों को नुकसान पहुंचाने को लेकर यह आइइडी लगाई गई थी. पुलिस मामले की जांच कर रही है.

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लोहरदगा के जंगल में IED ब्लास्ट
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Published : Dec 23, 2021, 11:25 AM IST

Updated : Dec 23, 2021, 9:26 PM IST

लोहरदगाः जिला के जंगल में एक बार फिर IED ब्लास्ट हुआ है. ब्लास्ट में एक ग्रामीण की मौत हो गयी है. सेरेंगदाग थाना क्षेत्र में आइइडी ब्लास्ट हुआ है. ब्लास्ट में जंगल में बांस लाने गए एक ग्रामीण की मौत हुई है. माओवादियों द्वारा सुरक्षा बलों को नुकसान पहुंचाने को लेकर यह आइइडी लगाई गई थी. चपाल जंगल में यह घटना हुई है.

इसे भी पढ़ें- लुधियाना कोर्ट में ब्लास्ट : सीएम चन्नी ने जताई फिदायीन हमले की आशंका, गृह मंत्रालय ने मांगी रिपोर्ट

सेरेंगदाग थाना क्षेत्र के हेसाग नवाटोली गांव का रहने वाला सुपाल तुरी और गांव के ही राजेश तुरी चपाल जंगल में गए हुए थे. जहां पर जाते समय तो कोई हादसा नहीं हुआ, पर बांस लेकर वापस लौटने के क्रम में सुपाल तुरी का पैर नक्सलियों द्वारा बिछाकर रखे गए लैंडमाइन पर आ गया. जिससे ब्लास्ट हो गया और सुपाल तुरी का बायां पैर उड़ गया. इस घटना में सुपाल तुरी बुरी तरह से घायल हो गया था. कई घंटे तक वापस नहीं लौटने पर परिजन जब जंगल पहुंचे तो सुपाल तुरी को घायल अवस्था में पाया. इसके बाद सुपाल तुरी को उठा कर घर लाया गया. उसे इलाज लाने के लिए लाने की प्रक्रिया चल ही रही थी कि उसकी मौत हो गयी.

देखें पूरी खबर

घटना की सूचना मिलने के बाद पुलिस मामले की जांच और आगे की कार्रवाई में जुट गई है. पुलिस ने इसको नक्सलियों की कायरतापूर्ण घटना बताया है. जबकि परिजनों का भी कहना है कि नक्सलियों द्वारा इस प्रकार से लैंडमाइंस बिछाना पूरी तरह से गलत है. इसका शिकार भोले-भाले लोग बन रहे हैं. इस घटना को लेकर परिजनों में भी रोष व्याप्त है.

इसे भी पढ़ें- IED ब्लास्ट में ग्रामीण की मौत, नक्सलियों ने लगाया था बम

बांस से बने उत्पाद बनाकर अपने परिवार का भरण-पोषण करने वाले तुरी समाज के लोगों के लिए जंगल अब रोजी-रोटी का साधन नहीं, बल्कि मौत का दरवाजा बन गया है. लोहरदगा में नक्सलियों द्वारा बिछाई गई मौत में तुरी समुदाय के एक अधेड़ की मौत हो गई. तुरी समुदाय का यह सदस्य बांस से बने उत्पाद तैयार करने को लेकर जंगल में गया हुआ था. जहां पर नक्सलियों द्वारा बिछाए गए लैंडमाइंस की चपेट में आने से उसकी मौत हो गई. सूचना मिलने के बाद पुलिस मामले की जांच में जुट गई है. घटना के बाद पुलिस को शव सदर अस्पताल तक लाने में 12 घंटे से ज्यादा का समय लग गया.

लोहरदगाः जिला के जंगल में एक बार फिर IED ब्लास्ट हुआ है. ब्लास्ट में एक ग्रामीण की मौत हो गयी है. सेरेंगदाग थाना क्षेत्र में आइइडी ब्लास्ट हुआ है. ब्लास्ट में जंगल में बांस लाने गए एक ग्रामीण की मौत हुई है. माओवादियों द्वारा सुरक्षा बलों को नुकसान पहुंचाने को लेकर यह आइइडी लगाई गई थी. चपाल जंगल में यह घटना हुई है.

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सेरेंगदाग थाना क्षेत्र के हेसाग नवाटोली गांव का रहने वाला सुपाल तुरी और गांव के ही राजेश तुरी चपाल जंगल में गए हुए थे. जहां पर जाते समय तो कोई हादसा नहीं हुआ, पर बांस लेकर वापस लौटने के क्रम में सुपाल तुरी का पैर नक्सलियों द्वारा बिछाकर रखे गए लैंडमाइन पर आ गया. जिससे ब्लास्ट हो गया और सुपाल तुरी का बायां पैर उड़ गया. इस घटना में सुपाल तुरी बुरी तरह से घायल हो गया था. कई घंटे तक वापस नहीं लौटने पर परिजन जब जंगल पहुंचे तो सुपाल तुरी को घायल अवस्था में पाया. इसके बाद सुपाल तुरी को उठा कर घर लाया गया. उसे इलाज लाने के लिए लाने की प्रक्रिया चल ही रही थी कि उसकी मौत हो गयी.

देखें पूरी खबर

घटना की सूचना मिलने के बाद पुलिस मामले की जांच और आगे की कार्रवाई में जुट गई है. पुलिस ने इसको नक्सलियों की कायरतापूर्ण घटना बताया है. जबकि परिजनों का भी कहना है कि नक्सलियों द्वारा इस प्रकार से लैंडमाइंस बिछाना पूरी तरह से गलत है. इसका शिकार भोले-भाले लोग बन रहे हैं. इस घटना को लेकर परिजनों में भी रोष व्याप्त है.

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बांस से बने उत्पाद बनाकर अपने परिवार का भरण-पोषण करने वाले तुरी समाज के लोगों के लिए जंगल अब रोजी-रोटी का साधन नहीं, बल्कि मौत का दरवाजा बन गया है. लोहरदगा में नक्सलियों द्वारा बिछाई गई मौत में तुरी समुदाय के एक अधेड़ की मौत हो गई. तुरी समुदाय का यह सदस्य बांस से बने उत्पाद तैयार करने को लेकर जंगल में गया हुआ था. जहां पर नक्सलियों द्वारा बिछाए गए लैंडमाइंस की चपेट में आने से उसकी मौत हो गई. सूचना मिलने के बाद पुलिस मामले की जांच में जुट गई है. घटना के बाद पुलिस को शव सदर अस्पताल तक लाने में 12 घंटे से ज्यादा का समय लग गया.

Last Updated : Dec 23, 2021, 9:26 PM IST
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