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Latehar News: एक शिक्षक के भरोसे स्कूल! अर्थशास्त्री प्रोफेसर ज्यां द्रेज ने जताई चिंता

लातेहार में बदहाल शिक्षा व्यवस्था के विरोध में प्रसिद्ध अर्थशास्त्री प्रोफेसर ज्यां द्रेज के साथ ग्रामीणों ने रैली निकाली. जिला में कई ऐसे स्कूल हैं, जहां एक टीचर के भरोसे पूरा स्कूल चल रहा है. इसी को लेकर स्कूली बच्चों के साथ प्रोफेसर ने विरोध मार्च निकाला.

Villagers rally along with Professor Jean Dreze in Latehar to protest against poor education system
लातेहार में खराब शिक्षा व्यवस्था के विरोध में ग्रामीणों ने प्रोफेसर ज्यां द्रेज के साथ रैली की
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Published : Apr 14, 2023, 12:43 PM IST

Updated : Apr 14, 2023, 3:49 PM IST

देखें पूरी खबर

लातेहारः सरकारी स्कूलों में शिक्षा की व्यवस्था कैसी है, यह किसी से छुपी नहीं है. लेकिन कई ऐसे स्कूल हैं जहां मात्र एक टीचर के भरोसे पूरा स्कूल चल रहा है. जिले के गारू प्रखंड के ग्रामीणों ने एकल शिक्षक वाले स्कूलों में कम से कम 2 शिक्षकों की नियुक्ति की मांग को लेकर विरोध रैली निकाली गयी. जिसमें प्रसिद्ध अर्थशास्त्री प्रोफेसर ज्यां द्रेज भी उपस्थित हुए.

लातेहार जिले के गारू प्रखंड में 18 ऐसे विद्यालय हैं, जहां के सरकारी स्कूलों में मात्र एक शिक्षक पदस्थापित हैं. एकमात्र शिक्षक के रहने के कारण स्कूलों की शिक्षण व्यवस्था बुरी तरह चरमरा गई है. एकमात्र शिक्षक रखने के कारण शिक्षक के भरोसे बच्चों को पढ़ाने से लेकर सभी प्रकार के कागजी प्रक्रिया भी करनी होती है. प्रखंड से लेकर जिले तक में होने वाले बैठकों में भी शिक्षकों को भाग लेना पड़ता है .ऐसे में बच्चों की पढ़ाई बाधित होती है.

इसी को लेकर गारू प्रखंड के 16 गांव के ग्रामीणों ने विरोध रैली निकालकर प्रखंड कार्यालय के समक्ष प्रदर्शन किया. ग्रामीण कामेश उरांव ने कहा कि उनके गांव के प्राथमिक विद्यालय में एकमात्र शिक्षक है. शिक्षक को सरकारी कार्य को लेकर अक्सर प्रखंड से लेकर जिला तक जाना पड़ता है. इस कारण बच्चों की शिक्षा व्यवस्था गर्त में जा रही है. उन्होंने कहा कि सरकारी स्कूलों में गरीबों के बच्चे पढ़ते हैं. इसी कारण सरकारी स्कूलों पर किसी का कोई ध्यान नहीं होता.

प्रो ज्यां द्रेज ने भी जताई चिंताः स्कूलों में एकमात्र शिक्षक की बहाली के मामले में प्रसिद्ध अर्थशास्त्री प्रोफेसर ज्यां द्रेज ने भी चिंता जताई है. उन्होंने कहा कि झारखंड के 30 फीसदी ऐसे प्राथमिक विद्यालय हैं जो मात्र एक शिक्षक के भरोसे चल रहे हैं. उन्होंने कहा कि पिछले 2 दिनों में उन्होंने तीन चार स्कूलों का भ्रमण किया. जिन स्कूलों में एकमात्र टीचर पदस्थापित है वहां की शिक्षण व्यवस्था अत्यंत लचर दिखी. उन्होंने कहा कि शिक्षकों की क्वालिटी तो बेहतर है. परंतु अकेले एकमात्र शिक्षक सभी बच्चों को पढ़ाने के साथ-साथ सरकारी प्रक्रिया को पूरा करने में ही परेशान रहते हैं. उन्होंने कहा कि सरकार को इस पर गंभीरतापूर्वक विचार करना चाहिए और प्रत्येक स्कूल में कम से कम 2 शिक्षकों की बहाली तो अनिवार्य रूप से करनी चाहिए.

ग्रामीणों के साथ रैली में सामाजिक कार्यकर्ता हुए शामिलः इस रैली में ग्रामीणों के साथ-साथ सामाजिक कार्यकर्ता भी उपस्थित हुए. रैली का आयोजन संयुक्त ग्राम सभा मंच गारू और ज्ञान विज्ञान समिति झारखंड के तत्वावधान में किया गया था. इस रैली में जिला परिषद सदस्य जीरा देवी, जिला परिषद सदस्य कन्हाई सिंह, सामाजिक कार्यकर्ता जेम्स हेरेंज, मिथिलेश कुमार समेत बड़ी संख्या में ग्रामीण उपस्थित रहे. इस कार्यक्रम के बाद प्रखंड विकास पदाधिकारी को मुख्यमंत्री के नाम एक ज्ञापन सौंपा गया. जिसमें सभी एकल शिक्षक वाले विद्यालयों में कम से कम 2 शिक्षकों की प्रतिनियुक्ति अनिवार्य रूप से करने की मांग की गई.

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लातेहारः सरकारी स्कूलों में शिक्षा की व्यवस्था कैसी है, यह किसी से छुपी नहीं है. लेकिन कई ऐसे स्कूल हैं जहां मात्र एक टीचर के भरोसे पूरा स्कूल चल रहा है. जिले के गारू प्रखंड के ग्रामीणों ने एकल शिक्षक वाले स्कूलों में कम से कम 2 शिक्षकों की नियुक्ति की मांग को लेकर विरोध रैली निकाली गयी. जिसमें प्रसिद्ध अर्थशास्त्री प्रोफेसर ज्यां द्रेज भी उपस्थित हुए.

लातेहार जिले के गारू प्रखंड में 18 ऐसे विद्यालय हैं, जहां के सरकारी स्कूलों में मात्र एक शिक्षक पदस्थापित हैं. एकमात्र शिक्षक के रहने के कारण स्कूलों की शिक्षण व्यवस्था बुरी तरह चरमरा गई है. एकमात्र शिक्षक रखने के कारण शिक्षक के भरोसे बच्चों को पढ़ाने से लेकर सभी प्रकार के कागजी प्रक्रिया भी करनी होती है. प्रखंड से लेकर जिले तक में होने वाले बैठकों में भी शिक्षकों को भाग लेना पड़ता है .ऐसे में बच्चों की पढ़ाई बाधित होती है.

इसी को लेकर गारू प्रखंड के 16 गांव के ग्रामीणों ने विरोध रैली निकालकर प्रखंड कार्यालय के समक्ष प्रदर्शन किया. ग्रामीण कामेश उरांव ने कहा कि उनके गांव के प्राथमिक विद्यालय में एकमात्र शिक्षक है. शिक्षक को सरकारी कार्य को लेकर अक्सर प्रखंड से लेकर जिला तक जाना पड़ता है. इस कारण बच्चों की शिक्षा व्यवस्था गर्त में जा रही है. उन्होंने कहा कि सरकारी स्कूलों में गरीबों के बच्चे पढ़ते हैं. इसी कारण सरकारी स्कूलों पर किसी का कोई ध्यान नहीं होता.

प्रो ज्यां द्रेज ने भी जताई चिंताः स्कूलों में एकमात्र शिक्षक की बहाली के मामले में प्रसिद्ध अर्थशास्त्री प्रोफेसर ज्यां द्रेज ने भी चिंता जताई है. उन्होंने कहा कि झारखंड के 30 फीसदी ऐसे प्राथमिक विद्यालय हैं जो मात्र एक शिक्षक के भरोसे चल रहे हैं. उन्होंने कहा कि पिछले 2 दिनों में उन्होंने तीन चार स्कूलों का भ्रमण किया. जिन स्कूलों में एकमात्र टीचर पदस्थापित है वहां की शिक्षण व्यवस्था अत्यंत लचर दिखी. उन्होंने कहा कि शिक्षकों की क्वालिटी तो बेहतर है. परंतु अकेले एकमात्र शिक्षक सभी बच्चों को पढ़ाने के साथ-साथ सरकारी प्रक्रिया को पूरा करने में ही परेशान रहते हैं. उन्होंने कहा कि सरकार को इस पर गंभीरतापूर्वक विचार करना चाहिए और प्रत्येक स्कूल में कम से कम 2 शिक्षकों की बहाली तो अनिवार्य रूप से करनी चाहिए.

ग्रामीणों के साथ रैली में सामाजिक कार्यकर्ता हुए शामिलः इस रैली में ग्रामीणों के साथ-साथ सामाजिक कार्यकर्ता भी उपस्थित हुए. रैली का आयोजन संयुक्त ग्राम सभा मंच गारू और ज्ञान विज्ञान समिति झारखंड के तत्वावधान में किया गया था. इस रैली में जिला परिषद सदस्य जीरा देवी, जिला परिषद सदस्य कन्हाई सिंह, सामाजिक कार्यकर्ता जेम्स हेरेंज, मिथिलेश कुमार समेत बड़ी संख्या में ग्रामीण उपस्थित रहे. इस कार्यक्रम के बाद प्रखंड विकास पदाधिकारी को मुख्यमंत्री के नाम एक ज्ञापन सौंपा गया. जिसमें सभी एकल शिक्षक वाले विद्यालयों में कम से कम 2 शिक्षकों की प्रतिनियुक्ति अनिवार्य रूप से करने की मांग की गई.

Last Updated : Apr 14, 2023, 3:49 PM IST
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