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हजारीबाग में मंगला और रामनवमी जुलूस को लेकर बैठक, पवन गुप्ता बने महासमिति के अध्यक्ष

हजारीबाग में रामनवमी बेहद खास है. इसका इतिहास 100 साल से भी अधिक पुराना है. होली के बाद पहले मंगलवार को मंगला जुलूस निकलने के साथ ही इस महापर्व का आगाज हो जाता है. ऐसे में क्या मंगला जुलूस निकलेगा या नहीं इस पर संशय बरकरार है. मंगला जुलूस और रामनवमी पर्व कैसे मनाया जाए इसे लेकर हजारीबाग के बड़ा अखाड़ा में बैठक कर रणनीति तैयार की गई.

Ramnavmi of Hazaribag
Ramnavmi of Hazaribag
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Published : Mar 21, 2022, 8:15 AM IST

हजारीबाग: जिला में रामनवमी की अलग ही धूम होती है. 100 सालों से भी पुराने परंपरा मंगला जुलूस को लेकर हजारीबाग में संशय बरकरार है. दरअसल, होली के बाद पहले मंगलवार को मंगला जुलूस निकालने की परंपरा रही है. कोविड-19 के कारण पिछले 2 सालों से रामनवमी जुलूस नहीं निकल रहा है और न ही मंगला जुलूस. ऐसे में क्या इस बार मंगला जुलूस (Mangala Procession in Hazaribag) निकलेगा या नहीं इसके लेकर संशय बरकरार है. हजारीबाग में रामनवमी के मद्देनजर विभिन्न अखाड़ों के प्रतिनिधियों ने बड़ा अखाड़ा में बैठक की, जिसमें रणनीति बनाई गई कि आखिर कैसे मंगला जुलूस निकाला जाएगा.

इसे भी पढ़ें: सदन के बाहर विधायक मनीष जायसवाल का प्रोटेस्ट, हजारीबाग में रामनवमी जुलसू की मांगी अनुमति

विभिन्न अखाड़े और पूर्व महासमिति के अध्यक्षों ने फैसला लिया है कि जिला प्रशासन से वार्ता कर जुलूस की तैयारी की जाएगी. वहीं, सर्वसम्मति से यह फैसला भी लिया गया कि पवन गुप्ता चैत्र रामनवमी के अध्यक्ष होंगे. यह पहली बार हुआ है कि सर्वसम्मति से कोई फैसला लिया गया हो. हजारीबाग में रामनवमी को लेकर महासमिति की भूमिका महत्वपूर्ण होती है, जो जिला प्रशासन और विभिन्न अखाड़ों के बीच समन्वय स्थापित करता है.


हजारीबाग की रामनवमी (Ramnavmi of Hazaribag) की ख्याति पूरे देश भर में है. सदन में भी इसकी चर्चा हो चुकी है. ऐसे में इस साल मंगला जुलूस के साथ-साथ रामनवमी का जुलूस निकलेगा या नहीं इसे लेकर सरकार के आदेश का इंतजार किया जा रहा है. दूसरी ओर विभिन्न अखाड़े इस बात को लेकर अपनी प्रतिक्रिया दे चुके हैं कि मंगला जुलूस अवश्य निकलेगा.

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हजारीबाग: जिला में रामनवमी की अलग ही धूम होती है. 100 सालों से भी पुराने परंपरा मंगला जुलूस को लेकर हजारीबाग में संशय बरकरार है. दरअसल, होली के बाद पहले मंगलवार को मंगला जुलूस निकालने की परंपरा रही है. कोविड-19 के कारण पिछले 2 सालों से रामनवमी जुलूस नहीं निकल रहा है और न ही मंगला जुलूस. ऐसे में क्या इस बार मंगला जुलूस (Mangala Procession in Hazaribag) निकलेगा या नहीं इसके लेकर संशय बरकरार है. हजारीबाग में रामनवमी के मद्देनजर विभिन्न अखाड़ों के प्रतिनिधियों ने बड़ा अखाड़ा में बैठक की, जिसमें रणनीति बनाई गई कि आखिर कैसे मंगला जुलूस निकाला जाएगा.

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विभिन्न अखाड़े और पूर्व महासमिति के अध्यक्षों ने फैसला लिया है कि जिला प्रशासन से वार्ता कर जुलूस की तैयारी की जाएगी. वहीं, सर्वसम्मति से यह फैसला भी लिया गया कि पवन गुप्ता चैत्र रामनवमी के अध्यक्ष होंगे. यह पहली बार हुआ है कि सर्वसम्मति से कोई फैसला लिया गया हो. हजारीबाग में रामनवमी को लेकर महासमिति की भूमिका महत्वपूर्ण होती है, जो जिला प्रशासन और विभिन्न अखाड़ों के बीच समन्वय स्थापित करता है.


हजारीबाग की रामनवमी (Ramnavmi of Hazaribag) की ख्याति पूरे देश भर में है. सदन में भी इसकी चर्चा हो चुकी है. ऐसे में इस साल मंगला जुलूस के साथ-साथ रामनवमी का जुलूस निकलेगा या नहीं इसे लेकर सरकार के आदेश का इंतजार किया जा रहा है. दूसरी ओर विभिन्न अखाड़े इस बात को लेकर अपनी प्रतिक्रिया दे चुके हैं कि मंगला जुलूस अवश्य निकलेगा.

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