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मुआवजा को लेकर भू- रैयतों में नाराजगी, सरकारी नोटिस को करेंगे वापस

जीटी रोड बनाने के लिए जमीन अधिग्रहण में विवाद कम होने का नाम नहीं ले रहा है. इसी क्रम में बगोदर प्रखंड के अटका में भू- रैयतों की बैठक की. इन्होंने 11 जुलाई को भेजे गए सरकारी नोटिस का विरोध किया है.

नारेबाजी करते लोग
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Published : Jul 14, 2019, 11:06 AM IST


गिरिडीह: जीटी रोड के लिए हुए भूमि अधिग्रहण में उचित मुआवजा नहीं मिलने के कारण भू- रैयत नाराज हैं. इसी क्रम में इन्होंने शनिवार को बैठक की जिसमे इन्होंने ठीक से मुआवजा नहीं दिए जाने पर आंदोलन की चेतावनी दी.

देखें पूरी ख़बर

भू- रैयतों जमीन अधिग्रहण के दौरान उचित मुआवजा का प्रारूप तय नहीं होने से नाराजज हैं. उनका कहना है कि 11 जुलाई को सरकारी स्तर पर एक हजार 29 भू- रैयतों को नोटिस भेजा गया था. नोटिस में भूमि अधिग्रहण किए जाने के बदले भू- रैयतों को कृषि दर पर मुआवजा दिए जाने की बात थी. जबकि भू- रैयतों ने आवासीय दर पर मुआवजा की मांग की है.

मुआवजा वितरण करने की मांग
भू- रैयतों ने कहा है कि अटका इलाके में जीटी रोड चौड़ीकरण के लिए अधिग्रहित किए जाने वाली सभी जमीन आवासीय है, इसलिए सरकार को आवासीय दर पर भू- रैयतों के बीच मुआवजा वितरण करने का प्रावधान सुनिश्चित करना चाहिए. बाद में न तो वो मुआवजा लेंगे और न हीं सड़को का चौड़ीकरण होने देगें. आंदोलन को धारदार बनाने के लिए भू- रैयतों ने कमेटी का गठन किया है.


गिरिडीह: जीटी रोड के लिए हुए भूमि अधिग्रहण में उचित मुआवजा नहीं मिलने के कारण भू- रैयत नाराज हैं. इसी क्रम में इन्होंने शनिवार को बैठक की जिसमे इन्होंने ठीक से मुआवजा नहीं दिए जाने पर आंदोलन की चेतावनी दी.

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भू- रैयतों जमीन अधिग्रहण के दौरान उचित मुआवजा का प्रारूप तय नहीं होने से नाराजज हैं. उनका कहना है कि 11 जुलाई को सरकारी स्तर पर एक हजार 29 भू- रैयतों को नोटिस भेजा गया था. नोटिस में भूमि अधिग्रहण किए जाने के बदले भू- रैयतों को कृषि दर पर मुआवजा दिए जाने की बात थी. जबकि भू- रैयतों ने आवासीय दर पर मुआवजा की मांग की है.

मुआवजा वितरण करने की मांग
भू- रैयतों ने कहा है कि अटका इलाके में जीटी रोड चौड़ीकरण के लिए अधिग्रहित किए जाने वाली सभी जमीन आवासीय है, इसलिए सरकार को आवासीय दर पर भू- रैयतों के बीच मुआवजा वितरण करने का प्रावधान सुनिश्चित करना चाहिए. बाद में न तो वो मुआवजा लेंगे और न हीं सड़को का चौड़ीकरण होने देगें. आंदोलन को धारदार बनाने के लिए भू- रैयतों ने कमेटी का गठन किया है.

Intro:मुआवजा मामले को लेकर भू- रैयतों में उबाल, सरकारी नोटिस को करेंगे वापस

बगोदर/ गिरिडीह


Body:बगोदर/गिरिडीहः बगोदर प्रखंड के अटका के भू- रैयतों की बैठक शनिवार को आईटीआई कॉलेज परिसर में हुई. भू- रैयतों ने जमीन अधिग्रहण के एवज में उचित मुआवजा का प्रारूप तय नहीं होने पर सरकारी व्यवस्था पर नाराजगी जताया. कहा है कि 11 जुलाई को सरकारी स्तर पर अटका के एक हजार 29 भू- रैयतों को नोटिस थमाया गया. नोटिस में भूमि अधिग्रहण किए जाने के बदले भू- रैयतों को कृषि दर पर मुआवजा दिए जाने का उल्लेख किया गया है. जबकि भू- रैयतों के द्वारा आवासीय दर पर मुआवजा की मांग की जा रही है. भू- रैयतों ने सरकारी नोटिस को वापस करने का निर्माण लिया है. साथ हीं आगामी आंदोलन का रूपरेखा तय किया गया. भू- रैयतों ने कहा है कि अटका इलाके में जीटी रोड़ चौड़ीकरण के लिए अधिग्रहित किए जाने वाली सभी जमीन आवासीय है, इसलिए सरकार को आवासीय दर पर भू- रैयतों के बीच मुआवजा वितरण करने का प्रावधान सुनिश्चित करना होगा अन्यथा वे न तो मुआवजा लेंगे और न हीं रोड़ चौड़ीकरण का कार्य होने देंगे.



कमेटी का गठन

इस मामले में आंदोलन को धारदार बनाने के लिए भू- रैयत कमेटी का गठन किया गया. कमेटी के लिए शत्रुध्न प्रसाद मंडल को अध्यक्ष, रामकृष्ण मेहता व जिबाधन मंडल को उपाध्यक्ष, महेंद्र प्रसाद व अलौकिक सागर को कोषाध्यक्ष, रविकांत राणा व मनोहर लाल को मीडिया प्रभारी, सहदेव प्रसाद मंडल व जनकलाल मंडल को सलाहकार, विकास व कृष्ण लाल मेहता को उपाध्यक्ष बनाया गया है. बैठक में उपस्थित भू- रैयत सह अटका पश्चिमी के मुखिया जिबाधन मंडल ने बताया कि आवासीय दर पर मुआवजा नहीं मिलने पर आंदोलन उग्र होगा.


Conclusion:मुखिया जिबाधन मंडल, अटका पश्चिमी पंचायत, रेड टी शर्ट

भू- रैयत
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