गिरिडीहः आईएएस अधिकारी के खिलाफ आपत्तिजनक भाषा का प्रयोग करना और धमकी देना राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री सह भाजपा विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी के अनुज नुनूलाल मरांडी को भारी पड़ा है. नुनूलाल के खिलाफ नगर थाना में प्राथमिकी दर्ज कराई गई है. यह प्राथमिकी एसडीएम गिरिडीह के गोपनीय शाखा के सहायक संजीत कुमार ठाकुर की लिखित शिकायत पर दर्ज की गई है. प्राथमिकी के लिए मीडिया, सोशल मीडिया में प्रसारित वीडियो और अखबार में छपे खबर के कतरन को आधार बनाया गया है. प्राथमिकी में नुनूलाल पर सरकारी कार्य के संचालन में बाधा उत्पन्न किए जाने के उद्देश्य से एक महिला अधिकारी को धमकी दिए जाने समेत कई आरोप लगाए गए हैं.
अमर्यादित भाषा का प्रयोग
सहायक संजीत ने प्राथमिकी में कहा है कि 5 दिसंबर 2020 को एक अखबार और विभिन्न न्यूज चैनल और अन्य सोशल मीडिया में वायरल वीडियो में नुनूलाल मरांडी ने अमर्यादित भाषा का प्रयोग करते हुए आईएएस अधिकारी और अनुमंडल पदाधिकारी गिरिडीह प्रेरणा दीक्षित को धमकी दी थी. नुनूलाल ने धमकी देते हुए कहा है कि एसडीएम प्रेरणा दीक्षित बहुत ज्यादा हिटलर बन रही हैं. आने वाले दिनों में जब भाजपा की सरकार बनी तो इसे ऐसे गड्ढे में फेंक देंगे जहां से निकलना मुश्किल हो जाएगा. एफआईआर में कहा है कि विगत कुछ दिनों में अनुमंडल पदाधिकारी की ओर से अवैध खनन (बालू, क्रेशर व माइंस) माफिया पर सरकारी प्रावधानानुसार की जा रही कार्रवाई के कारण नुनूलाल मरांडी का इस तरह का वक्तव्य दिया गया प्रतीत होता है.
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प्रदर्शन की अनुमति नहीं देना भी बना कारण
प्राथमिकी में यह भी कहा गया है कि सुनील पासवान लोकतांत्रिक पद्धति से गिरिडीह नगर निगम के मेयर पद पर निर्वाचित हुए थे, लेकिन न्यायालय में मामला लंबित रहते हुए झारखंड सरकार की ओर से अपदस्त किए जाने और बालू की व्यवस्था नहीं रहने के कारण ट्रैक्टर चालक, मालिक और मजदूर अपने ट्रैक्टर के साथ जिला मुख्यालय पर भाजपा की अगुवाई में 8 दिसंबर को प्रदर्शन किया जाना है. इसको लेकर एसडीएम को आवेदन दिया गया था, लेकिन मुख्य सचिव झारखंड सरकार और गिरिडीह डीसी के जारी आदेश के आलोक में एसडीएम ने भाजपा को प्रदर्शन की अनुमति नहीं दी. इस कारण भी संभवत: एसडीएम को धमकी दी गई है.