ETV Bharat / state

शादी-विवाह में डिजिटल कार्ड का बढ़ा क्रेज, लोगों के फिंगर टिप्स पर निमंत्रण-पत्र - शादी विवाह में डिजिटल कार्ड का चलन

कोविड-19 के दौर में पारंपरिक शादी के कार्ड की जगह डिजिटल कार्ड ने ले ली है. इससे मेहमान तक निमंत्रण पहुंचने पर संक्रमण फैलने का खतरा नहीं होता है और काफी किफायती भी है. बस एक क्लिक से कहीं से भी कितनी भी दूर रहने वाले अपने मित्रों और रिश्तेदारों को शादी के लिए आमंत्रित किया जा रहा है.

Increased craze of digital card in marriage in jamshedpur
कार्ड
author img

By

Published : Jan 28, 2021, 11:00 PM IST

Updated : Jan 30, 2021, 7:36 PM IST

जमशेदपुरः कोविड-19 के संक्रमण की वजह से पिछले आठ महीने से शादी-विवाह सहित कई मांगलिक कार्य रुके हुए थे. अब सरकार के दिशा-निर्देश के साथ शादी-विवाह सहित अन्य मांगलिक कार्य भी शुरू हो गए हैं. हालांकि इसे लेकर सरकार की ओर से कई नियमों को जारी किया गया है. वहीं शादी विवाह या अन्य मांगलिक कार्यक्रम में अपने परिवार के सदस्यों के साथ-साथ अन्य नजदीकी लोगों को बुलाने के लिए पारंपरिक कार्ड का इस्तेमाल किया जाता है. इसके जरिए कार्यक्रम की पूरी सूचना कार्यक्रम में शामिल होने वाले लोगों को मिल सके.

स्पेशल खबर

कोविड-19 के दौर में अब उसकी जगह डिजिटल कार्ड ने ले ली है. इससे मेहमान तक निमंत्रण पहुंचने पर संक्रमण फैलने का खतरा नहीं होता है और काफी किफायती भी है. बस एक क्लिक से कहीं से भी कितनी भी दूर रहने वाले अपने मित्रों और रिश्तेदारों को शादी के लिए आमंत्रित किया जा रहा है. डिजिटल कार्ड बनाने के बाद व्हाट्सएप या फेसबुक के माध्यम या मिल के माध्यम से मिनटों पर आप अपने परिजनों और शुभचिंतकों को यह कार्ड भेज सकते हैं.


कम छप रहे हैं पारंपरिक कार्ड

डिजिटल कार्ड आने के बाद पारंपरिक कार्ड का काम कम हुआ है. इसका असर पारंपरिक कार्ड बनाने वाले दुकानदारों पर भी पड़ा है. पहले शादी में 200 कार्ड छपवाने में काफी पैसे खर्च होते थे. अगर एक कार्ड की कीमत ₹10 है तो कार्ड का ₹2000 और छपाई में ₹500 मिलाकर 2500 तक खर्च होता था. अब डिजिटल कार्ड के दौर में एक आम न्यूनतम ₹300 से अधिकतम 2000 तक में हो जा रहा है और इसे असीमित लोगों तक भेजा जा सकता है.

इसे भी पढ़ें- साइबर ठगों ने डिग्री कॉलेज के प्रिंसिपल को बनाया शिकार, खाते से उड़ाए दो लाख रुपए


डिजिटल कार्ड की मांग बढ़ी

डिजिटल कार्ड बनाने वाले बताते हैं कि डिजिटल कार्ड की मांग बढ़ी है. यह कार्ड तीन फॉर्मेट में बनाए जा रहे हैं. इसमें टेक्सट (केवल शब्द), वैवाहिक जोड़ी की तस्वीर वाली और फोटो वीडियो के मिश्रण से बनाए जा रहे हैं. वहीं डिजिटल कार्ड बनाने वाले का दावा है कि वह अभी तक 1800 से ज्यादा कार्ड बना चुका है. डिजिटल कार्ड बनाने में समय का भी ख्याल रखा जाता है 1 मिनट से 25 सेकंड के डिजिटल कार्ड बनाए जाते हैं, जिससे इस कार्ड को अपलोड करने में समय ना लगे और लोग तुरंत डाउनलोड करके डिजिटल कार्ड में दी गई जानकारी को ले सकें.

जमशेदपुरः कोविड-19 के संक्रमण की वजह से पिछले आठ महीने से शादी-विवाह सहित कई मांगलिक कार्य रुके हुए थे. अब सरकार के दिशा-निर्देश के साथ शादी-विवाह सहित अन्य मांगलिक कार्य भी शुरू हो गए हैं. हालांकि इसे लेकर सरकार की ओर से कई नियमों को जारी किया गया है. वहीं शादी विवाह या अन्य मांगलिक कार्यक्रम में अपने परिवार के सदस्यों के साथ-साथ अन्य नजदीकी लोगों को बुलाने के लिए पारंपरिक कार्ड का इस्तेमाल किया जाता है. इसके जरिए कार्यक्रम की पूरी सूचना कार्यक्रम में शामिल होने वाले लोगों को मिल सके.

स्पेशल खबर

कोविड-19 के दौर में अब उसकी जगह डिजिटल कार्ड ने ले ली है. इससे मेहमान तक निमंत्रण पहुंचने पर संक्रमण फैलने का खतरा नहीं होता है और काफी किफायती भी है. बस एक क्लिक से कहीं से भी कितनी भी दूर रहने वाले अपने मित्रों और रिश्तेदारों को शादी के लिए आमंत्रित किया जा रहा है. डिजिटल कार्ड बनाने के बाद व्हाट्सएप या फेसबुक के माध्यम या मिल के माध्यम से मिनटों पर आप अपने परिजनों और शुभचिंतकों को यह कार्ड भेज सकते हैं.


कम छप रहे हैं पारंपरिक कार्ड

डिजिटल कार्ड आने के बाद पारंपरिक कार्ड का काम कम हुआ है. इसका असर पारंपरिक कार्ड बनाने वाले दुकानदारों पर भी पड़ा है. पहले शादी में 200 कार्ड छपवाने में काफी पैसे खर्च होते थे. अगर एक कार्ड की कीमत ₹10 है तो कार्ड का ₹2000 और छपाई में ₹500 मिलाकर 2500 तक खर्च होता था. अब डिजिटल कार्ड के दौर में एक आम न्यूनतम ₹300 से अधिकतम 2000 तक में हो जा रहा है और इसे असीमित लोगों तक भेजा जा सकता है.

इसे भी पढ़ें- साइबर ठगों ने डिग्री कॉलेज के प्रिंसिपल को बनाया शिकार, खाते से उड़ाए दो लाख रुपए


डिजिटल कार्ड की मांग बढ़ी

डिजिटल कार्ड बनाने वाले बताते हैं कि डिजिटल कार्ड की मांग बढ़ी है. यह कार्ड तीन फॉर्मेट में बनाए जा रहे हैं. इसमें टेक्सट (केवल शब्द), वैवाहिक जोड़ी की तस्वीर वाली और फोटो वीडियो के मिश्रण से बनाए जा रहे हैं. वहीं डिजिटल कार्ड बनाने वाले का दावा है कि वह अभी तक 1800 से ज्यादा कार्ड बना चुका है. डिजिटल कार्ड बनाने में समय का भी ख्याल रखा जाता है 1 मिनट से 25 सेकंड के डिजिटल कार्ड बनाए जाते हैं, जिससे इस कार्ड को अपलोड करने में समय ना लगे और लोग तुरंत डाउनलोड करके डिजिटल कार्ड में दी गई जानकारी को ले सकें.

Last Updated : Jan 30, 2021, 7:36 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.