दुमका: जिले के रामगढ़ प्रखंड के कांजो पंचायत अंतर्गत लुटिया गांव के 30 वर्षीय कारोबारी हेंब्रम को किसी रहनुमा का इंतजार है, जो उसकी जिदगी को बचा सके. कारोबारी ने अपनी जमीन बेचकर वर्द्धमान में भी इलाज कराया, लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ. वहां डाक्टरों की ओर से अधिक पैसे की मांग की जाने लगी. पैसे की कमी के कारण वह वापस अपने घर लौट आया.
जमीन बेचकर कराया इलाज
हेंब्रम का शरीर केवल हड्डियों का ढांचा बन गया है. कारोबारी के पास लाल कार्ड रहने के बाद भी उसे आयुष्मान भारत योजना का लाभ नहीं मिल रहा है. दरअसल कारोबारी ब्रेन टीवी नाम के बीमारी से ग्रसित है. मार्च-अप्रैल महीने में उसके शरीर में दर्द होना शुरू हुआ था. इसके बाद उसने स्थानीय स्तर पर इलाज कराना शुरू किया. ठीक नहीं होने के कारण जून महीने में उसने अपनी जमीन बेचकर वर्द्धमान में इलाज कराया, लेकिन वहां पर अधिक पैसे भी खर्च हो गए और सही से इलाज भी नही हो पाया. थका-हारा वह अपने घर वापस आ गया.
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कारोबारी की पत्नी सोना किस्कू ने बताया कि उसने अपने पति के इलाज के लिए अपना तीन कट्ठा जमीन 51 हजार रूपया में बेच दिया, लेकिन उसके पति ठीक नहीं हो पाए. पैसे की कमी के कारण वह अपने पति को वापस घर लेकर आ गई. उसने कहा कि समझ में नहीं आ रहा है कि करें तो क्या करें.