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धनबाद का गांजा तस्करी मामला: जेल में बंद तीनों आरोपियों को 48 घंटे के लिए रिमांड पर लेगी CID

धनबाद के चर्चित गांजा तस्करी मामले में जेल में बंद तीनों आरोपियों को अदालत ने 48 घंटे की पुलिस रिमांड में भेजने का आदेश दिया है. तीनों आरोपियों को रिमांड पर लेने के लिए सीआईडी के अनुसंधानकर्ता के द्वारा अदालत में आवेदन देकर 5 दिनों के लिए रिमांड पर लेने का आग्रह किया था.

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Published : Jun 11, 2020, 10:23 PM IST

CID to take three accused on remand for 48 hours
जेल में बंद तीनों आरोपियों को 48 घंटे के लिए रिमांड पर लेगी CID

धनबाद: गांजा तस्करी में ईसीएल कर्मी चिरंजित घोष को फंसाने के मामले में जेल में बंद तीनों आरोपियों को अदालत ने 48 घंटे की पुलिस रिमांड में भेजने का आदेश दिया है. तीनों आरोपियों को रिमांड पर लेने के लिए सीआईडी के अनुसंधानकर्ता के द्वारा अदालत में आवेदन देकर 5 दिनों के लिए रिमांड पर लेने का आग्रह किया था. ईसीएल कर्मी चिरंजित घोष को गांजा तस्करी में साजिश के तहत फंसाने के मामले में नीरज कुमार तिवारी, रवि कुमार ठाकुर और सुनील कुमार चौधरी को सीआईडी ने जांच के बाद जेल भेज दिया था.

अभिषेक कुमार के द्वारा जिला और सत्र न्यायाधीश बसंत कुमार गोस्वामी की अदालत में एक आवेदन देकर इन्हें 5 दिनों के लिए पुलिस हिरासत में रिमांड पर लेने की अर्जी लगाई थी. मामले की सुनवाई करते हुए अदालत ने इन तीनों आरोपियों को पुलिस रिमांड में 48 घंटे के लिए भेजने का आदेश दिया है. सीआईडी के द्वारा 5 दिनों की तीनों को रिमांड पर लेने को लेकर बचाव पक्ष के अधिवक्ता अभय भट्ट ने विरोध जताया. उन्होंने अदालत को बताया कि गांजा तस्करी में इन्हें 5 दिनों के रिमांड पर भेजने का कोई औचित्य नहीं है. मामले में गांजा की भी बरामदगी हो चुकी है. इन आरोपियों से पुलिस को ज्यादा पूछताछ करने की आवश्यकता नहीं है. बचाव पक्ष के अधिवक्ता के विरोध के बाद अदालत ने 5 दिनों के बजाय 48 घंटे की पुलिस रिमांड में भेजने की स्वीकृति दी है.

ये भी पढ़ें: मंत्रालयों तक पहुंचा कोरोना वायरस, चपेट में आए कई वरिष्ठ अधिकारी

क्या है मामला

बता दें कि 25 अगस्त 2019 को निरसा पुलिस ने एक गाड़ी से 39 किलो गांजा बरामद किया था. इस मामले में ईसीएल कोलकर्मी चिरंजीत घोष को गिरफ्तार कर निरसा पुलिस ने जेल भेज दिया था. 27 दिनों बाद तथ्यों की भूल बताते हुए पुलिस ने न्यायालय को डायरी सौंपी थी. जिसके बाद चिरंजीत जेल से छुटकर बाहर आए थे. इस पूरे प्रकरण में धनबाद के तत्कालीन एसएसपी किशोर कौशल, एसडीपीओ विजय कुमार कुशवाहा, निरसा के पूर्व थाना प्रभारी उमेश सिंह की भूमिका की जांच की जा रही है. डीआईजी प्रभात कुमार द्वारा निरसा थाना प्रभारी को इस मामले में पहले ही सस्पेंड किया जा चुका है. इसके साथ ही प्रभात कुमार के द्वारा एसडीपीओ को शोकॉज नोटिस भी भेजा गया था. इस मामले की जांच अब सीआईडी के द्वारा की जा रही है. सीआईडी ने जांच के दौरान नीरज तिवारी,सुनिल कुमार चौधरी और रवि ठाकुर को गांजा तस्करी का साजिशकर्ता बताते हुए जेल भेज दिया था.

धनबाद: गांजा तस्करी में ईसीएल कर्मी चिरंजित घोष को फंसाने के मामले में जेल में बंद तीनों आरोपियों को अदालत ने 48 घंटे की पुलिस रिमांड में भेजने का आदेश दिया है. तीनों आरोपियों को रिमांड पर लेने के लिए सीआईडी के अनुसंधानकर्ता के द्वारा अदालत में आवेदन देकर 5 दिनों के लिए रिमांड पर लेने का आग्रह किया था. ईसीएल कर्मी चिरंजित घोष को गांजा तस्करी में साजिश के तहत फंसाने के मामले में नीरज कुमार तिवारी, रवि कुमार ठाकुर और सुनील कुमार चौधरी को सीआईडी ने जांच के बाद जेल भेज दिया था.

अभिषेक कुमार के द्वारा जिला और सत्र न्यायाधीश बसंत कुमार गोस्वामी की अदालत में एक आवेदन देकर इन्हें 5 दिनों के लिए पुलिस हिरासत में रिमांड पर लेने की अर्जी लगाई थी. मामले की सुनवाई करते हुए अदालत ने इन तीनों आरोपियों को पुलिस रिमांड में 48 घंटे के लिए भेजने का आदेश दिया है. सीआईडी के द्वारा 5 दिनों की तीनों को रिमांड पर लेने को लेकर बचाव पक्ष के अधिवक्ता अभय भट्ट ने विरोध जताया. उन्होंने अदालत को बताया कि गांजा तस्करी में इन्हें 5 दिनों के रिमांड पर भेजने का कोई औचित्य नहीं है. मामले में गांजा की भी बरामदगी हो चुकी है. इन आरोपियों से पुलिस को ज्यादा पूछताछ करने की आवश्यकता नहीं है. बचाव पक्ष के अधिवक्ता के विरोध के बाद अदालत ने 5 दिनों के बजाय 48 घंटे की पुलिस रिमांड में भेजने की स्वीकृति दी है.

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क्या है मामला

बता दें कि 25 अगस्त 2019 को निरसा पुलिस ने एक गाड़ी से 39 किलो गांजा बरामद किया था. इस मामले में ईसीएल कोलकर्मी चिरंजीत घोष को गिरफ्तार कर निरसा पुलिस ने जेल भेज दिया था. 27 दिनों बाद तथ्यों की भूल बताते हुए पुलिस ने न्यायालय को डायरी सौंपी थी. जिसके बाद चिरंजीत जेल से छुटकर बाहर आए थे. इस पूरे प्रकरण में धनबाद के तत्कालीन एसएसपी किशोर कौशल, एसडीपीओ विजय कुमार कुशवाहा, निरसा के पूर्व थाना प्रभारी उमेश सिंह की भूमिका की जांच की जा रही है. डीआईजी प्रभात कुमार द्वारा निरसा थाना प्रभारी को इस मामले में पहले ही सस्पेंड किया जा चुका है. इसके साथ ही प्रभात कुमार के द्वारा एसडीपीओ को शोकॉज नोटिस भी भेजा गया था. इस मामले की जांच अब सीआईडी के द्वारा की जा रही है. सीआईडी ने जांच के दौरान नीरज तिवारी,सुनिल कुमार चौधरी और रवि ठाकुर को गांजा तस्करी का साजिशकर्ता बताते हुए जेल भेज दिया था.

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