रांची: लोकसभा चुनाव के पहले उपाध्यक्ष और खुंटी के निवर्तमान सांसद कड़िया मुंडा ने राजनीति में शब्दों की मर्यादा बनाए रखने की वकालत की है. उन्होंने कहा कि आरोप-प्रत्यारोप के दौर में गलत भाषा का प्रयोग करना ठीक नहीं है. मंगलवार को खूंटी में ईटीवी भारत की टीम से बातचीत के दौरान उन्होंने कहा कि राजनीति में लड़ाई सिद्धांत की होती है व्यक्तिगत नहीं. ऐसे में भाषा की मर्यादा हमेशा बनी रहनी चाहिए.
खूंटी में ईटीवी भारत से बातचीत के दौरान उन्होंने राजनीति में शब्दों की मर्यादा बनाए रखने की बात कही. वहीं, एक सवाल के जवाब में उन्होंने सीधा कहा कि वह बूढ़े नहीं है, पार्टी का यह सिद्धांत हो गया है कि उम्र के बाद टिकट नहीं देना है. तो इसमें कोई भी इफ-बट की बात ही नहीं है.
उन्होंने कहा कि जब लड़का बड़ा होता है या जवान होता है तो बाप उसे जिम्मा दे देता है. इसलिए इस पर ज्यादा विवाद नहीं होना चाहिए. वहीं उन्होंने कहा कि वह शुरू से समाज सेवा करते आए थे और अभी भी वह निष्पक्ष रूप से समाज सेवा करते हैं.
दरअसल, कड़िया मुंडा बीजेपी से पहले जनसंघ से जुड़े रहे और बाद में भारतीय जनता पार्टी बनने के बाद अब तक खूंटी से 8 बार सांसद रह चुके हैं. बता दें कि कड़िया मुंडा की गिनती उन राजनेताओं में होती है जो अपनी साधारण जीवन शैली की वजह से जाने जाते हैं.