हजारीबाग: जिले में कोराना संक्रमित दूसरा मरीज मिलने के बाद जिला प्रशासन और भी सख्त हो गया है. हजारीबाग के उपायुक्त ने इस बाबत जानकारी दिया कि दूसरा मरीज भी विष्णुगढ़ का ही रहने वाला है. जो 20 मार्च को मुंबई से चलकर 23 मार्च को सरिया स्टेशन उतरा और घर आ गया. 6 अप्रैल को तबीयत खराब होने के बाद उसे विष्णुगढ़ सीएचसी में लाया गया. वहां से 7 अप्रैल को हजारीबाग मेडिकल कॉलेज अस्पताल भेज दिया गया.
ट्रेवल हिस्ट्री की जांच
वहीं, 7 अप्रैल को ही उसका सैंपल टेस्ट के लिए रिम्स भेजा गया था. वहां से पॉजिटिव रिजल्ट आया है. मुख्य बात यह है कि 23 मार्च से लेकर 6 अप्रैल तक यह व्यक्ति किन लोगों से मिला किस-किस स्थान पर गया इसे लेकर प्रशासन जानकारी इकट्ठा करने में जुट गई है, ताकि ट्रेवल हिस्ट्री के अनुरूप कदम उठाए जा सकें.
ये भी पढ़ें- कोरोना संक्रमित बुजुर्ग महिला का इलाज करने वाले दो चिकित्सक क्वॉरेंटाइन, क्लीनिक को किया सील
मरीज की स्थिति अभी ठीक बताई जा रही
जिले में कोरोना का दूसरा मरीज मिलने के बाद प्रशासन ने उस एरिया को सील कर दिया है और उस इलाके को अब सेनेटाइज करने का काम किया जा रहा है. इस मामले में संक्रमित मरीज के परिवार के साथ-साथ मुखिया को भी क्वॉरेंटाइन किया जाएगा, क्योंकि मुखिया ने ही मरीज को हजारीबाग मेडिकल कॉलेज लाया था. प्रशासन अब इस बात की जानकारी जुटा रही है कि संक्रमित मरीज इस दौरान कहां-कहां गया था और किसके संपर्क में आया था. संक्रमित मरीज का इलाज इस समय एक निजी अस्पताल में कराया जा रहा है. मरीज की स्थिति अभी ठीक बताई जा रही है.
ये भी पढ़ें- खूंटी: लॉकडाउन के दौरान दो नाबालिग लड़कियों से गैंगरेप, 9 आरोपी गिरफ्तार
अब तक 2 लाख से अधिक लोगों की जांच
बता दें कि जिले का पहला संक्रमित मरीज विष्णुगढ़ से ही मिला था और उसकी ट्रेवल हिस्ट्री बंगाल के आसनसोल से विष्णुगढ़ तक प्रशासन ने खंगाला था. इस बाबत कई लोगों की जांच की गई थी. लेकिन यह हजारीबाग के लिए अच्छी खबर है कि एक भी व्यक्ति संक्रमित नहीं पाया गया. उपायुक्त का यह भी कहना है कि पूरे जिले में संक्रमित मरीजों की पहचान के लिए अलग से एक टास्क फोर्स गठित की गई है, जो मरीजों की पहचान के लिए काम कर रही है. अब तक 2 लाख से अधिक लोगों का जांच कराया गया है.